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Global Investors Summit 2023 : मुख्यमंत्री ने कहा, एक दिन-एक साथ सभी 75 जिलों में होगा औद्योगिक निवेश - मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ

उत्तर प्रदेश ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट (Global Investors Summit 2023) के आयोजन को लेकर तैयारियां जोरों पर हैं. 10 फरवरी से समिट की शुरुआत होनी है.

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Published : Jan 28, 2023, 10:21 PM IST

लखनऊ : उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि 'आगामी 10-12 फरवरी को उत्तर प्रदेश ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट का आयोजन होगा. देश और विदेश में हुए रोड शो के साथ-साथ जिला स्तरीय निवेशक सम्मेलनों में बेहतर परिणाम देखने को मिले हैं. 10 फरवरी को ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट का शुभारंभ होगा. इस मुख्य समारोह से सभी जिलों को जोड़ा जाएगा. जिलों के कार्यक्रम में स्थानीय उद्यमियों व निवेशकों को आमंत्रित करें. यह पहली बार होगा कि जब एक दिन-एक साथ प्रदेश के सभी 75 जिलों में निवेश होगा. सभी जिलों के लिए संभावनाओं के द्वार खुलेंगे.'

उन्होंने कहा कि 'प्रभारी मंत्री अपने जिले की स्थिति से अपडेट रहें. नियमित अंतराल पर जिले में भ्रमण करें. जनपद भ्रमण के यह कार्यक्रम कम से कम 24 घंटे का जरूर हो. जनपदीय दौरे की अवधि में होने वाली बैठकों में जनप्रतिनिधियों को भी शामिल करें. कानून-व्यवस्था व सरकारी योजनाओं की समीक्षा करें. भ्रमण के दौरान जनता से सीधा संवाद करें. किसी एक विकास खंड और तहसील के औचक निरीक्षण करें. दलित, मलिन बस्ती में सहभोज भी किया जाना चाहिए. विकास कार्यों का स्थलीय निरीक्षण कर गुणवत्ता की परख करें. कानून-व्यवस्था की समीक्षा के साथ महिला सुरक्षा, एससी-एसटी के प्रकरणों में अभियोजन की स्थिति, पुलिस पेट्रोलिंग, बाल यौन अपराधों, व्यापारियों की समस्याओं, गैंगस्टर पर कार्रवाई, ट्रैफिक प्रबंधन, राजस्व संग्रह के लिए हो रहे प्रयास आदि की समीक्षा करें. प्रभार के जिलों में यदि आकांक्षात्मक विकास खंड है तो वहां की स्थिति की समीक्षा करते रहें. भ्रमण के दौरान इन विकास खंड में तैनात मुख्यमंत्री फेलोशिप योजना के तहत कार्य कर रहे युवाओं से संवाद करें. कार्य की सफलता के लिए उसकी मॉनीटरिंग आवश्यक है. सभी मंत्री अपने विभाग की साप्ताहिक समीक्षा जरूर करें. अपने सहयोगी राज्य मंत्री को भी इन बैठक में आमंत्रित करें. विभाग से संचालित जनहित की परियोजनाओं के क्रियान्वयन में राज्यमंत्रियों को भी जिम्मेदारी दी जानी चाहिए.'



उन्होंने कहा कि 'यह सुनिश्चित कराएं कि सभी मंडलायुक्त, जिलाधिकारी, पुलिस कमिश्नर व कप्तान, मुख्य विकास अधिकारी आदि फील्ड में तैनात सभी अधिकारी नियमित अंतराल पर स्थानीय जनप्रतिनिधियों के साथ विकास परियोजनाओं की समीक्षा करें. जिला मॉनीटरिंग कमेटी की बैठक भी हो. उद्योग बंधु की बैठक भी नियमित होनी चाहिए. प्रत्येक जिलाधिकारी, पुलिस कप्तान, व्यापार व उद्योग विभाग द्वारा माह में एक बार व्यापारिक संगठनों के साथ अनिवार्य रूप से बैठक की जाए. उद्योगों के साथ बैंकर्स की बैठक कराएं, युवाओं को रोजगार के लिए ऋण योजनाओं का आसानी से लाभ मिले, इसके लिए प्रभारी मंत्री प्रयास करें. मोटे अनाज के व्यंजन आधारित रात्रिभोज आयोजित किया गया है. इसी तरह सभी मंत्री अपने क्षेत्र में स्थानीय जनप्रतिनिधियों व बुद्धिजीवी वर्ग के लिए ऐसे सहभोज का आयोजन करें.'

