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इटावा में राजनीतिक दलों ने एक स्वर में कहा, माफ हो प्राइवेट स्कूल की फीस

यूपी के इटावा में अब राजनीतिक दल भी फीस माफी को लेकर सामने आ रहे हैं. बुधवार को राजनीतिक दलों ने स्कूल प्रबंधक से फीस माफी की मांग की है. ईटीवी भारत ने विभिन्न राजनीति दलों से बातचीत की और जाना कि किस तरीके से लोगों को राहत पहुंचाई जा सकती है.

political party came against fee waiver
फीस माफी को लेकर मांग
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Published : Jun 24, 2020, 5:09 PM IST

Updated : Sep 4, 2020, 12:24 PM IST

इटावा: लॉकडाउन के बाद से ही लगातार सभी प्राइवेट स्कूलों में अभिभावकों से फीस देने के लिए दबाव बनाया जा रहा है. इसके लेकर डीएम ने स्कूल प्रबंधनों से पहले ही अपील की थी कि स्कूल किसी अभिवावक पर फीस देने का दबाव न बनाएं और स्कूल खुलने के बाद स्टॉलमेंट में फीस लें. वहीं कई स्कूल इस नियम को मानते नजर नहीं आ रहे हैं और इस बीच लगातार कई शिकायतें आ रही हैं. वहीं राजनीतिक दल स्कूल प्रबंधक से स्कूल की फीस माफ करने की अपील कर रहे हैं.

प्रदेश सरकार की तरफ से स्कूल फीस को लॉकडाउन के बाद स्टॉलमेंट में लेने की बात कहीं गई थी. इसके बाद जिला स्तर पर भी इसको लेकर सख्ती दिखाई गई, लेकिन कई स्कूल अलग-अलग तरीके से दबाव बनाकर लोगों से फीस मांग रहे हैं. इसके लेकर अब कई राजनीतिक दलों ने एक सुर में स्कूलों से फीस माफ करने की अपील की है. इसको लेकर ईटीवी भारत ने विभिन्न राजनीति दलों से बातचीत की और जाना कि किस तरीके से लोगों को राहत पहुंचाई जा सके.

जनपद में एक स्कूल ने एक अच्छी पहल की शुरुआत करते हुए अपने स्कूल के सभी बच्चों की फीस माफ कर दी. साथ ही उन्होंने अपील भी की कि अन्य स्कूल भी आगे आकर आमजन को राहत दें.

फीस माफ कर लोगों का सहयोग करें
भाजपा के जिला अध्यक्ष अजय धाकरे ने कहा कि इस मुसीबत के समय जब पूरा देश कोरोना जैसी महामारी से लड़ रहा है, उस समय स्कूल प्रबंधकों को फीस को लेकर अभिभावकों पर दबाव नहीं डालना चाहिए और स्कूलों की फीस माफ कर लोगों की मदद करनी चाहिए. वहीं उन्होंने कहा कि उन्हें पूरा भरोसा है कि स्कूल प्रबंधक फीस माफ कर लोगों को राहत पहुंचाएंगे.

'प्रबंधक दबाव बना रहे तो कर रहे गलत'
कांग्रेस पूर्व जिलाध्यक्ष उदयभान सिंह ने कहा कि 8 अप्रैल को ही जिलाधिकारी ने आदेश जारी कर दिया था कि कोई भी अगर फीस के लिए दबाव बनाता है तो यह गलत है. वह स्कूल खुलने के बाद इंस्टॉलमेंट में फीस ले सकते हैं. अगर स्कूल प्रबंधक अभी ऐसा कुछ कह रहे हैं यह गलत है और कानून के खिलाफ है. उन्होंने कहा कि मैं स्कूल प्रबंधक से यह ही अपील करता हूं कि फीस माफ कर लोगों को राहत पहुंचाएं.

