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मनीष गुप्ता हत्याकांड: 5वां आरोपी कमलेश यादव गिरफ्तार, 1 अभी भी फरार

मनीष गुप्ता हत्याकांड मामले में पुलिस ने पांचवे आरोपी हेड कॉन्सटेबल कमलेश यादव को गिरफ्तार कर लिया है. इस मामले में अभी भी एक आरोपी विजय यादव फरार चल रहा है.

मनीष गुप्ता हत्याकांड मामले में कमलेश यादव गिरफ्तार
मनीष गुप्ता हत्याकांड मामले में कमलेश यादव गिरफ्तार
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Published : Oct 13, 2021, 6:12 PM IST

हैदराबाद: कानपुर के कारोबारी मनीष गुप्ता हत्याकांड मामले में एक और गिरफ्तारी हुई है. मनीष गुप्ता हत्याकांड का पांचवा वांछित आरोपी हेड कॉन्सटेबल कमलेश यादव को गोरखपुर पुलिस ने बुधवार को गिरफ्तार कर लिया है. एसआईटी कमलेश यादव से पूछताछ कर रही है. बता दें कि इस मामले में उप निरीक्षक विजय यादव अभी भी फरार चल रहा है.

बता दें कि मंगलवार को सरेंडर करने जा रहे हत्यारोपित दारोगा राहुल दुबे और सिपाही प्रशांत कुमार को पुलिस ने आजाद चौक इलाके से गिरफ्तार कर लिया था. इसके बाद दोनों को एसआईटी कानपुर के सुपुर्द कर दिया गया था. एसआईटी ने दोनों से करीब साढ़े 5 घंटे तक पूछताछ की. देर रात रामगढ़ताल थाने में दोनों का मेडिकल कराया गया. इसके बाद रिमांड मजिस्ट्रेट की कोर्ट में पेश किया गया. कोर्ट के आदेश पर दारोगा और सिपाही को 14 दिन की न्यायिक अभिरक्षा में जेल भेज दिया गया. इसके बाद रात 9:45 बजे दोनों को नेहरू बैरक में भेज दिया गया. इसी बैरक में घटना के मुख्य हत्यारोपी निलंबित इंस्पेक्टर जेएन सिंह और दरोगा अक्षय मिश्रा पहले से बंद हैं.

इसे भी पढ़ें- मनीष गुप्ता हत्याकांड मामलाः रामगढ़ताल के पूर्व थाना प्रभारी जेएन सिंह और फल मंडी चौकी के इंचार्ज अक्षय मिश्रा गिरफ्तार

इस मामले में एक आरोपी उपनिरीक्षक विजय यादव अभी भी पुलिस की पकड़ से दूर है. कानपुर पुलिस की ओर से सभी छह आरोपियों पर एक-एक लाख रुपये का इनाम घोषित है.

ये था मामला

पिछले दिनों कानपुर से गोरखपुर घूमने आए व्यापारी मनीष गुप्ता रामगढ़ थाना क्षेत्र के कृष्णा होटल में ठहरे थे. रात में चेकिंग के दौरान 6 पुलिसकर्मी होटल में पहुंचे थे. मनीष के दोस्तों का कहना था कि पुलिस उनके साथ अभद्रता करने लगी, मनीष ने इसका विरोध किया. जिसके बाद पुलिसकर्मी मनीष को मारने-पीटने लगे. इस वजह से उसे ज्यादा चोटें आईं. बुरी तरह से घायल मनीष को इलाज के लिए पुलिसकर्मी एक प्राइवेट हॉस्पिटल में ले गए. प्राइवेट हॉस्पिटल ने उसे मेडिकल कॉलेज के लिए रेफर कर दिया लेकिन, चोट गंभीर होने की वजह से उसकी मौत हो गई.