यह भी पढ़ें : Akhilesh Yadav का बड़ा बयान, कहा, भाजपा हम सबको शूद्र मानती है

लखनऊ : उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि 'आगामी 10-12 फरवरी को उत्तर प्रदेश ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट का आयोजन होगा. देश और विदेश में हुए रोड शो के साथ-साथ जिला स्तरीय निवेशक सम्मेलनों में बेहतर परिणाम देखने को मिले हैं. 10 फरवरी को ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट का शुभारंभ होगा. इस मुख्य समारोह से सभी जिलों को जोड़ा जाएगा. जिलों के कार्यक्रम में स्थानीय उद्यमियों व निवेशकों को आमंत्रित करें. यह पहली बार होगा कि जब एक दिन-एक साथ प्रदेश के सभी 75 जिलों में निवेश होगा. सभी जिलों के लिए संभावनाओं के द्वार खुलेंगे.'

उन्होंने कहा कि 'प्रभारी मंत्री अपने जिले की स्थिति से अपडेट रहें. नियमित अंतराल पर जिले में भ्रमण करें. जनपद भ्रमण के यह कार्यक्रम कम से कम 24 घंटे का जरूर हो. जनपदीय दौरे की अवधि में होने वाली बैठकों में जनप्रतिनिधियों को भी शामिल करें. कानून-व्यवस्था व सरकारी योजनाओं की समीक्षा करें. भ्रमण के दौरान जनता से सीधा संवाद करें. किसी एक विकास खंड और तहसील के औचक निरीक्षण करें. दलित, मलिन बस्ती में सहभोज भी किया जाना चाहिए. विकास कार्यों का स्थलीय निरीक्षण कर गुणवत्ता की परख करें. कानून-व्यवस्था की समीक्षा के साथ महिला सुरक्षा, एससी-एसटी के प्रकरणों में अभियोजन की स्थिति, पुलिस पेट्रोलिंग, बाल यौन अपराधों, व्यापारियों की समस्याओं, गैंगस्टर पर कार्रवाई, ट्रैफिक प्रबंधन, राजस्व संग्रह के लिए हो रहे प्रयास आदि की समीक्षा करें. प्रभार के जिलों में यदि आकांक्षात्मक विकास खंड है तो वहां की स्थिति की समीक्षा करते रहें. भ्रमण के दौरान इन विकास खंड में तैनात मुख्यमंत्री फेलोशिप योजना के तहत कार्य कर रहे युवाओं से संवाद करें. कार्य की सफलता के लिए उसकी मॉनीटरिंग आवश्यक है. सभी मंत्री अपने विभाग की साप्ताहिक समीक्षा जरूर करें. अपने सहयोगी राज्य मंत्री को भी इन बैठक में आमंत्रित करें. विभाग से संचालित जनहित की परियोजनाओं के क्रियान्वयन में राज्यमंत्रियों को भी जिम्मेदारी दी जानी चाहिए.'



उन्होंने कहा कि 'यह सुनिश्चित कराएं कि सभी मंडलायुक्त, जिलाधिकारी, पुलिस कमिश्नर व कप्तान, मुख्य विकास अधिकारी आदि फील्ड में तैनात सभी अधिकारी नियमित अंतराल पर स्थानीय जनप्रतिनिधियों के साथ विकास परियोजनाओं की समीक्षा करें. जिला मॉनीटरिंग कमेटी की बैठक भी हो. उद्योग बंधु की बैठक भी नियमित होनी चाहिए. प्रत्येक जिलाधिकारी, पुलिस कप्तान, व्यापार व उद्योग विभाग द्वारा माह में एक बार व्यापारिक संगठनों के साथ अनिवार्य रूप से बैठक की जाए. उद्योगों के साथ बैंकर्स की बैठक कराएं, युवाओं को रोजगार के लिए ऋण योजनाओं का आसानी से लाभ मिले, इसके लिए प्रभारी मंत्री प्रयास करें. मोटे अनाज के व्यंजन आधारित रात्रिभोज आयोजित किया गया है. इसी तरह सभी मंत्री अपने क्षेत्र में स्थानीय जनप्रतिनिधियों व बुद्धिजीवी वर्ग के लिए ऐसे सहभोज का आयोजन करें.'

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