स्कूल ने माफ की 460 बच्चों की फीस
उदी मोड़ स्थित शिव विद्या मंदिर के प्रबंधक बृजेंद्र सिंह राठौड़ ने अपने स्कूल के 460 बच्चों की फीस माफ कर दी. उन्होंने बताया कि डीएम की अपील से लगा कि अगर हो सकता तो क्यों न फीस माफ कर दी जाए और अभिभावक को थोड़ी राहत दी जाए. वहीं उन्होंने दूसरे स्कूलों से अपील की कि वह भी अपने स्कूल की फीस माफ करें.

इटावा: लॉकडाउन के बाद से ही लगातार सभी प्राइवेट स्कूलों में अभिभावकों से फीस देने के लिए दबाव बनाया जा रहा है. इसके लेकर डीएम ने स्कूल प्रबंधनों से पहले ही अपील की थी कि स्कूल किसी अभिवावक पर फीस देने का दबाव न बनाएं और स्कूल खुलने के बाद स्टॉलमेंट में फीस लें. वहीं कई स्कूल इस नियम को मानते नजर नहीं आ रहे हैं और इस बीच लगातार कई शिकायतें आ रही हैं. वहीं राजनीतिक दल स्कूल प्रबंधक से स्कूल की फीस माफ करने की अपील कर रहे हैं.

प्रदेश सरकार की तरफ से स्कूल फीस को लॉकडाउन के बाद स्टॉलमेंट में लेने की बात कहीं गई थी. इसके बाद जिला स्तर पर भी इसको लेकर सख्ती दिखाई गई, लेकिन कई स्कूल अलग-अलग तरीके से दबाव बनाकर लोगों से फीस मांग रहे हैं. इसके लेकर अब कई राजनीतिक दलों ने एक सुर में स्कूलों से फीस माफ करने की अपील की है. इसको लेकर ईटीवी भारत ने विभिन्न राजनीति दलों से बातचीत की और जाना कि किस तरीके से लोगों को राहत पहुंचाई जा सके.

जनपद में एक स्कूल ने एक अच्छी पहल की शुरुआत करते हुए अपने स्कूल के सभी बच्चों की फीस माफ कर दी. साथ ही उन्होंने अपील भी की कि अन्य स्कूल भी आगे आकर आमजन को राहत दें.

फीस माफ कर लोगों का सहयोग करें
भाजपा के जिला अध्यक्ष अजय धाकरे ने कहा कि इस मुसीबत के समय जब पूरा देश कोरोना जैसी महामारी से लड़ रहा है, उस समय स्कूल प्रबंधकों को फीस को लेकर अभिभावकों पर दबाव नहीं डालना चाहिए और स्कूलों की फीस माफ कर लोगों की मदद करनी चाहिए. वहीं उन्होंने कहा कि उन्हें पूरा भरोसा है कि स्कूल प्रबंधक फीस माफ कर लोगों को राहत पहुंचाएंगे.

'प्रबंधक दबाव बना रहे तो कर रहे गलत'
कांग्रेस पूर्व जिलाध्यक्ष उदयभान सिंह ने कहा कि 8 अप्रैल को ही जिलाधिकारी ने आदेश जारी कर दिया था कि कोई भी अगर फीस के लिए दबाव बनाता है तो यह गलत है. वह स्कूल खुलने के बाद इंस्टॉलमेंट में फीस ले सकते हैं. अगर स्कूल प्रबंधक अभी ऐसा कुछ कह रहे हैं यह गलत है और कानून के खिलाफ है. उन्होंने कहा कि मैं स्कूल प्रबंधक से यह ही अपील करता हूं कि फीस माफ कर लोगों को राहत पहुंचाएं.

स्कूल ने माफ की 460 बच्चों की फीस
उदी मोड़ स्थित शिव विद्या मंदिर के प्रबंधक बृजेंद्र सिंह राठौड़ ने अपने स्कूल के 460 बच्चों की फीस माफ कर दी. उन्होंने बताया कि डीएम की अपील से लगा कि अगर हो सकता तो क्यों न फीस माफ कर दी जाए और अभिभावक को थोड़ी राहत दी जाए. वहीं उन्होंने दूसरे स्कूलों से अपील की कि वह भी अपने स्कूल की फीस माफ करें.

Last Updated : Sep 4, 2020, 12:24 PM IST
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