हाथरस: उचित इलाज व सजगता बरतकर लोग तेजी से कोरोना को हरा रहे हैं. बीमारी की पुष्टि होने पर घबराएं बिलकुल नहीं, मन मजबूत रखें. डॉक्टर से सलाह लें. उचित इलाज कराएं. ऐसा कर कोरोना को आसानी से हराया जा सकता है. ये जानकारी मनोचिकित्सक रिंकी लकड़ा ने साझा की.
चिंता रहित वातावरण बनाना जरूरी
एसीएमओ डॉ. मधुर कुमार का कहना है कि हमें कोरोना से डरना नहीं है. शराब, तंबाकू या अन्य नशीले पदार्थों का उपयोग तनाव का कारण बन सकता है, इसलिए इनका सेवन न करें. क्लीनिकल मनोचिकित्सक रिंकी लकड़ा का कहना है कि मन में मजबूत विश्वास रखिए, हमें कोरोना को हर हाल में हराना है और भगाना है. यदि हम हर समय अपने मन में हार और नकारात्मक विचारों को जगह देंगे तो परिणाम भी वैसा ही होगा. इस समय हमें अपने आसपास एक चिंता रहित वातावरण बनाने की सबसे ज्यादा जरूरत है. मानसिक तौर पर खुश एवं स्वस्थ रहने की जरूरत है.
उन्होंने कहा कि तनाव के साथ मुकाबला करने के लिए दृढ़ इच्छा और सबका साथ जरूरी है. इससे डरने और घबराने की जरूरत नहीं है, क्योंकि जारी आंकड़े पॉजिटिव मरीजों की संख्या बताते हैं. हालांकि कोरोना से स्वस्थ होने वालों की संख्या भी बढ़ रही है. कोई व्यक्ति कोरोना की चपेट में है तो ऐसे लोगों से उचित दूरी बनाकर सहानुभूतिपूर्वक व्यवहार करना चाहिए. इतना ही नहीं, पीड़ित को यदि बाजार से कुछ सामान आदि की जरूरत तो वह भी लाकर दें. इससे पीड़ित आइसोलेशन में रहते हुए तनाव मुक्त रहेगा. कहा कि संक्रमित मरीज अपना मनोबल बनाकर रखें, शांतिपूर्वक ध्यान लगाएं. खुद को नई चीजों से जोड़ें. कुछ नया सीखने की कोशिश करें. अच्छा बोलें और अच्छा सोचें.
अपने प्रियजनों के साथ जुड़ने पर विचार करें
जिला स्वास्थ्य शिक्षा एवं सूचना अधिकारी सुचिका सहाय ने कहा कि संक्रमित मरीज आइसोलेशन में रहते हुए अपने प्रियजनों से बात कर हालचाल लेते रहें. फोन या वीडियो कॉल आपको और आपके प्रियजनों को कम अकेला और जुड़ा महसूस करने में मदद कर सकता है. अपने प्रियजनों के साथ जुड़ने पर विचार करें. जिले के बागला संयुक्त जिला चिकित्सालय में पोस्ट कोविड केयर सेंटर की स्थापना की गई है. यहां फिजियोथेरेपिस्ट व साइकियाट्रिस्ट कोरोना से ठीक हुए लोगों को सेवा प्रदान कर रहे हैं. सुचिका सहाय ने कहा कि संक्रमित मरीज ठीक होने के बाद फिजियोथेरेपिस्ट व साइकियाट्रिस्ट की सहायता ले सकते हैं.