लखनऊ: अभी तक ग्राम प्रधान और सचिव मिलीभगत कर ग्राम निधि के खाते से चेक के माध्यम से रकम निकाल लेते थे, लेकिन अब ग्राम पंचायतों में भ्रष्टाचार को रोकने के लिये सरकार ने सख्त कदम उठाया है. ग्राम पंचायतों के खर्चे और लेन-देन का भुगतान अब सार्वजनिक वित्तीय प्रबंधन प्रणाली (पीएफएमएस) से किया जाएगा.
सीडीओ मनीष बंसल ने सोमवार को ग्राम पंचायतों की समीक्षा बैठक के दौरान इस प्रणाली को लागू करने के लिये सचिवों को सख्त निर्देश दिये. इस प्रणाली को लागू कराने के लिये ग्राम पंचायतों के बैंक खातों पर शासन द्वारा रोक लगाई गई थी.
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सीडीओ ने की विकास कार्यों की समीक्षा
- सीडीओ मनीष बंसल ने बख्शी का तालाब ब्लॉक मुख्यालय का सोमवार को निरीक्षण किया.
- सीडीओ ने बीडीओ डॉ. अरुण कुमार सिंह को अभिलेखों का रखरखाव सही ढंग से करने के निर्देश दिये.
- सीडीओ ने ग्राम पंचायतों के विकास कार्यों की भी समीक्षा की.
- मनरेगा की खराब प्रगति होने पर सीडीओ ने बैठक में मौजूद ग्राम पंचायतों के सचिवों को प्रस्तावित कार्यों को जल्द पूर्ण कराने का निर्देश दिए.
- लक्ष्य के अनुरूप जिन सचिवों के कार्यों की प्रगति खराब मिली, उनके कार्यों का ब्यौरा तलब किया गया है.
- सभी सचिवों को पीएफएमएस प्रणाली को सख्ती से एक सप्ताह में लागू करने के निर्देश दिए गए.
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ग्राम पंचायतों के ग्राम निधि से जो खर्चे होते हैं. अब उनके भुगतान पीएफएमएस प्रणाली से करने के लिये शासनादेश आ गया है. पूरी प्रणाली लागू कर दी गई है. इस काम को कराने के लिये सभी सचिवों को सख्ती से निर्देश दिये गए हैं.
-मनीष बंसल, सीडीओ
सहायक विकास अधिकारी पंचायत (एडीओ) हरिशंकर यादव द्वारा कार्यालय में ग्राम पंचायतों से संबंधित अभिलेख न दिखा पाने पर सीडीओ ने जिला पंचायतराज अधिकारी (डीपीआरओ) प्रदीप कुमार को एडीओ के खिलाफ कार्रवाई के निर्देश दिये.