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हरदोई: मंडियों का निरीक्षण करने पहुंचे मुख्य सचिव ने दी चेतावनी - hardoi city mandi

हरदोई जनपद में सरकारी क्रय केंद्रों पर धान की खरीद में कर्मचारियों की तरफ से हो रही लापरवाही को लेकर शुक्रवार को अपर मुख्य सचिव कृषि डॉक्टर देवेश चतुर्वेदी ने मंडियों का औचक निरीक्षण किया. इस दौरान उन्होंने किसानों की समस्याओं को भी सुना. साथ ही मंडियों में सरकारी क्रय केंद्रों की दुकानें अंत में होने पर नाराजगी जताई.

सरकारी क्रय केंद्रों का निरीक्षण करते अपर मुख्य सचिव कृषि .
सरकारी क्रय केंद्रों का निरीक्षण करते अपर मुख्य सचिव कृषि .
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Published : Oct 23, 2020, 1:29 PM IST

हरदोईः जिले में धान खरीद की रफ्तार बेहद धीमी चल रही है. वहीं किसानों की ओर से तमाम अव्यवस्थाओं की शिकायत रोज सुनने में आ रही है. इन सभी समस्याओं को लेकर शुक्रवार को अपर मुख्य सचिव कृषि डॉक्टर देवेश चतुर्वेदी ने हरदोई के संडीला, माधौगंज, गौसगंज और हरदोई शहर में सरकारी केंद्रों का जायजा लिया. इस दौरान किसानों ने अपनी समस्याओं को उनके समक्ष रखा.

जल्द तौल बहाल करने की मांग
वहीं किसानों ने अधिकारी को सरकारी क्रय केंद्रों पर धान की खरीद में हो रही लापरवाही के बारे में बताया. उन्होंने कहा कि सरकार की ओर से स्पष्ट निर्देश होने के बावजूद क्रय केंद्रों के कर्मचारी धान नहीं तौल रहे हैं. इसके चलते मंडी में ही उनका धान खराब हो जा रहा है. किसानों ने जल्द से जल्द अनाज की तौल बहाल और सुचारू रूप से कराने की मांग की. इस बाबत सचिव ने हरदोई की खरीद व्यवस्थाओं पर असंतुष्टि जताई और अव्यवस्थाओं को दूर किये जाने के निर्देश जारी किए.

हरदोई की मंडियों का लिया जायजा
अपर मुख्य सचिव डॉ. देवेश चतुर्वेदी ने शुक्रवार को हरदोई की सदर तहसील सहित अन्य तीन मंडियों में सरकारी खरीद का औचक निरीक्षण किया. उन्होंने केंद्रों पर जाकर अब तक हुई खरीद और रोजाना होने वाली खरीद की गति को आंका, जिस पर उन्होंने नाराजगी जताई और खरीद की धीमी रफ्तार को बढ़ाने के आदेश जारी किए.

सरकारी क्रय केंद्र अंत में होने पर जताई नाराजगी
मंडी भ्रमण के दौरान उन्होंने पाया कि निजी व्यापारियों की दुकानें मंडी के शुरू में जबकि सरकारी केंद्र मंडी के अंत में पाया. इस पर उन्होंने आपत्ति जताई. उन्होंने कहा कि सरकारी केंद्रों को मंडी के शुरुआत में होना चाहिए, जिससे किसान निजी व्यापारियों और बिचौलियों से बचे रहें.

छोटे किसानों के लिए अलग सेंटर की रणनीति
डॉ. देवेश चतुर्वेदी के कहा कि छोटे किसान जिन्हें धान बेचने में समस्याएं आ रही हैं और वे वेटिंग में चल रहे हैं. उनके लिए एक या दो अलग सेंटर बनवाने के निर्देश दिए गए हैं. ताकि उनके अनाज तौल समय से हो और 72 घण्टों के अंदर उनका भुगतान किया जा सके. इन सेंटरों पर सिर्फ छोटे किसानों का ही धान तौला जाएगा. इससे छोटे और बड़े किसानों में हो रहे अंतर को खत्म कर समय से खरीद की जा सके.

पंजाब मॉडल पर धान खरीद की मांग
अपर मुख्य सचिव के आते ही किसानों ने उनको घेर लिया और अपनी-अपनी समस्याओं का बखान करना शुरू कर दिया. किसी ने केंद्रों को राइस मिलर्स की जागीर बताया तो किसी ने रसूख वाले लोगों और घूस देने वाले लोगों की तौल पहले किये जाने जैसी समस्याएं सामने रखीं. वहीं कुछ किसानों ने पंजाब मॉडल पर खरीद कराए जाने की मांग की.

पंजाब मॉडल पर नहीं हो सकती खरीदः सचिव
किसानों ने कहा कि जिस प्रकार पंजाब व हरियाणा में खरीद कराई जा रही है वो एक सफल तरीका है. उत्तर प्रदेश में भी इसी प्रकार खरीद कराई जाए. इस पर डॉ. देवेश चतुर्वेदी ने कहा कि पंजाब मॉडल के अनुसार सीधे आढ़तियों से खरीद पूर्व में की गयी थी जिसमें काफी नुकसान हुआ था और एमएसपी के आधार पर खरीद भी नहीं हो सकी थी. उन्होंने कहा कि हो सकता है आज के समय में वहां के तरीके सफल साबित हो रहे हों, लेकिन यूपी में जिस प्रकार और जिस प्रक्रिया के आधार पर खरीद की जा रही है उसमें ही सुधार कर इस प्रक्रिया को बेहतर बनाया जाएगा.

