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गोरखपुर: 52 गांवों को बाढ़ से बचाने के लिए योगी सरकार ने मोड़ी दो नदियों की जलधारा - गोर्रा और राप्ती नदी

उत्तर प्रदेश के गोरखपुर में दो नदियां गोर्रा और राप्ती में बढ़ते जलस्तर से जिले के करीब 52 गांवों में बाढ़ आ जाती है, जिससे लोगों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है. उपजिलाधिकारी अर्पित गुप्ता और क्षेत्रीय बीजेपी विधायक संगीता यादव ने दौरा कर नदियों में जलस्तर बढ़ने से पहले सभी आवश्यक तैयारी करने लिए आदेश दिए हैं.

52 villages get effected
52 गांव होते हैं प्रभावित
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Published : Jun 9, 2020, 10:33 AM IST

गोरखपुर: चौरी चौरा तहसील क्षेत्र के ब्रह्मपुर ब्लॉक में दो नदियां गोर्रा और राप्ती बहती हैं. दोनों नदियों में जलस्तर की बढोतरी होने पर आने वाली बाढ़ की समस्या जड़ से सामाप्त करने के लिए यूपी की सरकार लगातार प्रयासरत है. इसी कड़ी में उपजिलाधिकारी अर्पित गुप्ता और क्षेत्रीय बीजेपी विधायक संगीता यादव ने सोमवार को अलग-अलग जगहों पर निरीक्षण किया. इस दौरान नदियों में जलस्तर बढ़ने से पहले सभी आवश्यक तैयारी करने के लिए आदेश दिए.

गौरतलब है कि 2017 में गोर्रा और राप्ती नदियों के जलस्तर में बढोतरी हुई थी. इसकी वजह से झंगहा एरिया के गौरीघाट पुल के पास तटबंध पानी के दवाब के कारण टूट गया था. इससे ब्रह्मपुर ब्लॉक के 52 गावों में आई भीषण बाढ़ से क्षेत्र में निवास करने वाली जनता को काफी मुसीबतों का सामना भी करना पड़ा था. अधिकतर किसान अपने पशुओं के साथ दूसरी सुरक्षित जगहों पर पलायन करने को मजबूर हो गए थे.

लोग घरों की छत पर रहने को मजबूर
बाढ़ की वजह से अधिकतर घरों में पानी भर गया था, जिसके कारण लोग घरों की छत पर रहने को मजबूर हो गए थे. सीएम योगी आदित्यनाथ ने खुद कोना बरही सहित कई गावों में बाढ़ में फंसे लोगों से मुलाकात कर लोगों की मदद के लिए हर संभव प्रयास किया था. इसके बाद से क्षेत्र में गोर्रा और राप्टी नदियों की जलधारा को क्रमशः भगने और बरही के पास मोड़ा जा रहा है ताकि 52 गांवों को बाढ़ के खतरे से उबारा जा सके.

नदियों का निरीक्षण करने पहुंचे विधायक और उपजिलाधिकारी.

उपजिलाधिकारी और बीजेपी विधायक ने लिया जायजा
उपजिलाधिकारी अर्पित गुप्ता ने सम्बंधित स्थानीय अधिकारियों के साथ कई जगहों पर तटबंधों की स्थिति का जायजा लिया. वर्षों से मरम्मत न होने के कारण तटबंध रेनकट और रैट होल से प्रभावित है. इसके अलावा उपजिलाधिकारी अर्पित गुप्ता ने मोटरबोट के माध्यम से कई किलोमीटर नदियों के रास्ते यात्रा कर कटान वाले जगहों के बारे में विस्तृत जानकारी जुटाकर बचे हुए कार्यों को समय से निपटाने का आदेश दिया.

साथ ही नदियों में जलस्तर बढ़ने पर कटान वाली जगहों का ड्रोन से निरीक्षण करने का आदेश दिया. इसके अलावा क्षेत्रीय बीजेपी विधायक संगीता यादव ने स्थानीय बीजेपी पदाधिकारियों के साथ भगने बंधे के पास कटान कर रही गोर्रा नदी की मोड़ी जा रही धलधारा के कार्य में देर होने पर नाराजगी जताई.

कमियों को जल्द पूरा करने की तैयारी
बीजेपी विधयाक संगीता यादव ने बताया कि उन्होंने बरही और झंगहा तटबंधों का निरीक्षण किया है. उन्होंने कहा कि जून माह की शुरुआत हो गई है और मानसून आने वाला है. बरही और झंगहा में बाढ़ से निपटने के लिए नदियों की धारा को मोड़ने का कार्य किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि कुछ कमियां मिली हैं, जिनको दूर करने के लिए सम्बंधित लोगों को कहा गया है.

