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फतेहपुर: हाईकोर्ट ने मांगी अतिक्रमण हटाने की रिपोर्ट तो प्रशासन ने जल्दबाजी में गिराए पक्के मकान - प्रशासन ने जल्दबाजी में गिराए पक्के मकान

उत्तर प्रदेश के फतेहपुर में साहिमपुर गांव के लोगों ने हाईकोर्ट में रिट दायर कर तालाब, गोबर गड्ढा और खलिहान जैसी जगहों से अतिक्रमण हटाए जाने की मांग की. वहीं हाईकोर्ट के आदेश के बाद भी कोई कार्रवाई नहीं की गई. हाईकोर्ट ने जब इस पर रिपोर्ट मांगी तो आनन-फानन में प्रशासन की ओर से निर्माण कार्य गिरा दिया गया.

प्रशासन ने गिराए पक्के मकान
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Published : Aug 28, 2019, 1:08 PM IST

फतेहपुर: सदर तहसील के सहिमापुर में ग्राम सभा की जमीन पर अवैध कब्जा हटाने के लिए कोर्ट ने आदेश दिया है. इसके तहत राजस्व टीम ने गांव में अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई की, लेकिन यह कार्रवाई मात्र दिखावे की रही. कोर्ट ने ग्राम सभा की जमीन से कब्जा हटाने का आदेश दिया था, लेकिन प्रशासन ने रोड के किनारे बने पक्के घर और बाउंड्री वाल को गिरा कर कोर्ट के आदेश की खानापूर्ति मात्र की.

प्रशासन ने गिराए पक्के मकान.

साहिमपुर के ग्रामीणों का कहना है कि हाईकोर्ट में रिट दायर कर ग्राम सभा की भूमि जैसे- तालाब, गोबर गद्दा, खलिहान पर से अवैध कब्जा हटाने की मांग की गई थी. हाईकोर्ट के आदेश के बाद भी जब प्रशासन ने कोई कार्रवाई नहीं की तो कोर्ट ने 29 अगस्त को कार्रवाई पर रिपोर्ट मांगी. ऐसे में प्रशासन ने जल्दबाजी में रोड के किनारे बनाए गए निर्माण को ध्वस्त कर दिया, जिसे लेकर ग्रामीणों में आक्रोश व्याप्त है. ग्रामीणों का कहना है कि हम पीढ़ियों से इस जमीन पर रह रहे हैं. अगर हमारे घर गिरा दिए जाएंगे तो हम कहां जाएंगे.

इसे भी पढ़ें- मरा समझकर डस्टबिन में फेंक दिया था नूपुर को, जानिए कैसे पहुंची KBC की हॉट सीट तक

वहीं पूरे मामले को लेकर जिलाधिकारी संजीव सिंह ने बताया कि हाईकोर्ट के आदेश पर कार्रवाई की जा रही है. अगर किसी व्यक्ति का घर अवैध रूप से बना है और उसके पास रहने को घर और जमीन नहीं है तो ऐसे लोगों को ग्रामसभा की जमीन पट्टे कर आवास की व्यवस्था की जाएगी.

फतेहपुर: सदर तहसील के सहिमापुर में ग्राम सभा की जमीन पर अवैध कब्जा हटाने के लिए कोर्ट ने आदेश दिया है. इसके तहत राजस्व टीम ने गांव में अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई की, लेकिन यह कार्रवाई मात्र दिखावे की रही. कोर्ट ने ग्राम सभा की जमीन से कब्जा हटाने का आदेश दिया था, लेकिन प्रशासन ने रोड के किनारे बने पक्के घर और बाउंड्री वाल को गिरा कर कोर्ट के आदेश की खानापूर्ति मात्र की.

प्रशासन ने गिराए पक्के मकान.

