कासगंज: जिले में एक बार फिर फर्जी शिक्षकों का खुलासा हुआ है, जहां इस बार 6 फर्ज़ी शिक्षक पाए गए हैं. इनमें से 3 शिक्षकों की बीएड की और 3 शिक्षकों की हाईस्कूल-इण्टर की फर्जी मार्कशीट जांच में पाई गई है. एक शिक्षिका दूसरे के अभिलेखों पर नौकरी करते हुई पकड़ी गई. वहीं बीएसए ने सभी 6 फर्जी शिक्षकों की सेवा समाप्त करते हुए एफआईआर के निर्देश दिए हैं.
बेसिक शिक्षा अधिकारी अंजली अग्रवाल ने 6 शिक्षकों के प्रपत्र संदिग्ध लगने पर उनकी पत्रावलियों की जांच कराई, जिसमें सभी पत्रावलियां फर्जी पाई गईं. सबसे पहले तीन शिक्षकों की बीएड की डिग्री का उक्त के कॉलेज से सत्यापन कराया गया तो कालेज द्वारा उक्त सत्र में कोई बीएड संकाय संचालित न होने के संबंध में आख्या बेसिक शिक्षा विभाग को उपलब्ध कराई गई. इस आधार पर बीएड की अंकतालिकाएं फर्जी पाई गईं.
बीएड की फर्जी डिग्रीधारी 3 अध्यापकों के नाम और तैनाती
1. देविका रानी सहायक अध्यापक प्राथमिक विद्यालय तैयबपुर (सिढ़पुरा), 13 अगस्त 2014 से कार्यरत.
2. सहोद्रा कुमारी सहायक अध्यापक प्राथमिक विद्यालय शेरपुर (अमांपुर), 13 अगस्त 2014 से कार्यरत.
3. देवेंद्र सिंह सहायक अध्यापक प्राथमिक विद्यालय पहाड़पुर कटरा (सोरों), 13 अगस्त 2014 से कार्यरत.
वहीं तीन शिक्षकों की हाईस्कूल-इण्टर की फर्ज़ी अंकतालिकाएं पाईं गईं है. दरअसल 2010 के पश्चात हुई नियुक्तियों की 2018 में जांच की गई, जिसमें एक जांच समिति बनाई गई. समिति में अपर जिलाधिकारी को अध्यक्ष, अपर पुलिस अधीक्षक बेसिक शिक्षा अधिकारी, सदस्य नामित किए गए. जांच में 3 शिक्षकों की हाईस्कूल-इण्टर की अंकतालिकाएं फर्ज़ी पाईं गईं. इसके चलते तीनों शिक्षकों की अब सेवा समाप्ति के निर्देश के साथ-साथ एफआईआर के निर्देश दिए गए.
हाईस्कूल-इंटर की फर्जी मार्कशीट के शिक्षक
1. दीप्ति लेबर कालौनी शिकोहाबाद जनपद फिरोजाबाद की रहने वाली हैं. इनकी तैनाती प्राथमिक विद्यालय नूरपुर द्वितीय(गंजडुंडवारा) में 20 नवंबर 2017 को हुई थी. यह शिक्षिका किसी दूसरे के अभिलेखों पर नौकरी करती पाई गई.
2. सुनील कुमार यादव आवास विकास कालोनी जनपद एटा के रहने वाले हैं. इनकी तैनाती प्राथमिक विद्यालय सुनवई (सिढ़पुरा) में 28 जून 2016 को हुई थी. उक्त शिक्षक की हाईस्कूल-इण्टर की फर्जी मार्कशीट पाई गई.
3. कमलेश कुमार सुनहरी नगर जनपद एटा के रहने वाले हैं. इनकी तैनाती प्राथमिक विद्यालय अलीपुर में 28 जून 2016 को हुई थी. उक्त शिक्षक की हाईस्कूल-इण्टर की फर्जी मार्कशीट पाई गई.