लॉकडाउन की वजह से हुई देरी
उन्होंने कहा कि लॉकडाउन की वजह से काम में देरी हुई है. अगर लॉकडाउन न होता तो अप्रैल माह में ही कार्य पूरा हो गया होता. विधायक संगीता यादव ने आगे कहा कि जब वह विधायक नहीं थीं तब से उनकी यह मांग रही है कि झंगहा और बरही तटबंधों की मरम्मत की जाए. उन्होंने कहा कि माननीय मुख्यमंत्री जी ने आश्वासन दिया है कि तटबंधों के मरम्मत का कार्य निश्चित रूप से होगा.

गोरखपुर: चौरी चौरा तहसील क्षेत्र के ब्रह्मपुर ब्लॉक में दो नदियां गोर्रा और राप्ती बहती हैं. दोनों नदियों में जलस्तर की बढोतरी होने पर आने वाली बाढ़ की समस्या जड़ से सामाप्त करने के लिए यूपी की सरकार लगातार प्रयासरत है. इसी कड़ी में उपजिलाधिकारी अर्पित गुप्ता और क्षेत्रीय बीजेपी विधायक संगीता यादव ने सोमवार को अलग-अलग जगहों पर निरीक्षण किया. इस दौरान नदियों में जलस्तर बढ़ने से पहले सभी आवश्यक तैयारी करने के लिए आदेश दिए.

गौरतलब है कि 2017 में गोर्रा और राप्ती नदियों के जलस्तर में बढोतरी हुई थी. इसकी वजह से झंगहा एरिया के गौरीघाट पुल के पास तटबंध पानी के दवाब के कारण टूट गया था. इससे ब्रह्मपुर ब्लॉक के 52 गावों में आई भीषण बाढ़ से क्षेत्र में निवास करने वाली जनता को काफी मुसीबतों का सामना भी करना पड़ा था. अधिकतर किसान अपने पशुओं के साथ दूसरी सुरक्षित जगहों पर पलायन करने को मजबूर हो गए थे.

लोग घरों की छत पर रहने को मजबूर
बाढ़ की वजह से अधिकतर घरों में पानी भर गया था, जिसके कारण लोग घरों की छत पर रहने को मजबूर हो गए थे. सीएम योगी आदित्यनाथ ने खुद कोना बरही सहित कई गावों में बाढ़ में फंसे लोगों से मुलाकात कर लोगों की मदद के लिए हर संभव प्रयास किया था. इसके बाद से क्षेत्र में गोर्रा और राप्टी नदियों की जलधारा को क्रमशः भगने और बरही के पास मोड़ा जा रहा है ताकि 52 गांवों को बाढ़ के खतरे से उबारा जा सके.

नदियों का निरीक्षण करने पहुंचे विधायक और उपजिलाधिकारी.

उपजिलाधिकारी और बीजेपी विधायक ने लिया जायजा
उपजिलाधिकारी अर्पित गुप्ता ने सम्बंधित स्थानीय अधिकारियों के साथ कई जगहों पर तटबंधों की स्थिति का जायजा लिया. वर्षों से मरम्मत न होने के कारण तटबंध रेनकट और रैट होल से प्रभावित है. इसके अलावा उपजिलाधिकारी अर्पित गुप्ता ने मोटरबोट के माध्यम से कई किलोमीटर नदियों के रास्ते यात्रा कर कटान वाले जगहों के बारे में विस्तृत जानकारी जुटाकर बचे हुए कार्यों को समय से निपटाने का आदेश दिया.

साथ ही नदियों में जलस्तर बढ़ने पर कटान वाली जगहों का ड्रोन से निरीक्षण करने का आदेश दिया. इसके अलावा क्षेत्रीय बीजेपी विधायक संगीता यादव ने स्थानीय बीजेपी पदाधिकारियों के साथ भगने बंधे के पास कटान कर रही गोर्रा नदी की मोड़ी जा रही धलधारा के कार्य में देर होने पर नाराजगी जताई.

कमियों को जल्द पूरा करने की तैयारी
बीजेपी विधयाक संगीता यादव ने बताया कि उन्होंने बरही और झंगहा तटबंधों का निरीक्षण किया है. उन्होंने कहा कि जून माह की शुरुआत हो गई है और मानसून आने वाला है. बरही और झंगहा में बाढ़ से निपटने के लिए नदियों की धारा को मोड़ने का कार्य किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि कुछ कमियां मिली हैं, जिनको दूर करने के लिए सम्बंधित लोगों को कहा गया है.

लॉकडाउन की वजह से हुई देरी
उन्होंने कहा कि लॉकडाउन की वजह से काम में देरी हुई है. अगर लॉकडाउन न होता तो अप्रैल माह में ही कार्य पूरा हो गया होता. विधायक संगीता यादव ने आगे कहा कि जब वह विधायक नहीं थीं तब से उनकी यह मांग रही है कि झंगहा और बरही तटबंधों की मरम्मत की जाए. उन्होंने कहा कि माननीय मुख्यमंत्री जी ने आश्वासन दिया है कि तटबंधों के मरम्मत का कार्य निश्चित रूप से होगा.

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