साहिमपुर के ग्रामीणों का कहना है कि हाईकोर्ट में रिट दायर कर ग्राम सभा की भूमि जैसे- तालाब, गोबर गद्दा, खलिहान पर से अवैध कब्जा हटाने की मांग की गई थी. हाईकोर्ट के आदेश के बाद भी जब प्रशासन ने कोई कार्रवाई नहीं की तो कोर्ट ने 29 अगस्त को कार्रवाई पर रिपोर्ट मांगी. ऐसे में प्रशासन ने जल्दबाजी में रोड के किनारे बनाए गए निर्माण को ध्वस्त कर दिया, जिसे लेकर ग्रामीणों में आक्रोश व्याप्त है. ग्रामीणों का कहना है कि हम पीढ़ियों से इस जमीन पर रह रहे हैं. अगर हमारे घर गिरा दिए जाएंगे तो हम कहां जाएंगे.

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वहीं पूरे मामले को लेकर जिलाधिकारी संजीव सिंह ने बताया कि हाईकोर्ट के आदेश पर कार्रवाई की जा रही है. अगर किसी व्यक्ति का घर अवैध रूप से बना है और उसके पास रहने को घर और जमीन नहीं है तो ऐसे लोगों को ग्रामसभा की जमीन पट्टे कर आवास की व्यवस्था की जाएगी.

Intro:फतेहपुर- सदर तहसील के सहिमापुर गांव में ग्राम सभा के जमीन पर अवैध कब्जा हटाने के लिए कोर्ट ने आदेश दिया है। जिसके तहत राजस्व टीम ने गांव में अतिक्रमण हटाने की कार्यवाही की। लेकिन यह कार्यवाही मात्र दिखावे की रही । कोर्ट ने ग्राम सभा की जमीन से कब्जा हटाने का आदेश दिया था लेकिन प्रशासन ने रोड के किनारे बने पक्के घर और बाउंड्री वाल को गिरा कर कोर्ट के आदेश का पालन कर दिया।
वहीं गांव के ओमपाल सिंह ने बताया कि वह जिस भूमि पर से कब्जा हटाने के लिए हाईकोर्ट में रीट दायर किया था उस सम्बन्ध में प्रशासन ने कोई कार्यवाही नही किया। टीम ने केवल हवाहवाई सर्वे कर रिपोर्ट बनाया।


Body:साहिमपुर गांव के ओमपाल सिंह ने हाईकोर्ट में रीट दायर कर ग्रामसभा के भूमि तालाब गोबर गद्दा खलिहान पर से अवैध कब्जा हटाने की मांग किए थे। हाईकोर्ट के आदेश के आदेश के बावजूद भी जब प्रशासन ने कोई कार्यवाही नही किया तो कोर्ट ने 29 अगस्त को कार्यवाही की रिपोर्ट मांगी। ऐसे में प्रशासन तत्काल सक्रिय होकर गांव में कब्जा हटाने की कार्यवाही किया। लेकिन जल्दबाजी में रोड के किनारे निर्माण को ध्वस्त कर दिया। जिसे लेकर ग्रामीणों में आक्रोश याप्त है। वहीं ग्रामीण अनुज ने बताया कि प्रशासन ने कोर्ट को रिपोर्ट देने के चक्कर मे जल्दबाजी में कार्यवाही किया। बगैर भूमि के नाप और पैमाइस के किसी के निजी जमीन को भी गांवसभा की जमीन बता दिए।
वहीं प्रशासन ने जिस जमीन को गांवसभा की घोषित कर खाली करने को आदेश दिया है वहां रहने वाले ग्रामीण चिंतित हैं। इनका कहना है कि हम पीढ़ियों से इस जमीन पर रह रहे हैं अगर हमारे घर गिरा दिए जाएंगे तो हम कहाँ जाएंगे।


Conclusion:जिलाधिकारी संजीव सिंह ने बताया कि हाईकोर्ट के आदेश पर कार्यवाही किया जा रहा है। अगर किसी व्यक्ति का घर अवैध रूप से बना है और उसके पास रहने का घर और जमीन नही है तो ऐसे लोगों को ग्रामसभा की जमीन पट्टे कर आवास की व्यवस्था किया जाएगा।


बाइट 1 अनुज सिंह ग्रामीण
2 ओमपाल सिंह ग्रामीण
3 संजीव सिंह जिलाधिकारी
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