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बर्बादी के ढेर पर कानपुर के कई मार्केट, आगजनी से बचाने के लिए नहीं पुख्ता इंतजाम

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Published : Apr 1, 2023, 9:06 PM IST

Updated : Apr 1, 2023, 9:58 PM IST

कानपुर में 60 लाख की आबादी में केवल 20 दमकल गाड़ियां है. आग के हादसों से पिटने के लिए पूरे बंदोबस्त नहीं है. इसकी पोल बांसमंडी हादसे ने खोल दी है. शहर में 2017 से लेकर अब तक कई बड़े अग्निकांड हो चुके हैं.

बर्बादी के ढेर पर कानपुर की कई मार्केट
बर्बादी के ढेर पर कानपुर की कई मार्केट

कानपुर: शहर में शुक्रवार सुबह के बाद से केवल एक चर्चा हर गली-मोहल्ले में हो रही है कि जिस तरह बांसमंडी में हादसा हुआ है, भगवान न करे इस तरह का हादसा कभी दोबारा हो. लेकिन, नवीन मार्केट, रजबी रोड मार्केट, चावला मार्केट, टोपी बाजार, किराना बाजार समेत अन्य में कोई आगजनी की घटना होती है तो क्या होगा? बांसमंडी स्थित हमराज काम्प्लेक्स समेत अन्य टॉवर की सैकड़ों दुकानें कुछ समय में ही जलकर पूरी तरह खाक हो गईं है.

व्यापारियों का कहना है कि अगर फायर सर्विस विभाग के पास अत्याधुनिक संसाधन थे तो घंटों धुआं क्यों निकलता रहा? ऐसे में अगर शहर के अंदर कोई अग्निकांड होगा तो क्या पुलिस और प्रशासन के अफसर स्थिति नियंत्रित कर पाएंगे? शायद नहीं. क्योंकि बांसमंडी हादसा अब अफसरों के लिए उस बानगी की तरह सामने है, जिससे उन्हें सीख लेते हुए शहर की सभी प्रमुख व घनी आबादी वाले क्षेत्रों की बाजारों में आगजनी से बचाव संबंधी सारे प्रबंध करने चाहिए. वहीं, कानपुर की डीएम विशाख जी अय्यर ने कहा कि सोमवार से ही शहर की सभी बाजारों में का सर्वे कराएंगे. सभी दुकानदारों को अब अग्निश्मन यंत्रों को लगवाना होगा. इसके लिए सर्विस विभाग के अफसरों के साथ बैठक की जाएगी.

अभी तक शहर में हुए अग्निकांड के मामले:
- 27 अक्टूबर 2017 को पूर्व महापौर के बांसमंडी स्थित कोल्ड स्टोरेज में भीषण आग लगी
- 6 जनवरी 2021 को गोविंद नगर में चार मंजिला मकान में भीषण आग लगी, एक की मौत, तीन झुलसे थे.
- 29 जनवरी 2022 को काहूकोठी स्थित मिठाई कारखाने में आग लगने से दो कर्मी जिंदा जले.
- 8 मई 2022 को दादा नगर में इंक फैक्ट्री में केमिकल के ड्रम फटे थे, फैली थी दहशत.
- 16 दिसंबर 2022 को गड़रियनपुरवा स्थित साइकिल फैक्ट्री में आग के दौरान तीन श्रमिकों की मौत हुई.
- 3 फरवरी 2023 को पनकी स्थित पान मसाला फैक्ट्री में आग लगने से एक युवक की मौत.

शहर में दमकल वाहनों की स्थिति को देखें
लाटूश रोड फायर स्टेशन: इस स्टेशन में एमएफई- 2500 लीटर की क्षमता वाली दो गाड़ियां, हाईप्रेशर- चार सौ लीटर क्षमता वाली एक गाड़ी, दो पंप और एक रेस्क्यू वैन है.
कर्नलगंज फायर स्टेशन में एमएफई- 2500 लीटर क्षमता वाली दो गाड़ियां, वाटर ब्राउजर- आठ हजार लीटर की क्षमता का एक फायर टेंडर हाईप्रेशर- चार सौ लीटर क्षमता की एक गाड़ी, जेटीवी-2. पंप-2, और एक रेस्क्यू वैन है.
फजलगंज फायर स्टेशन में एमएफई- दो हजार लीटर क्षमता वाली एक गाड़ी, 45 सौ लीटर की एक गाड़ी, फोम टेंडर- 2 वाटर ब्राउजर- 8 हजार व 12 हजार लीटर की क्षमता वाले पंप-3, हाईड्रोलिक प्लेटफार्म व 42 मीटर ऊंचाई की क्षमता वाली एक गाड़ी, दो एम्बुलेंस, 2 बोलेरो और एक ट्रॉली है.
मीरपुर फायर स्टेशन में एमएफई- 45 सौ लीटर की क्षमता वाली दो गाड़ियां, वाटर ब्राउजर: आठ हजार लीटर की क्षमता वाली एक गाड़ी, हाई प्रेशर- चार सौ लीटर की क्षमता वाली एक गाड़ी, तीन पंप और 2 एम्बुलेंस है.
जाजमऊ फायर स्टेशन में एमएफई- 45 सौ लीटर की क्षमता वाली दो गाड़ियां, फोम टेंडर- 45 सौ लीटर क्षमता वाली एक गाड़ी, हाई प्रेशर- चार सौ लीटर क्षमता की एक गाड़ी के साथ एक पंप और एक रेस्क्यू वैन है.