हरदोई की मंडियों का निरीक्षण किया गया है. वहां पाई गईं अव्यवस्थाओं को लेकर केंद्र प्रभारियों को सही ढंग से खरीद करने के स्पष्ट निर्देश दिए गए. धांधली करते पकड़े जाने पर सीधे जिम्मेदारों को जेल भेजा जाएगा. हरदोई के केंद्रों की स्थिति सही नहीं है और इनमें बड़े सुधार की आवश्यकता है.
डॉ देवेश चतुर्वेदी, अपर मुख्य सचिव, कृषि, उत्तर प्रदेश

हरदोईः जिले में धान खरीद की रफ्तार बेहद धीमी चल रही है. वहीं किसानों की ओर से तमाम अव्यवस्थाओं की शिकायत रोज सुनने में आ रही है. इन सभी समस्याओं को लेकर शुक्रवार को अपर मुख्य सचिव कृषि डॉक्टर देवेश चतुर्वेदी ने हरदोई के संडीला, माधौगंज, गौसगंज और हरदोई शहर में सरकारी केंद्रों का जायजा लिया. इस दौरान किसानों ने अपनी समस्याओं को उनके समक्ष रखा.

जल्द तौल बहाल करने की मांग
वहीं किसानों ने अधिकारी को सरकारी क्रय केंद्रों पर धान की खरीद में हो रही लापरवाही के बारे में बताया. उन्होंने कहा कि सरकार की ओर से स्पष्ट निर्देश होने के बावजूद क्रय केंद्रों के कर्मचारी धान नहीं तौल रहे हैं. इसके चलते मंडी में ही उनका धान खराब हो जा रहा है. किसानों ने जल्द से जल्द अनाज की तौल बहाल और सुचारू रूप से कराने की मांग की. इस बाबत सचिव ने हरदोई की खरीद व्यवस्थाओं पर असंतुष्टि जताई और अव्यवस्थाओं को दूर किये जाने के निर्देश जारी किए.

हरदोई की मंडियों का लिया जायजा
अपर मुख्य सचिव डॉ. देवेश चतुर्वेदी ने शुक्रवार को हरदोई की सदर तहसील सहित अन्य तीन मंडियों में सरकारी खरीद का औचक निरीक्षण किया. उन्होंने केंद्रों पर जाकर अब तक हुई खरीद और रोजाना होने वाली खरीद की गति को आंका, जिस पर उन्होंने नाराजगी जताई और खरीद की धीमी रफ्तार को बढ़ाने के आदेश जारी किए.

सरकारी क्रय केंद्र अंत में होने पर जताई नाराजगी
मंडी भ्रमण के दौरान उन्होंने पाया कि निजी व्यापारियों की दुकानें मंडी के शुरू में जबकि सरकारी केंद्र मंडी के अंत में पाया. इस पर उन्होंने आपत्ति जताई. उन्होंने कहा कि सरकारी केंद्रों को मंडी के शुरुआत में होना चाहिए, जिससे किसान निजी व्यापारियों और बिचौलियों से बचे रहें.

छोटे किसानों के लिए अलग सेंटर की रणनीति
डॉ. देवेश चतुर्वेदी के कहा कि छोटे किसान जिन्हें धान बेचने में समस्याएं आ रही हैं और वे वेटिंग में चल रहे हैं. उनके लिए एक या दो अलग सेंटर बनवाने के निर्देश दिए गए हैं. ताकि उनके अनाज तौल समय से हो और 72 घण्टों के अंदर उनका भुगतान किया जा सके. इन सेंटरों पर सिर्फ छोटे किसानों का ही धान तौला जाएगा. इससे छोटे और बड़े किसानों में हो रहे अंतर को खत्म कर समय से खरीद की जा सके.

पंजाब मॉडल पर धान खरीद की मांग
अपर मुख्य सचिव के आते ही किसानों ने उनको घेर लिया और अपनी-अपनी समस्याओं का बखान करना शुरू कर दिया. किसी ने केंद्रों को राइस मिलर्स की जागीर बताया तो किसी ने रसूख वाले लोगों और घूस देने वाले लोगों की तौल पहले किये जाने जैसी समस्याएं सामने रखीं. वहीं कुछ किसानों ने पंजाब मॉडल पर खरीद कराए जाने की मांग की.

पंजाब मॉडल पर नहीं हो सकती खरीदः सचिव
किसानों ने कहा कि जिस प्रकार पंजाब व हरियाणा में खरीद कराई जा रही है वो एक सफल तरीका है. उत्तर प्रदेश में भी इसी प्रकार खरीद कराई जाए. इस पर डॉ. देवेश चतुर्वेदी ने कहा कि पंजाब मॉडल के अनुसार सीधे आढ़तियों से खरीद पूर्व में की गयी थी जिसमें काफी नुकसान हुआ था और एमएसपी के आधार पर खरीद भी नहीं हो सकी थी. उन्होंने कहा कि हो सकता है आज के समय में वहां के तरीके सफल साबित हो रहे हों, लेकिन यूपी में जिस प्रकार और जिस प्रक्रिया के आधार पर खरीद की जा रही है उसमें ही सुधार कर इस प्रक्रिया को बेहतर बनाया जाएगा.

हरदोई की मंडियों का निरीक्षण किया गया है. वहां पाई गईं अव्यवस्थाओं को लेकर केंद्र प्रभारियों को सही ढंग से खरीद करने के स्पष्ट निर्देश दिए गए. धांधली करते पकड़े जाने पर सीधे जिम्मेदारों को जेल भेजा जाएगा. हरदोई के केंद्रों की स्थिति सही नहीं है और इनमें बड़े सुधार की आवश्यकता है.
डॉ देवेश चतुर्वेदी, अपर मुख्य सचिव, कृषि, उत्तर प्रदेश

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