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राजधानी की स्वास्थ्य सुविधाओं में इस राजघराने का अहम योगदान

राजधानी लखनऊ के बलरामपुर, डफरिन अस्पताल और किंग जॉर्ज मेडिकल अस्पताल के विकास में बलरामपुर राजघराने ने महत्वपूर्ण योगदान दिया है. राजघराने द्वारा बनवाए गए बलरामपुर अस्पताल को 151 साल पूरे हो चुके हैं.

बलरामपुर अस्पताल, लखनऊ.
बलरामपुर अस्पताल, लखनऊ.
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Published : Feb 3, 2021, 6:13 PM IST

लखनऊः राजधानी लखनऊ में शिक्षा और स्वास्थ्य के क्षेत्र में बलरामपुर राजघराने ने बहुत योगदान दिया है. राजघराने ने लखनऊ में बलरामपुर अस्पताल, डफरिन अस्पताल और किंग जॉर्ज मेडिकल अस्पताल के विकास में महत्वपूर्ण योगदान दिया है. राजघराने की ओर से बनवाए गए बलरामपुर अस्पताल को 151 साल पूरे हो चुके हैं. इसी तरह किंग जॉर्ज मेडिकल कॉलेज के विकास और विस्तार में भी राजघराने ने योगदान दिया है. जॉर्ज मेडिकल कॉलेज के लिए बलरामपुर राजघराने ने जमीन दी है, जिसकी बदौलत ही यह पूरे प्रदेश के मरीजों को चिकित्सीय सुविधा उपलब्ध करा रहा है.

बलरामपुर अस्पताल, लखनऊ.

स्वास्थ्य क्षेत्र में बलरामपुर राजघराने का योगदान
राजधानी लखनऊ में स्वास्थ्य के क्षेत्र में पहले अच्छी सुविधाएं नहीं थी. खासतौर से अंग्रेजों के समय में लखनऊ में स्वास्थ्य सुविधाओं के विकास के लिए बलरामपुर राजघराना को हमेशा से ही याद किया जाता है. रेजीडेंसी के बगल में हिल स्टेशन के नाम से एक इमारत थी, जहां पर केवल अंग्रेजों का ही इलाज होता था. बाद में इसे अलग कर बलरामपुर अस्पताल का निर्माण कराया गया. जहां पर आज सभी का इलाज होता है.

बलरामपुर अस्पताल की गौरवशाली गाथा
बलरामपुर अस्पताल के निर्माण के पीछे इतिहास रोमांचक है. बलरामपुर राजघराने के ही महाराजा दिग्विजय सिंह ने इसकी स्थापना 1869 में की थी. उस समय अंग्रेजों के लिए बलरामपुर अस्पताल जाना जाता था. बाद में भारतीयों के लिए बलरामपुर के महाराजा दिग्विजय सिंह ने इस अस्पताल की स्थापना की थी. बलरामपुर अस्पताल में पिछले 151 साल से लगातार लोगों का इलाज किया जा रहा है. वहीं ग्रामीण क्षेत्रों में भी राजघराने ने 21 अस्पताल स्थापित कराए थे.

किंग जॉर्ज मेडिकल कॉलेज के विस्तार में योगदान
बलरामपुर राजघराने का किंग जॉर्ज मेडिकल कॉलेज के विकास और विस्तार दोनों में ही योगदान है. मेडिकल कॉलेज के ट्रामा सेंटर, शताब्दी बिल्डिंग और पीछे कई विभागों के निर्माण के लिए जमीनों की आवश्यकता थी जो बलरामपुर के महाराजा की थी. इसके बाद महाराजा धर्मेंद्र प्रसाद सिंह ने इस जमीन को मेडिकल कॉलेज को उपलब्ध करा दिया. जिसके फलस्वरूप आज यह विश्वविद्यालय प्रदेश के चिकित्सा के क्षेत्र में अपना महत्वपूर्ण योगदान दे रहा है.

