लखनऊ: उत्तर प्रदेश की 11 विधानसभा सीटों पर हो रहे उपचुनाव को लेकर एसोसिएशन ऑफ द डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स (एडीआर) ने आंकड़े जारी किए. उत्तर प्रदेश की 11 विधानसभा सीटों पर विभिन्न पार्टियों से मैदान में उतरने वाले उम्मीदवारों में से 24 फीसदी उम्मीदवार के ऊपर आपराधिक मामले दर्ज हैं. वहीं 21 फीसदी उम्मीदवारों के ऊपर गंभीर आपराधिक मामले दर्ज हैं. 101 प्रत्याशियों में से 45 प्रत्याशी ऐसे हैं, जिनकी संपत्ति एक करोड़ से अधिक है. सबसे ज्यादा संपत्ति अरुण द्विवेदी की है, जो लखनऊ कैंट से बीएसपी के टिकट पर चुनाव लड़ रहे हैं.
एडीआर ने दल वार आंकड़े घोषित करते हुए बताया कि बसपा में 45 फीसदी, बीजेपी में 30 फीसदी, इंडियन नेशनल कांग्रेस में 20 फीसदी उम्मीदवारों के ऊपर आपराधिक मामले दर्ज हैं. प्रत्याशियों में सबसे आपराधिक छवि में प्रत्याशी अब्दुल मटीम जो प्रतापगढ़ विधानसभा से पीस पार्टी की ओर से चुनाव लड़ रहे हैं. दूसरे नंबर पर डॉक्टर तंजीम फातिमा हैं, जो समाजवादी पार्टी की ओर से रामपुर में चुनाव लड़ रही हैं. वहीं तीसरे नंबर पर नीरज त्रिपाठी हैं जो कि कांग्रेस पार्टी की ओर से प्रतापगढ़ से चुनाव लड़ रहे हैं.
अरुण द्विवेदी हैं सबसे अमीर उम्मीदवार
संजय सिंह ने बताया कि जब उम्मीदवारों की आर्थिक स्थिति का विश्लेषण किया गया तो 101 प्रत्याशियों में से 45 प्रत्याशी ऐसे हैं, जिनकी संपत्ति एक करोड़ से अधिक है. सबसे ज्यादा संपत्ति अरुण द्विवेदी की है, जो लखनऊ कैंट से बीएसपी के टिकट पर चुनाव लड़ रहे हैं. इनकी कुल संपत्ति 22 करोड़ से ज्यादा है. दूसरे नंबर पर देवी प्रसाद तिवारी हैं, जो कानपुर नगर से बीएसपी के प्रत्याशी हैं. जिनकी संपत्ति 10 करोड़ से ज्यादा है. तीसरे नंबर पर बीजेपी के टिकट पर कानपुर नगर से सुरेंद्र मैथानी हैं. उपचुनाव में उम्मीदवारों के औसतन संपत्ति 1.59 करोड़ है. सबसे कम संपत्ति रामपुर विधानसभा से निर्दलीय प्रत्याशी विवा खां की है. जिन्होंने अपनी संपत्ति 40029 घोषित की है.
61 फीसदी उम्मीदवार स्नातक
उम्मीदवारों के शैक्षणिक योग्यता के बारे में आंकड़े बताते हुए संजय सिंह ने बताया कि 101 प्रत्याशियों में से 31 प्रत्याशियों ने अपनी शैक्षणिक योग्यता 5 से 12 तक घोषित की है, जबकि 61 फीसदी प्रत्याशियों ने अपनी योग्यता स्नातक घोषित की है. वहीं दो उम्मीदवार डिप्लोमा धारक हैं.
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उपचुनाव में खड़े हुए उम्मीदवारों की आयु को लेकर जो आंकड़े प्रस्तुत किए गए उसके हिसाब से 70 उम्मीदवारों ने अपनी आयु 25 से 50 वर्ष के बीच घोषित की है. 61 उम्मीदवारों ने अपनी आयु 51 से 70 वर्ष के बीच घोषित की है. महिला उम्मीदवारों की अगर बात करें तो उपचुनाव में 11 फीसदी महिलाएं चुनाव लड़ रही हैं.