इसे भी पढ़ें- मनीष हत्याकांडः फरार आरोपी छह पुलिसकर्मियों पर बढ़ाया गया इनाम, 25 हजार से किया गया 1 लाख

इस संबंध में मनीष गुप्ता की पत्नी का कहना था कि पुलिस ने हमारे पति को पीटा था. मनीष के पत्नी ने कहा था कि जब तक मुझे न्याय नहीं मिलेगा तब तक मैं लाश को ले नहीं जाऊंगी. जिसके बाद उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मनीष की पत्नी से बात की. तब वह मनीष के शव को लेकर गई थीं. इस मामले में 6 पुलिसकर्मियों पर हत्या मुकदमा दर्ज किया गया था. घटना के बाद सभी पुलिसकर्मी गायब थे. जिसके बाद रविवार को गोरखपुर पुलिस ने दो आरोपी पुलिसकर्मियों को गिरफ्तार कर लिया था.

हैदराबाद: कानपुर के कारोबारी मनीष गुप्ता हत्याकांड मामले में एक और गिरफ्तारी हुई है. मनीष गुप्ता हत्याकांड का पांचवा वांछित आरोपी हेड कॉन्सटेबल कमलेश यादव को गोरखपुर पुलिस ने बुधवार को गिरफ्तार कर लिया है. एसआईटी कमलेश यादव से पूछताछ कर रही है. बता दें कि इस मामले में उप निरीक्षक विजय यादव अभी भी फरार चल रहा है.

बता दें कि मंगलवार को सरेंडर करने जा रहे हत्यारोपित दारोगा राहुल दुबे और सिपाही प्रशांत कुमार को पुलिस ने आजाद चौक इलाके से गिरफ्तार कर लिया था. इसके बाद दोनों को एसआईटी कानपुर के सुपुर्द कर दिया गया था. एसआईटी ने दोनों से करीब साढ़े 5 घंटे तक पूछताछ की. देर रात रामगढ़ताल थाने में दोनों का मेडिकल कराया गया. इसके बाद रिमांड मजिस्ट्रेट की कोर्ट में पेश किया गया. कोर्ट के आदेश पर दारोगा और सिपाही को 14 दिन की न्यायिक अभिरक्षा में जेल भेज दिया गया. इसके बाद रात 9:45 बजे दोनों को नेहरू बैरक में भेज दिया गया. इसी बैरक में घटना के मुख्य हत्यारोपी निलंबित इंस्पेक्टर जेएन सिंह और दरोगा अक्षय मिश्रा पहले से बंद हैं.

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इस मामले में एक आरोपी उपनिरीक्षक विजय यादव अभी भी पुलिस की पकड़ से दूर है. कानपुर पुलिस की ओर से सभी छह आरोपियों पर एक-एक लाख रुपये का इनाम घोषित है.

ये था मामला

पिछले दिनों कानपुर से गोरखपुर घूमने आए व्यापारी मनीष गुप्ता रामगढ़ थाना क्षेत्र के कृष्णा होटल में ठहरे थे. रात में चेकिंग के दौरान 6 पुलिसकर्मी होटल में पहुंचे थे. मनीष के दोस्तों का कहना था कि पुलिस उनके साथ अभद्रता करने लगी, मनीष ने इसका विरोध किया. जिसके बाद पुलिसकर्मी मनीष को मारने-पीटने लगे. इस वजह से उसे ज्यादा चोटें आईं. बुरी तरह से घायल मनीष को इलाज के लिए पुलिसकर्मी एक प्राइवेट हॉस्पिटल में ले गए. प्राइवेट हॉस्पिटल ने उसे मेडिकल कॉलेज के लिए रेफर कर दिया लेकिन, चोट गंभीर होने की वजह से उसकी मौत हो गई.

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इस संबंध में मनीष गुप्ता की पत्नी का कहना था कि पुलिस ने हमारे पति को पीटा था. मनीष के पत्नी ने कहा था कि जब तक मुझे न्याय नहीं मिलेगा तब तक मैं लाश को ले नहीं जाऊंगी. जिसके बाद उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मनीष की पत्नी से बात की. तब वह मनीष के शव को लेकर गई थीं. इस मामले में 6 पुलिसकर्मियों पर हत्या मुकदमा दर्ज किया गया था. घटना के बाद सभी पुलिसकर्मी गायब थे. जिसके बाद रविवार को गोरखपुर पुलिस ने दो आरोपी पुलिसकर्मियों को गिरफ्तार कर लिया था.

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