गोरखपुर : कोरोना वैश्विक महामारी के बीच जहां कुछ लोग लोगों का शोषण करने से भी बाज नहीं आ रहे, वहीं शहर के कुछ युवाओं ने उखड़ती सांसों को भी थामने का बीड़ा उठाया है. ये युवा होम आइसोलेशन में रह रहे लोगों तक ऑक्सीजन कंसंट्रेटर मशीन पहुंचा रहे हैं. उनका मानना है कि जहां इस आपदा में लोग तरह-तरह की समस्याओं से ग्रसित हैं, वहीं उनकी यह छोटी सी पहल लोगों तक काफी सहूलियत पहुंचाने का काम करेगी. इसका आम जनमानस भरपूर फायदा भी उठा रहा है. बकायदा डॉक्टर की पर्ची, आधार कार्ड और एक फॉर्म भरने के बाद उन्हें ऑक्सीजन कंसंट्रेटर मशीन उपलब्ध कराई जा रही है.
श्री दादी जी सेवा मंडल के युवा कार्यकर्ताओं ने कसी कमर
वैश्विक महामारी कोरोना वायरस की दूसरी लहर में जिला प्रशासन और शासन के माथे पर पसीना ला दिया. ऐसे में उखड़ती सांसों को थामने का केवल एक ही जरिया बचा. वह था ऑक्सीजन. वहीं आक्सीजन की किल्लत के चलते कई लोगों ने जान गंवा दी. ऐसे में शहर के श्री दादी जी सेवा मंडल के युवा कार्यकर्ताओं ने कोरोना मरीजों की मदद करने का बीड़ा उठाया. जहां हजारों रुपये ब्लैक देने के बाद भी ऑक्सीजन सिलेंडर मुहैया नहीं हो पा रहा है, वहां इन युवाओं ने बाकायदा ऑक्सीजन कंसंट्रेटर मशीन होम आइसोलेशन में रह रहे संक्रमित लोगों तक पहुंचाया. श्री दादी जी सेवा मंडल के युवा कार्यकर्ता अभी तक दर्जनों ऑक्सीजन कंसंट्रेटर संक्रमितों को उपलब्ध करा चुके हैं.
मशीन को पाने के लिए डाॅक्टर का पर्चा जरूरी
इस मशीन को पाने के लिए संक्रमित का इलाज कर रहे डॉक्टर का पर्चा, आधार कार्ड और सिक्योरिटी मनी जमा करनी होती है. संस्था तीन दिनों के लिए मशीन उपलब्ध कराती है. यदि डॉक्टर द्वारा संक्रमित को आगे भी ऑक्सीजन की जरूरत बतायी जाती है तो संस्था पुनः कागजी कार्यवाही कर कुछ और दिनों के लिए ऑक्सीजन कंसंट्रेटर मरीज को देती है. वहीं, जब मरीज द्वारा मशीन संस्था को वापस किया जाता है तो संस्था में जमा सिक्योरिटी मनी को शतप्रतिशत वापस कर दिया जाता है.
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संस्था के पास डेढ़ दर्जन मशीनें
श्री दादी जी सेवा मंडल के वरिष्ठ सदस्य अभिषेक पोद्दार बताते हैं कि इस वैश्विक महामारी में आम लोगों के लिए सबसे बड़ी समस्या ऑक्सीजन की रही है. संस्था ऑक्सीजन कंसंट्रेटर उपलब्ध कराने के साथ ही मरीजों और उनके तीमारदारों तक भोजन सहित आने जरूरी सामानों का भी वितरण कर रही है. संस्था का यही उद्देश्य है कि अधिक से अधिक लोगों की जान बचाकर जनसेवा की जाए. एक ऑक्सीजन कंसंट्रेटर मशीन की कीमत लगभग 50 हजार है. संस्था के पास डेढ़ दर्जन से अधिक ऑक्सीजन कंसंट्रेटर मशीनें उपलब्ध हैं. अभी तक एक दर्जन से अधिक मरीजों तक संस्था के सदस्यों ने इस मशीन को उपलब्ध कराया है. इससे उनकी जान बच सकी है. यह कार्य निरंतर जारी रहेगा.
संस्था दे रही संजीवनी
संस्था के पास ऑक्सीजन कंसंट्रेटर मशीन लेने आए मरीज के तीमारदार रामभवन ने बताया कि शहर में कई स्थानों पर ऑक्सीजन सिलेंडर खोजने के बाद भी नहीं मिला. ऐसे में किसी परिचित ने संस्था का नंबर मुहैया कराया. संस्था के नंबर पर बात हुई तो उन्होंने मशीन उपलब्ध कराने का आश्वासन दिया. हम मशीन लेने आए हुए हैं. कहा कि जहां ऑक्सीजन के नाम पर कालाबाजारी धड़ल्ले से चल रही है, वहीं ये संस्था हम लोगों के लिए संजीवनी उपलब्ध करा रही है. केवल कागजी कार्यवाही के साथ सिक्योरिटी मनी लेकर हमें मशीन उपलब्ध कराया है.