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पति की हत्या में पत्नी व उसके प्रेमी को आजीवन कारावास

शुक्रवार को आरोप सिद्ध होने पर विशेष न्यायाधीश एससी-एसटी कोर्ट के जज आनंद प्रकाश द्वितीय ने आरोपी पत्नी व उसके प्रेमी रामबरन को सश्रम आजीवन कारावास की सजा सुनाई है. साथ ही 50-50 हजार रुपये का अर्थदंड भी लगाया है. जुर्माना अदा न करने पर दो-दो वर्ष का अतिरिक्त कारावास की सजा सुनाई है.

पत्नी व उसके प्रेमी को आजीवन कारावास
पत्नी व उसके प्रेमी को आजीवन कारावास
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Published : Apr 15, 2022, 9:24 PM IST

कन्नौज : प्रेमी के साथ मिलकर पति की हत्या करने के मामले में आरोप सिद्ध होने पर न्यायालय विशेष न्यायाधीश एससी-एसटी कोर्ट ने पत्नी व उसके प्रेमी को सजा सुनाई है. जज आनंद प्रकाश द्वितीय ने आरोपियों को सश्रम आजीवन कारावास की सजा सुनाई है. 50 हजार रुपये जुर्माना भी लगाया है. जुर्माना अदा न करने पर दो-वर्ष के अतिरिक्त कारावास की सजा भी सुनाई है. पति की मौत के बाद आरोपी पत्नी ने पुलिस को गुमराह करने के लिए अधिक शराब पीने से मौत होने की रिपोर्ट दर्ज कराई थी.

क्या है पूरा मामला : जिला शासकीय अधिवक्ता सुधीर कुमार पांडेय ने बताया कि छिबरामऊ कोतवाली क्षेत्र के नई बस्ती गंगेश्वरनाथ मोहल्ला निवासी संजीव कुमार की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई थी. इसके बाद उसकी पत्नी सरिता ने 23 सितंबर 2013 को तहरीर दी थी कि उसके पति की ज्यादा शराब पीने से मौत हो गई है. वह पति व बच्चों के साथ करीब तीन साल से कन्नौज में रह रही थी. पति ड्राइवरी करता था और शराब पीने का आदी था.

जब बेटे की मौत की जानकारी मां राजेश्वरी देवी को हुई तो उन्होंने बहू व उसके प्रेमी रामबरन पर हत्या का आरोप लगाते हुए रिपोर्ट दर्ज कराई. आरोप लगाया कि उसके बेटे संजीव की शादी सरिता के साथ साल 1997 में हुई थी. बहू सरिता ससुराल में नहीं रहना चाहती थी. शादी के बाद से वह करीब ढाई साल तक मायके में रही. बहू की विदाई के लिए बरेली न्यायालय में धारा-9 अधिनियम के तहत विदाई का मुकदमा किया था. मुकदमा के बावजूद बहू ससुराल नहीं आई और रामबरन के साथ दिल्ली चली गई.

उसके साथ वह दो तीन महीने वहीं रही. घटना के पहले रामबरन फिर घर आ गया और बेटे के साथ मारपीट की. आरोप लगाया कि बड़े नाम के व्यक्ति ने फोन कर घटना की जानकारी दी और कहा कि तुम्हारे बेटे को ससुराल वालों ने मार डाला है. मृतक की मां की शिकायत के आधार पर पुलिस ने अपनी जांच बदली. मामले की विवेचना कर तत्कालीन सीओ छिबरामऊ ने आरोप पत्र कोर्ट में दाखिल किया.

यह भी पढ़ें:मिर्जापुर में गुरु-शिष्य परंपरा हुई शर्मसार, छात्रा के साथ रेप कर हुआ फरार

शुक्रवार को आरोप सिद्ध होने पर न्यायालय विशेष न्यायाधीश एससी-एसटी कोर्ट के जज आनंद प्रकाश द्वितीय ने आरोपी पत्नी व उसके प्रेमी रामबरन को सश्रम आजीवन कारावास की सजा सुनाई है. साथ ही 50-50 हजार रुपये का अर्थदंड भी लगाया है. जुर्माना अदा न करने पर दो-दो वर्ष का अतिरिक्त कारावास भी इन्हें भुगतना पड़ेगा.
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कन्नौज : प्रेमी के साथ मिलकर पति की हत्या करने के मामले में आरोप सिद्ध होने पर न्यायालय विशेष न्यायाधीश एससी-एसटी कोर्ट ने पत्नी व उसके प्रेमी को सजा सुनाई है. जज आनंद प्रकाश द्वितीय ने आरोपियों को सश्रम आजीवन कारावास की सजा सुनाई है. 50 हजार रुपये जुर्माना भी लगाया है. जुर्माना अदा न करने पर दो-वर्ष के अतिरिक्त कारावास की सजा भी सुनाई है. पति की मौत के बाद आरोपी पत्नी ने पुलिस को गुमराह करने के लिए अधिक शराब पीने से मौत होने की रिपोर्ट दर्ज कराई थी.

क्या है पूरा मामला : जिला शासकीय अधिवक्ता सुधीर कुमार पांडेय ने बताया कि छिबरामऊ कोतवाली क्षेत्र के नई बस्ती गंगेश्वरनाथ मोहल्ला निवासी संजीव कुमार की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई थी. इसके बाद उसकी पत्नी सरिता ने 23 सितंबर 2013 को तहरीर दी थी कि उसके पति की ज्यादा शराब पीने से मौत हो गई है. वह पति व बच्चों के साथ करीब तीन साल से कन्नौज में रह रही थी. पति ड्राइवरी करता था और शराब पीने का आदी था.

जब बेटे की मौत की जानकारी मां राजेश्वरी देवी को हुई तो उन्होंने बहू व उसके प्रेमी रामबरन पर हत्या का आरोप लगाते हुए रिपोर्ट दर्ज कराई. आरोप लगाया कि उसके बेटे संजीव की शादी सरिता के साथ साल 1997 में हुई थी. बहू सरिता ससुराल में नहीं रहना चाहती थी. शादी के बाद से वह करीब ढाई साल तक मायके में रही. बहू की विदाई के लिए बरेली न्यायालय में धारा-9 अधिनियम के तहत विदाई का मुकदमा किया था. मुकदमा के बावजूद बहू ससुराल नहीं आई और रामबरन के साथ दिल्ली चली गई.

उसके साथ वह दो तीन महीने वहीं रही. घटना के पहले रामबरन फिर घर आ गया और बेटे के साथ मारपीट की. आरोप लगाया कि बड़े नाम के व्यक्ति ने फोन कर घटना की जानकारी दी और कहा कि तुम्हारे बेटे को ससुराल वालों ने मार डाला है. मृतक की मां की शिकायत के आधार पर पुलिस ने अपनी जांच बदली. मामले की विवेचना कर तत्कालीन सीओ छिबरामऊ ने आरोप पत्र कोर्ट में दाखिल किया.

यह भी पढ़ें:मिर्जापुर में गुरु-शिष्य परंपरा हुई शर्मसार, छात्रा के साथ रेप कर हुआ फरार

शुक्रवार को आरोप सिद्ध होने पर न्यायालय विशेष न्यायाधीश एससी-एसटी कोर्ट के जज आनंद प्रकाश द्वितीय ने आरोपी पत्नी व उसके प्रेमी रामबरन को सश्रम आजीवन कारावास की सजा सुनाई है. साथ ही 50-50 हजार रुपये का अर्थदंड भी लगाया है. जुर्माना अदा न करने पर दो-दो वर्ष का अतिरिक्त कारावास भी इन्हें भुगतना पड़ेगा.
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