ETV Bharat / state

सोनभद्र गोलीकांड पर सीएम योगी ने की प्रेस कांफ्रेंस, कहा- मामले में किसी को भी बख्शा नहीं जाएगा

सोनभद्र में हुए नरसंहार के बाद शुक्रवार को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रेस कांफ्रेंस की. इस दौरान उन्होंने घटना पर पूरे विस्तार से चर्चा करते हुए कहा कि घटना को अंजाम देने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी.

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ.
author img

By

Published : Jul 19, 2019, 3:27 PM IST

लखनऊ: सोनभद्र में नरसंहार के बाद मचे घमासान पर शुक्रवार को सीएम योगी आदित्यनाथ ने प्रेस कांफ्रेस की. इस दौरान सीएम योगी ने प्रदेश के सामने घटना से जुड़े सवालों का जवाब दिया. उन्होंने घटना के एक-एक बिंदु पर विस्तार से चर्चा की.

प्रेस कांफ्रेंस करते सीएम योगी आदित्यनाथ.

सीएम योगी ने प्रेस कांफ्रेंस के दौरान कही ये बातें

  • 1955 में जमीन आदर्श कोऑपरेटिव सोसायटी के नाम पर कर दी गई.
  • 1989 में यह जमीन एक व्यक्ति के नाम किया गया.
  • उन्होंने 2017 में यह भूमि प्रधान के नाम किया गया.
  • जिन लोगों ने 1989 में अपने नाम यह जमीन करने का काम किया, वे कब्जा नहीं कर पाए.
  • 1955 और 1989 में भी कांग्रेस की सरकार थी. 2017 में उन लोगों ने यह भूमि बेचने का काम किया.
  • सीएम ने कहा उपजिलाधिकारी और उपनिरीक्षक को निलंबित किया गया.
  • अपर मुख्य सचिव राजस्व की अध्यक्षता में तीन सदस्यीय कमेटी गाठित की गई है.
  • मामले में किसी को भी बख्शा नहीं जाएगा. वह चाहे कितना भी ताकतवर क्यों न हो.

जांच कर की जाएगी कड़ी कार्रवाई

  • इस मामले में अपर पुलिस महानिदेशक वाराणसी जोन को पुलिस की लापरवाही की जांच को कहा गया है. 10 दिन में उनसे रिपोर्ट देने को कहा गया है.
  • मुख्य रूप से 1955 और 1989 में घटित घटना को अंजाम देने वाले के खिलाफ जांच कर पर्दाफाश किया जाएगा.
  • जब सदन में यह प्रकरण रखा जाने के लिए प्रयास किया गया, तो विपक्ष ने सदन बाधित करने का प्रयास किया. वे लोग नहीं चाहते कि इस घटना के बारे में चीजें बाहर आएं.
  • सीएम योगी ने कहा कि मामले में 29 लोग गिरफ्तार किए जा चुके हैं. 10 दिनों में पूरी रिपोर्ट आने के बाद आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.

लखनऊ: सोनभद्र में नरसंहार के बाद मचे घमासान पर शुक्रवार को सीएम योगी आदित्यनाथ ने प्रेस कांफ्रेस की. इस दौरान सीएम योगी ने प्रदेश के सामने घटना से जुड़े सवालों का जवाब दिया. उन्होंने घटना के एक-एक बिंदु पर विस्तार से चर्चा की.

प्रेस कांफ्रेंस करते सीएम योगी आदित्यनाथ.

सीएम योगी ने प्रेस कांफ्रेंस के दौरान कही ये बातें

  • 1955 में जमीन आदर्श कोऑपरेटिव सोसायटी के नाम पर कर दी गई.
  • 1989 में यह जमीन एक व्यक्ति के नाम किया गया.
  • उन्होंने 2017 में यह भूमि प्रधान के नाम किया गया.
  • जिन लोगों ने 1989 में अपने नाम यह जमीन करने का काम किया, वे कब्जा नहीं कर पाए.
  • 1955 और 1989 में भी कांग्रेस की सरकार थी. 2017 में उन लोगों ने यह भूमि बेचने का काम किया.
  • सीएम ने कहा उपजिलाधिकारी और उपनिरीक्षक को निलंबित किया गया.
  • अपर मुख्य सचिव राजस्व की अध्यक्षता में तीन सदस्यीय कमेटी गाठित की गई है.
  • मामले में किसी को भी बख्शा नहीं जाएगा. वह चाहे कितना भी ताकतवर क्यों न हो.