क्या कहते हैं इतिहासकार
लखनऊ के पद्मश्री से सम्मानित इतिहासकार योगेश प्रवीन बताते हैं कि बलरामपुर राजघराने में शिक्षा और स्वास्थ्य के क्षेत्र में महत्वपूर्ण काम किया है. लखनऊ में बलरामपुर अस्पताल, डफरिन अस्पताल और किंग जॉर्ज मेडिकल अस्पताल के निर्माण और विस्तार में इस राजघराने ने अपना योगदान दिया है.

लखनऊः राजधानी लखनऊ में शिक्षा और स्वास्थ्य के क्षेत्र में बलरामपुर राजघराने ने बहुत योगदान दिया है. राजघराने ने लखनऊ में बलरामपुर अस्पताल, डफरिन अस्पताल और किंग जॉर्ज मेडिकल अस्पताल के विकास में महत्वपूर्ण योगदान दिया है. राजघराने की ओर से बनवाए गए बलरामपुर अस्पताल को 151 साल पूरे हो चुके हैं. इसी तरह किंग जॉर्ज मेडिकल कॉलेज के विकास और विस्तार में भी राजघराने ने योगदान दिया है. जॉर्ज मेडिकल कॉलेज के लिए बलरामपुर राजघराने ने जमीन दी है, जिसकी बदौलत ही यह पूरे प्रदेश के मरीजों को चिकित्सीय सुविधा उपलब्ध करा रहा है.

बलरामपुर अस्पताल, लखनऊ.

स्वास्थ्य क्षेत्र में बलरामपुर राजघराने का योगदान
राजधानी लखनऊ में स्वास्थ्य के क्षेत्र में पहले अच्छी सुविधाएं नहीं थी. खासतौर से अंग्रेजों के समय में लखनऊ में स्वास्थ्य सुविधाओं के विकास के लिए बलरामपुर राजघराना को हमेशा से ही याद किया जाता है. रेजीडेंसी के बगल में हिल स्टेशन के नाम से एक इमारत थी, जहां पर केवल अंग्रेजों का ही इलाज होता था. बाद में इसे अलग कर बलरामपुर अस्पताल का निर्माण कराया गया. जहां पर आज सभी का इलाज होता है.

बलरामपुर अस्पताल की गौरवशाली गाथा
बलरामपुर अस्पताल के निर्माण के पीछे इतिहास रोमांचक है. बलरामपुर राजघराने के ही महाराजा दिग्विजय सिंह ने इसकी स्थापना 1869 में की थी. उस समय अंग्रेजों के लिए बलरामपुर अस्पताल जाना जाता था. बाद में भारतीयों के लिए बलरामपुर के महाराजा दिग्विजय सिंह ने इस अस्पताल की स्थापना की थी. बलरामपुर अस्पताल में पिछले 151 साल से लगातार लोगों का इलाज किया जा रहा है. वहीं ग्रामीण क्षेत्रों में भी राजघराने ने 21 अस्पताल स्थापित कराए थे.

किंग जॉर्ज मेडिकल कॉलेज के विस्तार में योगदान
बलरामपुर राजघराने का किंग जॉर्ज मेडिकल कॉलेज के विकास और विस्तार दोनों में ही योगदान है. मेडिकल कॉलेज के ट्रामा सेंटर, शताब्दी बिल्डिंग और पीछे कई विभागों के निर्माण के लिए जमीनों की आवश्यकता थी जो बलरामपुर के महाराजा की थी. इसके बाद महाराजा धर्मेंद्र प्रसाद सिंह ने इस जमीन को मेडिकल कॉलेज को उपलब्ध करा दिया. जिसके फलस्वरूप आज यह विश्वविद्यालय प्रदेश के चिकित्सा के क्षेत्र में अपना महत्वपूर्ण योगदान दे रहा है.

क्या कहते हैं इतिहासकार
लखनऊ के पद्मश्री से सम्मानित इतिहासकार योगेश प्रवीन बताते हैं कि बलरामपुर राजघराने में शिक्षा और स्वास्थ्य के क्षेत्र में महत्वपूर्ण काम किया है. लखनऊ में बलरामपुर अस्पताल, डफरिन अस्पताल और किंग जॉर्ज मेडिकल अस्पताल के निर्माण और विस्तार में इस राजघराने ने अपना योगदान दिया है.

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