कानपुर: शहर में शुक्रवार सुबह के बाद से केवल एक चर्चा हर गली-मोहल्ले में हो रही है कि जिस तरह बांसमंडी में हादसा हुआ है, भगवान न करे इस तरह का हादसा कभी दोबारा हो. लेकिन, नवीन मार्केट, रजबी रोड मार्केट, चावला मार्केट, टोपी बाजार, किराना बाजार समेत अन्य में कोई आगजनी की घटना होती है तो क्या होगा? बांसमंडी स्थित हमराज काम्प्लेक्स समेत अन्य टॉवर की सैकड़ों दुकानें कुछ समय में ही जलकर पूरी तरह खाक हो गईं है.

व्यापारियों का कहना है कि अगर फायर सर्विस विभाग के पास अत्याधुनिक संसाधन थे तो घंटों धुआं क्यों निकलता रहा? ऐसे में अगर शहर के अंदर कोई अग्निकांड होगा तो क्या पुलिस और प्रशासन के अफसर स्थिति नियंत्रित कर पाएंगे? शायद नहीं. क्योंकि बांसमंडी हादसा अब अफसरों के लिए उस बानगी की तरह सामने है, जिससे उन्हें सीख लेते हुए शहर की सभी प्रमुख व घनी आबादी वाले क्षेत्रों की बाजारों में आगजनी से बचाव संबंधी सारे प्रबंध करने चाहिए. वहीं, कानपुर की डीएम विशाख जी अय्यर ने कहा कि सोमवार से ही शहर की सभी बाजारों में का सर्वे कराएंगे. सभी दुकानदारों को अब अग्निश्मन यंत्रों को लगवाना होगा. इसके लिए सर्विस विभाग के अफसरों के साथ बैठक की जाएगी.

अभी तक शहर में हुए अग्निकांड के मामले:
- 27 अक्टूबर 2017 को पूर्व महापौर के बांसमंडी स्थित कोल्ड स्टोरेज में भीषण आग लगी
- 6 जनवरी 2021 को गोविंद नगर में चार मंजिला मकान में भीषण आग लगी, एक की मौत, तीन झुलसे थे.
- 29 जनवरी 2022 को काहूकोठी स्थित मिठाई कारखाने में आग लगने से दो कर्मी जिंदा जले.
- 8 मई 2022 को दादा नगर में इंक फैक्ट्री में केमिकल के ड्रम फटे थे, फैली थी दहशत.
- 16 दिसंबर 2022 को गड़रियनपुरवा स्थित साइकिल फैक्ट्री में आग के दौरान तीन श्रमिकों की मौत हुई.
- 3 फरवरी 2023 को पनकी स्थित पान मसाला फैक्ट्री में आग लगने से एक युवक की मौत.

शहर में दमकल वाहनों की स्थिति को देखें
लाटूश रोड फायर स्टेशन: इस स्टेशन में एमएफई- 2500 लीटर की क्षमता वाली दो गाड़ियां, हाईप्रेशर- चार सौ लीटर क्षमता वाली एक गाड़ी, दो पंप और एक रेस्क्यू वैन है.
कर्नलगंज फायर स्टेशन में एमएफई- 2500 लीटर क्षमता वाली दो गाड़ियां, वाटर ब्राउजर- आठ हजार लीटर की क्षमता का एक फायर टेंडर हाईप्रेशर- चार सौ लीटर क्षमता की एक गाड़ी, जेटीवी-2. पंप-2, और एक रेस्क्यू वैन है.
फजलगंज फायर स्टेशन में एमएफई- दो हजार लीटर क्षमता वाली एक गाड़ी, 45 सौ लीटर की एक गाड़ी, फोम टेंडर- 2 वाटर ब्राउजर- 8 हजार व 12 हजार लीटर की क्षमता वाले पंप-3, हाईड्रोलिक प्लेटफार्म व 42 मीटर ऊंचाई की क्षमता वाली एक गाड़ी, दो एम्बुलेंस, 2 बोलेरो और एक ट्रॉली है.
मीरपुर फायर स्टेशन में एमएफई- 45 सौ लीटर की क्षमता वाली दो गाड़ियां, वाटर ब्राउजर: आठ हजार लीटर की क्षमता वाली एक गाड़ी, हाई प्रेशर- चार सौ लीटर की क्षमता वाली एक गाड़ी, तीन पंप और 2 एम्बुलेंस है.
जाजमऊ फायर स्टेशन में एमएफई- 45 सौ लीटर की क्षमता वाली दो गाड़ियां, फोम टेंडर- 45 सौ लीटर क्षमता वाली एक गाड़ी, हाई प्रेशर- चार सौ लीटर क्षमता की एक गाड़ी के साथ एक पंप और एक रेस्क्यू वैन है.

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Last Updated : Apr 1, 2023, 9:58 PM IST
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