लखनऊ : मध्य प्रदेश में नई सरकार का गठन हो गया है. मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री का पदभार संभालते ही मुख्यमंत्री मोहन यादव ने आदेश दिया कि खुले में मीट, मछली की दुकान नहीं लगेगी. उन्हें फुटपाथ से हटाया जाए. मध्य प्रदेश सरकार के इस आदेश पर बसपा मुखिया मायावती ने आपत्ति जताई है. उन्होंने सोशल मीडिया एक्स पर मध्य प्रदेश सरकार पर निशाना साधा है.
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1. मध्य प्रदेश की नई बनी भाजपा सरकार द्वारा बेरोजगारों व अन्य गरीब मेहनतकशों को रोटी-रोजी उपलब्ध कराने का जरूरी फैसला करने के बजाय, रोजगार के अभाव में मछली, अण्डा, मीट आदि का खुले में स्वरोजगार करने वालों पर दमन शुरू कर देना कितना उचित? इस विवादित फैसले पर पुनर्विचार जरूरी।
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बसपा मुखिया मायावती ने किया पोस्ट : सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर मायावती ने पोस्ट करते हुए कहा है कि 'मध्य प्रदेश की नई बनी भाजपा सरकार की तरफ से बेरोजगारों व अन्य गरीब मेहनतकशों को रोजी-रोटी उपलब्ध कराने का जरूरी फैसला करने के बजाय रोजगार के अभाव में मछली, अंडा, मीट आदि का खुले में स्वरोजगार करने वालों पर दमन कर देना कितना उचित है? इस विवादित फैसले पर पुनर्विचार जरूरी है. बसपा सुप्रीमो मायावती ने लिखा है कि मध्य प्रदेश सरकार ही नहीं, बल्कि सभी सरकारों को महंगाई, गरीबी और बेरोजगारी आदि को दूर करने पर ही पूरी तन्मयता से काम करने की जरूरत है, फिर भी इन वस्तुओं को खुले में व्यापार करने पर इतनी ज्यादा आपत्ति है तो उन्हें उजाड़ने से पहले दुकान अलॉट करने की व्यवस्था सरकार क्यों नहीं करती है. मध्य प्रदेश सरकार के इस आदेश पर विपक्षी दल लगातार हमलावर हैं.'
बता दें कि इससे पहले राजस्थान में भारतीय जनता पार्टी के सत्ता में लौटते ही विधायक बालमुकुंद ने भी खुले में मीट की दुकानों के व्यापार पर प्रतिबंध लगाने की मांग की थी. उन्होंने फुटपाथ से खुले में मीट और मांस की दुकानों को हटाने के लिए पुलिस को निर्देश भी दिए थे. खुद इसके खिलाफ मैदान में उतर पड़े थे.