कानपुर: शहर के परेड चौराहा पर हुए बवाल में अब तक पुलिस ने 50 आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया. पिछले 24 घंटों में 12 आरोपियों को उनके घर से दबोचा गया है. कानपुर हिंसा के एक आरोपी ने पोस्टर में तस्वीर आने के बाद सरेंडर कर दिया. वहीं, बाजारबंदी के पोस्टर छापने वाले प्रिंटिग प्रेस के मालिक को भी पुलिस ने हिरासत में लिया.
पुलिस द्वारा की गई कार्रवाई की जानकारी संयुक्त पुलिस आयुक्त आनंद प्रकाश तिवारी ने मंगलवार को दी. उन्होंने बताया कि बवाल के आरोपियों के पोस्टर भी जारी कर दिए गए हैं. उनके आधार पर भी गिरफ्तारी का काम किया जा रहा है. इसके अलावा पुलिस के साथ अब एटीएस ने भी मुस्तैदी के साथ पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) के सदस्यों को तलाशना शुरू कर दिया है. हिंसा में संलिप्त लोगो के खिलाफ पुलिस की धरपकड़ जारी है. संयुक्त पुलिस आयुक्त ने ईटीवी भारत को बताया कि आरोपियों को पकड़ने के लिए तलाशी अभियान चलाया जा रहा है.
आरोपियों की गिरफ्तारी के दौरान किसी तरह का विरोध या हंगामा न हो. इसके लिए परेड चौराहा से यतीमखाना, नई सड़क समेत आस-पास के अन्य क्षेत्रों में चप्पे-चप्पे पर पीएसी, आरआरएफ व स्थानीय पुलिस फोर्स के जवान तैनात हैं. जिन इमारतों व गलियों से पत्थरबाज निकले थे, उन पर दूरबीन से नदर रखी जा रही है.
साथ ही आरोपियों की संपत्तियों को नष्ट करने की दिशा में पुलिस प्रशासन ने काम करना शुरू कर दिया है. हिंसा के बाद एटीएस की जांच में आतंकी कनेक्शन का संकेत मिला है. पीएफआई के 2 सदस्य अचानक से लापता भी हो गए हैं. पुलिस आयुक्त विजय सिंह मीना ने कहा कि सभी दोषियों को जेल भेजा जाएगा. जबकि बेगुनाहों पर किसी तरह की कार्रवाई नहीं होगी. पुलिस को परेड व आस-पास की गलियों में कई सीसीटीवी टूटे मिले हैं, इसकी भी जांच काराई जा रही है.
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