लखनऊ: उत्तर प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू ने प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को खुली चुनौती दी है. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री बार-बार कह रहे हैं कि ऑक्सीजन, बेड, वेंटीलेटर, रेमडेसिविर इंजेक्शन की कमी नहीं है, तो मुख्यमंत्री को मैं खुली चुनौती देता हूं कि वो एक व्यक्तिगत नम्बर जारी करें, जो मीडिया में प्रसारित और प्रकाशित हो और उसे अपने ट्विटर हैंडिल से ट्वीट करें. जो अधिकारी उनको यह बता रहे हैं कि कमी नहीं है उनका एक नम्बर जारी करें, ताकि स्थिति पूरी तरह स्पष्ट हो सके कि उत्तर प्रदेश के हालात कितने भयावह हैं. इसके साथ ही अजय कुमार लल्लू ने सीएम योगी पर निशाना साधते हुए कहा कि, मुख्यमंत्री जी झूठ बोलना बंद करें. विपक्ष के साथ ही लोगों को धोखा देना बंद करें. प्रदेश की हालत अंधेर नगरी चौपट राजा जैसी हो गई है.
कांग्रेस ने सीएम से किए कई सवाल
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष ने गुरुवार को लखनऊ में पार्टी कार्यालय पर प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान कहा कि आरटी-पीसीआर टेस्टिंग घटा दी गयी है. यूपी के सभी जिलों में कांटेक्ट ट्रेसिंग नहीं हो रही है. इसके साथ ही उन्होंने कहा कि, कोविड कंट्रोल रूम के जो नम्बर सरकार ने जारी किए हैं, पिछले दिनों उसका एक ऑडियो वायरल हुआ था, जिसमें कहा गया था कि जाकर मर जाओ, उस पर मुख्यमंत्री स्वतः फोन लगाकर देंखे कि क्या स्थिति है. लोगों को किसी भी प्रकार की सुविधा नहीं मिल रही है. कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू ने कहा कि एसटीएफ ने खुलासा किया है कि रेमडेसिविर इंजेक्क्शन 10 गुने से अधिक दाम पर बिक रहे हैं. इसके साथ ही साथ ही तमाम जनपदों झांसी, कानपुर, मेरठ, गाजियाबाद, लखनऊ और गोरखपुर में एक-एक लाख में इंजेक्शन बिकने की खबर मीडिया में प्रकाशित हुई है.
सरकारी आंकड़े फर्जी- कांग्रेस
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा कि निजी अस्पतालों में अभी भी कोरोना मरीजों को सीधे भर्ती नहीं किया जा रहा है. अभी भी सीएमओ का रेफरल लेटर चाहिए. वीआईपी को सीधी भर्ती मिल रही है, जबकि गरीब को नहीं. ऑक्सीजन प्लांटों पर आज भी लम्बी लाइन लगी हुई है, भीड़ जमा है. होम आइसोलेशन के लोगों को ऑक्सीजन के लिए घंटों लाइन लगाना पड़ रहा है. उन्होंने कहा कि सरकारी आंकड़े जो दिए जा रहे हैं, जिसमें कल लखनऊ में 13 लोगों की मौत, गाजियाबाद में आधा दर्जन लोगों की मौत दिखाया गया है. रोज लगभग 200 मौतों का दावा कर रहे हैं, जबकि गाजियाबाद में श्मशान घाट पर बोर्ड लगा दिया गया कि जगह नहीं है. लखनऊ में सैंकड़ों मौतें हो रही हैं. भैंसाकुण्ड, गुलालाघाट सहित तमाम अन्य जगहों पर दाह संस्कार हो रहे हैं. तीन विधायकों की मौत हो चुकी है. इन विधायकों ने डॉ. हर्षवर्धन और मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर कहा था कि हमारे इलाज की व्यवस्था की जाए. मृतक विधायकों के परिवार का आरोप है कि वे लोग पांच कालीदास मार्ग के साथ अधिकारियों को फोन करते रहे, लेकिन किसी ने जवाब नहीं दिया. मोहनलालगंज के सांसद के भाई की मृत्यु हो गई. सुप्रीमकोर्ट और हाईकोर्ट सरकार के तानाशाही रवैये पर तल्ख टिप्पणी कर चुकी है, फिर भी सरकार- मेरा कायदा, वरना कोई कायदा नहीं पर अड़ी हुई है.
