लखनऊ: हाथरस जिले में युवती के साथ हुई दरिंदगी और उसकी मौत के विरोध में समाजवादी पार्टी की महिला कार्यकर्ताओं ने लखनऊ में जमकर प्रदर्शन किया. महिलाओं ने प्रदेश सरकार पर आरोप लगाया कि कानून व्यवस्था ध्वस्त हो चुकी है. भ्रष्टाचार, लूट, डकैती, हत्या समेत जघन्य अपराध की घटनाएं बढ़ रही हैं. वहीं पुलिस ने बल प्रयोग कर महिलाओं को कैंडिल मार्च नहीं निकलने दिया.
दरअसल, मंगलवार को समाजवादी पार्टी कार्यालय से महिला कार्यकर्ता युवती को श्रद्धांजलि देने के लिए कैंडल जुलूस निकालने जा रही थीं. इसी बीच कार्यकर्ताओं को पुलिस ने रोक लिया और उनको सड़क पर निकलने नहीं दिया. जिसके बाद उन्होंने जिला कार्यालय परिसर में ही मोमबत्ती जलाकर युवती को श्रद्धांजलि दी. सपा महिला प्रकोष्ठ की जिलाध्यक्ष प्रेमलता यादव, नगर अध्यक्ष किरण पांडेय के नेतृत्व में सैकड़ों महिला कार्यकर्ता जिला कार्यालय पर एकत्र हुईं. यहां से हजरतगंज गांधी प्रतिमा की तरफ जैसे ही कैंडल मार्च निकला, पुलिस ने कार्यकर्ताओं को रोक लिया. इस दौरान पुलिसकर्मियों की महिला नेताओं के साथ नोकझोंक भी हुई, लेकिन पुलिस ने उन्हें आगे बढ़ने नहीं दिया. कार्यकर्ताओं ने आरोप लगाया कि प्रदेश में बेटियां सुरक्षित नहीं है. बेटियों के सम्मान में बीजेपी सिर्फ मैदान में चुनावी नारा लगाती है. जमीनी हकीकत कुछ अलग ही है.
आपको बता दें कि पीड़ित युवती के साथ 14 सितंबर को उसके ही गांव के चार युवकों ने हैवानियत की थी. जिसके बाद पीड़िता पिछले दो सप्ताह तक अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी मेडिकल काॅलेज में भर्ती थी. सोमवार को उसे दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती कराया गया था. जहां उसकी इलाज के दौरान मौत हो गयी थी.