कानपुर: शहर के बिकरू कांड ने कानपुर (kanpur bikaru case) ही नहीं बल्कि पूरे प्रदेश को हिला कर रख दिया था. कुख्यात आरोपी विकास दुबे ने अपने साथियों के साथ मिलकर 8 पुलिसकर्मियों को दर्दनाक तरीके से मौत के घाट उतार दिया था. हालांकि इस घटना के बाद विकास दुबे की पुलिस एंकाउटर में मौत हो गयी थी. बिकरू कांड से जुड़े अन्य आरोपियों पर कार्रवाई का सिलसिला लगातार जारी है. पुलिस ने गुरुवार को विकास दुबे के भांजे शिवा तिवारी पर एनएसए की कार्रवाई की है (NSA on Vikas Dubey nephew). कानपुर डीएम विशाख जी अय्यर ने भी देर रात इसकी संस्तुति की. बिकरू कांड से जुड़े हुए 6 आरोपियों पर अब तक एनएसए की कार्रवाई की जा चुकी है.
पुलिस जांच के मुताबिक बिकरू कांड में दो सेमी ऑटोमैटिक राइफल का इस्तेमाल किया गया था. इन राइफल्स से 8 पुलिसकर्मियों को मौत के घाट उतारा गया था. इनमें से एक राइफल कुख्यात आरोपी विकास दुबे के पास थी. वहीं दूसरी राइफल उसके भांजे शिवा तिवारी के पास थी. पुलिस जांच में यह बात सामने आई कि बिकरू कांड में 8 पुलिसकर्मियों की जान इन्हीं रायफल्स से चली गोलियों के लगने से हुई थी.
इस घटना में अब तक 6 लोगों पर एनएसए की कार्रवाई की जा चुकी है. इससे पहले पुलिस ने आरोपी शिवम दलाल पर एनएसए की कार्रवाई की गयी थी. वहीं, इस घटना के खजांची कहे जाने वाले जय बाजपेई के साथ -साथ रमेश चंद्र, प्रशांत, बल्लू मुसलमान पर भी NSA की कार्रवाई की जा चुकी है. बिकरू कांड के दौरान गैंगस्टर विकास दुबे को पकड़ने के लिए पुलिस की दबिश 44 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया था. इसमें विकास के गुर्गों के 4 महिलाओं समेत 44 आरोपी अभी भी जेल में बंद है.
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