कहां गए डेढ़ लाख बेड
अजय कुमार लल्लू ने कहा कि मुख्यमंत्री ने सदन में यह दावा किया था कि डेढ़ लाख बेड बनाकर रखे गए हैं. कहां गए वह दावे. होर्डिंग, पोस्टर, इवेंट मैनेजमेंट, विज्ञापन में सरकार ने कहा कि दुनिया ने लोहा माना कि हम कोविड पर जंग जीत गए, कहां गयी आपकी बहादुरी. कहां गया आपका बड़बोलापन. कौन है इन मौतों का जिम्मेदार. इसके साथ ही अजय कुमार लल्लू ने कहा कि, मुख्यमंत्री उत्तर प्रदेश के लोगों से माफी मांगें.
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पीएम बताएं, क्या यही लोहा है
इसके साथ ही कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि पीएम ने विश्वगुरु बनने की बात कही थी, उन्होंने कहा था कि विश्व ने हमारा लोहा माना. क्या यही लोहा है. हमारे नेता राहुल गांधी ने बार-बार सरकार से आग्रह किया, अगर सरकार ने उस पर तनिक ध्यान दिया होता तो आज यह स्थिति न होती. तमाम आईएएस अधिकारी मर गए. वरिष्ठ आईएएस दीपक त्रिवेदी की मौत हो गई, इसका जिम्मेदार कौन है. इलाज के अभाव में तमाम लोग मर गए. आप कहते हैं कि विपक्ष राजनीति कर रहा है. पहली बार जब यह कोरोना आया था उस समय तो आपदा थी. इस आपदा में विशेषज्ञों के कहने के बाद भी आपके द्वारा कोई कार्रवाई नहीं की गई. अस्पताल, बेड, ऑक्सीजन, दवाई, वेंटीलेटर किसी चीज की कोई व्यवस्था नहीं की गई.
कांग्रेस एमएलसी ने सीएमओ को मिलाया फोन, उठा ही नहीं
कांग्रेस विधान परिषद दल के नेता दीपक सिंह ने इस भयावह महामारी में योगी सरकार के झूठ की कलई खोलते हुए सीएमओ लखनऊ के सीयूजी फोन नम्बर पर अपने मोबाइल से फोन मिलाया, जिसका कोई जवाब नहीं मिला. उन्होंने कहा कि सरकार के दो मंत्री, चार विधायक, सैंकड़ों की संख्या में पत्रकार, डॉक्टर, साहित्यकार, आईएएस, स्वास्थ्यकर्मी एवं पुलिसकर्मी सहित हजारों प्रदेशवासियों की कोरोना से दुःखद मौत हो चुकी है. लाखों की संख्या में लोग ऑक्सीजन, बेड और दवाई के लिए तड़प रहे हैं. लेकिन, यूपी के मुख्यमंत्री झूठ बोल रहे हैं और हेडलाइन बनाने में व्यस्त हैं. जो सरकार अपने जनप्रतिनिधि को नहीं बचा सकती वह आम जनता को क्या बचायेगी? उन्होंने कहा कि सदन के अन्दर मुख्यमंत्री ने डेढ़ लाख बेड तैयार रखे होने की बात कही थी, उन्होंने मुख्यमंत्री से सवाल किया कि वह बेड कहां हैं. दीपक सिंह ने कहा कि पहला ऐसा संत मुख्यमंत्री देखा है, जो सदन के अन्दर भी झूठ बोलता है.