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कानपुर: केडीए में खुली भ्रष्टाचार की पोल, आरोपी कर्मचारियों के खिलाफ FIR

यूपी के कानुपर विकास प्राधिकरण में भ्रष्टाचार का मामला सामने आया है. इसमें आरोपी कर्मचारियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है.

केडीए में खुली भ्रष्टाचार की पोल.
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Published : Aug 29, 2019, 9:31 PM IST

कानपुर: केडीए के भ्रष्टाचार की परत दर परत अब खुलने लगी है, जिसकी बानगी इस शासनादेश के बाद केडीए कर्मचारियों पर होने वाली एफआईआर से साफ हो रही है. आरोपी कर्मचारियों में दो सेवानिवृत्त हो चुके, जबकि एक की मौत हो चुकी है. चार वर्तमान में केडीए में कार्यरत हैं.

केडीए में खुली भ्रष्टाचार की पोल.
केडीए सचिव ने इस भ्रष्टाचार के पूरे मामले में ज्वांइट सेक्रेटरी की जांच रिपोर्ट के आधार पर सभी आरोपियों के खिलाफ थाना स्वरूप नगर में नामजद लिखित शिकायत की है.

फर्जी हस्ताक्षर कर कराई रजिस्ट्री
कानपुर विकास प्राधिकरण के भ्रष्ट बाबुओं ने कानपुर के किदवई नगर और जूही इलाके में चार प्लॉट्स अधिकारियों के फर्जी हस्ताक्षर कर उनकी फर्जी रजिस्ट्री तक करा दी थी. मामले में बीजेपी विधायक अशोक चंदेल की शिकायत पर शासन ने इस फर्जीवाड़े का संज्ञान लेकर जांच के आदेश दिए.

जांच में केडीए के कर्मचारी पाये गये दोषी
केडीए सचिव स्तर पर 2018 में शुरू हुई जांच को ज्वाइंट सेक्रेटरी केके सिंह ने जांच की तो केडीए कर्मचारियों को दोषी पाया और सचिव को जांच रिपोर्ट सौंपी. दोषी कर्मचारियों में तीन कर्मचारी सेवानिवृत्त हो चुके हैं. इसमें एक की मौत हो चुकी है. महेश गुप्ता प्रथम श्रेणी लिपिक और कमलेश कुमार साहू प्रधान लिपिक ये दोनों सेवानिवृत्त हो चुके हैं. लिपिक श्याम मोहन की मौत हो चुकी है. वहीं अश्वनी अवस्थी (लेखाकार) , कंचन कुमार गुप्ता प्रथम श्रेणी लिपिक, प्रेम सिंह राठौर द्वितीय श्रेणी लिपिक ये वर्तमान में केडीए में कार्यरत हैं इन पर भी एफआईआर होगी.

कानपुर: केडीए के भ्रष्टाचार की परत दर परत अब खुलने लगी है, जिसकी बानगी इस शासनादेश के बाद केडीए कर्मचारियों पर होने वाली एफआईआर से साफ हो रही है. आरोपी कर्मचारियों में दो सेवानिवृत्त हो चुके, जबकि एक की मौत हो चुकी है. चार वर्तमान में केडीए में कार्यरत हैं.

केडीए में खुली भ्रष्टाचार की पोल.
केडीए सचिव ने इस भ्रष्टाचार के पूरे मामले में ज्वांइट सेक्रेटरी की जांच रिपोर्ट के आधार पर सभी आरोपियों के खिलाफ थाना स्वरूप नगर में नामजद लिखित शिकायत की है.

फर्जी हस्ताक्षर कर कराई रजिस्ट्री
कानपुर विकास प्राधिकरण के भ्रष्ट बाबुओं ने कानपुर के किदवई नगर और जूही इलाके में चार प्लॉट्स अधिकारियों के फर्जी हस्ताक्षर कर उनकी फर्जी रजिस्ट्री तक करा दी थी. मामले में बीजेपी विधायक अशोक चंदेल की शिकायत पर शासन ने इस फर्जीवाड़े का संज्ञान लेकर जांच के आदेश दिए.

जांच में केडीए के कर्मचारी पाये गये दोषी
केडीए सचिव स्तर पर 2018 में शुरू हुई जांच को ज्वाइंट सेक्रेटरी केके सिंह ने जांच की तो केडीए कर्मचारियों को दोषी पाया और सचिव को जांच रिपोर्ट सौंपी. दोषी कर्मचारियों में तीन कर्मचारी सेवानिवृत्त हो चुके हैं. इसमें एक की मौत हो चुकी है. महेश गुप्ता प्रथम श्रेणी लिपिक और कमलेश कुमार साहू प्रधान लिपिक ये दोनों सेवानिवृत्त हो चुके हैं. लिपिक श्याम मोहन की मौत हो चुकी है. वहीं अश्वनी अवस्थी (लेखाकार) , कंचन कुमार गुप्ता प्रथम श्रेणी लिपिक, प्रेम सिंह राठौर द्वितीय श्रेणी लिपिक ये वर्तमान में केडीए में कार्यरत हैं इन पर भी एफआईआर होगी.

Intro:कानपुर :- कानपुर विकास प्राधिकरण में खुली भ्रस्टाचार की पोल , आरोपी कर्मचारियों के खिलाफ दर्ज हुई एफआईआर ।

कानपुर विकास प्राधिकरण के भ्रष्टाचार की परत दर परत अब खुलने लगी है जिसकी बानगी इस शासनादेश के बाद केडीए कर्मचारियों पर होने वाली एफआईआर से साफ़ हो रही है | आरोपी कर्मचारियों में दो सेवानिवृत्त चुके  एक की मौत हो चुकी है जबकि चार वर्तमान में केडीए में कार्यरत है | केडीए सचिव ने इस भ्रष्टाचार के पूरे मामले में ज्वाइन्ट सक्रेटरी की जाँच रिपोर्ट के आधार पर सभी आरोपियों के खिलाफ थाना स्वरुप नगर में नामजद लिखित शिकायत की है | 



Body:कानपुर विकास प्राधिकरण के महाभ्रष्ट बाबुओ ने कानपुर के किदवई नगर और जूही इलाके में चार प्लॉट्स अधिकारियों के फर्जी हस्ताक्षर कर उनकी फर्जी रजिस्ट्री तक करा दी थी | बीजेपी विधायक अशोक चंदेल की शिकायत पर शासन ने इस फर्जीवाड़े पर सज्ञान लेकर जाँच के आदेश दिए | केडीए सचिव स्तर पर 2018 में शुरू हुई जाँच को ज्वॉइंट सक्रेटरी के के सिंह ने जाँच की तो केडीए कर्मचारियों को दोषी पाया और सचिव को जांच रिपोर्ट सौंपी | दोषी कर्मचारियों में तीन कर्मचारी सेवानिवृत्त हो चुके है जिसमे  मौत हो चुकी है | महेश गुप्ता प्रथम श्रेणी लिपिक और कमलेश कुमार साहू प्रधान लिपिक ये दोनों सेवानिवृत्त हो चुके है | लिपिक श्याम मोहन की मौत हो चुकी है वहीं अश्वनी अवस्थी (लेखाकार) , कंचन कुमार गुप्ता प्रथम श्रेणी लिपिक , प्रेम सिंह राठौर द्वितीय श्रेणी लिपिक ये वर्तमान में केडीए में कार्यरत है इन पर भी एफआई आर हो रही है | 


बाईट - एस पी सिंह (केडीए सचिव)





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