जांच कर की जाएगी कड़ी कार्रवाई

  • इस मामले में अपर पुलिस महानिदेशक वाराणसी जोन को पुलिस की लापरवाही की जांच को कहा गया है. 10 दिन में उनसे रिपोर्ट देने को कहा गया है.
  • मुख्य रूप से 1955 और 1989 में घटित घटना को अंजाम देने वाले के खिलाफ जांच कर पर्दाफाश किया जाएगा.
  • जब सदन में यह प्रकरण रखा जाने के लिए प्रयास किया गया, तो विपक्ष ने सदन बाधित करने का प्रयास किया. वे लोग नहीं चाहते कि इस घटना के बारे में चीजें बाहर आएं.
  • सीएम योगी ने कहा कि मामले में 29 लोग गिरफ्तार किए जा चुके हैं. 10 दिनों में पूरी रिपोर्ट आने के बाद आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.
Intro:Body:

सोनभद्र में 17 को घटना होते ही अधिकारियों को निर्देश दिए थे।







जांच के आदेश दिए











कल जांच रिपोर्ट मिली है।











1955 में आदर्श कोऑपरेटिव सोसायटी की जमीन की गई।1989 में यह जमीन एक व्यक्ति के नाम किया गया।











उन्होंने 2017 मे यह भूमि प्रधान के नाम किया गया।











जिन लोगों ने 1989 में अपने नाम यह जमीन करने का काम किया। वे कब्जा नहीं कर पाए।











वनवासी लोगों का इस पर कब्जा रहता है।











इस पर घटना हो गयी।











घटना के तह में जाएंगे तो पता चलता है कि कांग्रेस की सरकार ने आदर्श सोसायटी के नाम पर गावँ के लोगों की भूमि को हड़पने का लिय किया गया।











फिर एक प्रशानिक अधिकारी के नाम किया गया। फिर ग्राम प्रधान का सहारा लेकर इसे बेचने का काम किया गया। यह पूरी तरह वैधानिक है।











1955 में कांग्रेस की सरकार थी। 1989 में भी काँग्रेस की सरकार थी। 2017 में उन लोगों ने यह भूमि बेचने का काम किया गया।











अप्रैल 2019 में 











उपजिलाधिकारी को निलंबित करने का काम किया गया। उपनिरीक्षक को निलंबित किया गया। इसके साथ ही 1955, 1989 में ग्रामीण की जमीन को सोसायटी के नाम करना और फिर व्यक्ति के नाम करना। यह गंभीर है।











अपर मुख्य सचिव राजस्व की अध्यक्षता में तीन सदस्यीय कमेटी गाठित की गया।











किसी को भी छोड़ा नहीं जाएगा। वह चाहे कितना भी ताकतवर क्यों न हो। इस मामले में अपर पुलिस महानिदेशक वाराणसी जॉन को पुलिस की हीलाहवाली की जांच को कहा गया है। 10 दिन में उनसे रिपोर्ट देने को कहा गया है।











मुख्य रूप से 1955 और 1989 में घटित घटना को अंजाम देने वाले के खिलाफ जांच कर पर्दाफास किया जाएगा।











जब सदन में यह प्रकरण रखा जाने के लिए प्रयास किया गया तो विपक्ष ने सदन बाधित करने का प्रयास किया। वे लोग नहीं चाहते कि इस घटना के बारे में चीजें बाहर आएं।











29 गिरफ्तार किए जा चुके। अन्य कार्रवाई चल रही है। 10 दिन में पूरी रिपोर्ट आने के बाद सबकी जिम्मेदारी तय की जाएगी। उनके खिलाफ कार्रवाई होगी। 











दलितों गरीबों भूमि कब्जा करने के मामले में सपा का चेहरा एक बार फिर उजागर हुआ है।






Conclusion:
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.