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शहीद विजय मौर्य की प्रतिमा पर अर्पित किए श्रद्धासुमन

दो साल पहले जम्मू के पुलवामा में आतंकी हमले में शहीद देवरिया के लाल विजय मौर्य की दूसरी बरसी पर अधिकारियों ने उनकी प्रतिमा पर श्रद्धासुमन अर्पित किए. इस दौरान प्रभारी मंत्री ने शहीद के गांव में एक करोड़ 70 लाख रुपये की चार कार्य परियोजनाओं की स्वीकृति दी.

शहीद विजय मौर्य को श्रद्धासुमन अर्पित
शहीद विजय मौर्य को श्रद्धासुमन अर्पित
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Published : Feb 14, 2021, 8:56 PM IST

देवरिया: पुलवामा हमले में 14 फरवरी 2019 को शहीद हुए ग्राम छपिया जयदेव के लाल विजय मौर्य की शहादत दिवस पर रविवार को जनपद के प्रभारी एवं उद्यान राज्यमंत्री राम चौहान, जिलाधिकारी अमित किशोर और पुलिस अधीक्षक डॉ. श्रीपति मिश्र ने उनकी प्रतिमा पर श्रद्धासुमन अर्पित किए. इस दौरान प्रभारी मंत्री ने शहीद के गांव में एक करोड़ 70 लाख रुपये की चार कार्य परियोजनाओं की स्वीकृति दी.

'देश के रोम-रोम में बसता है राष्ट्र प्रेम'

प्रभारी मंत्री श्रीराम चौहान ने कहा कि पुलवामा की घटना एक कायराना और घृणित कृत्य थी. इससे बड़ा कोई अन्य जघन्य अपराध नहीं हो सकता. मत्री ने कहा कि यह कार्य जैश-ए-मोहम्मद आतंकी संगठन द्वारा पाकिस्तान के इशारे पर किया गया था. उन्होंने कहा कि इस देश के रोम-रोम में राष्ट्र प्रेम और राष्ट्र भक्ति बसती है. भारत ऐसे नेतृत्व के हाथ में है कि ऐसी किसी भी घटना का मुंहतोड़ जवाब देने में सक्षम है. प्रधानमंत्री और हमारे देश की सेना ने शहीदों की तेरहवीं पूर्ण होने के पूर्व ही बदला लिया, जिससे भारत की कमजोर छवि दूर हुई.

भारत की बढ़ती ताकत से चीन भी हिला

मंत्री ने कहा कि हमारे वीर सैनिकों ने जहां आतंकी ठिकानों को जहां ध्वस्त किया, वहीं सफलतापूर्वक वापस भी आए. किसी के शरीर पर एक खरोच तक नहीं आई. आज भारत की बढ़ती ताकत से चीन भी हिला है. चीन की सेनाएं सीमाओं से वापस जा रही हैं. मंत्री ने कहा कि भारत अब कमजोर राष्ट्र नहीं रहा. तीनों सेनाओं को सबल करने का व्यापक कार्य किया गया है. उन्होंने कहा कि यह धरती शहीद रामचंद्र विद्यार्थी और सोना सोनार की शहीद माताओं की है, जिन्होंने देश की आजादी के लिए अपने प्राणों की आहुति दी है. उसी परंपरा को आगे बढ़ाते हुए विजय मौर्य ने भी अपने प्राणों की आहुति दी है. इस वीर शहीद के शहादत दिवस पर श्रद्धासुमन अर्पित किए गए.

कार्य परियोजना की दी स्वीकृति

मंत्री ने शहीद के सम्मान एवं स्थानीय लोगों की डिमांड पर एक कार्य परियोजना की स्वीकृति दी. साथ ही शहीद विजय मौर्य के घर से 200 मीटर खड़ंजा और सीसी रोड का निर्माण, उनके घर से ही राम अवतार मौर्य के घर तक 400 मीटर सड़क निर्माण, शहीद के पार्क में सीसी रोड का निर्माण और हाई मास्ट लाइट लगाए जाने की परिजना का आंकलन तैयार कर प्रस्तुत किए जाने को कहा. उन्होंने कहा कि इसके अलावा अन्य जो भी कार्य होंगे वह भी कराए जाएंगे. स्कूल का नाम शहीद के नाम से कराया जाएगा. उन्होंने कहा कि शहीदों का बलिदान परिवार के लिए असहनीय और कष्टकारी होता है, लेकिन वह देश समाज के लिए प्रेरणादायक होता है. इससे राष्ट्रभाव भी विकसित होता है. हम सभी को ऐसे बलिदानों और शहीदों के त्याग, समर्पण से प्रेरणा लेनी चाहिए.

शहीद के परिजनों की समस्याएं दूर होंगी

जिलाधिकारी अमित किशोर ने कहा कि पुलवामा में शहीद विजय कुमार मौर्य की शहादत और सम्मान में यह समारोह आयोजित किया गया है. उन्होंने कहा कि उनके परिवार की जो भी समस्याएं हैं, उसके निराकरण के लिए हम सभी प्रयासरत हैं. स्कूल का नामकरण शहीद विजय मौर्य के नाम से किया जाएगा. शासन से जैसे ही बजट प्राप्त होगा, विद्यालय का नाम उनके नाम से कर दिया जाएगा. उन्होंने कहा कि शहीद का बलिदान हम लोगों के लिए प्रेरणा स्रोत है.

40 जवान और अधिकारी शहीद हुए थे

पुलिस अधीक्षक डॉ. श्रीपति मिश्र ने कहा कि 14 फरवरी 2019 को पुलवामा की घटना में 40 जवान और अधिकारी शहीद हुए थे. पूरा राष्ट्र स्तब्ध रह गया. प्रधानमंत्री ने उसी दिन घोषणा की कि एक-एक खून के कतरे का बदला लेंगे. तेरहवीं पूर्ण होने के पहले ही बदला लिया. यह धरती बहादुरों और स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों की है. स्वतंत्रता संग्राम का बिगुल 1857 में बगल के जनपद बलिया के मंगल पांडेय द्वारा बजाया गया. ग्राम पैना की 86 महिलाओं ने एक साथ इस संग्राम में अपना जौहर व्रत दिया. शहीद रामचंद्र विद्यार्थी और सोना सोनार की शहादत भी इसी जनपद से है. उन्होंने कहा कि इस माटी में समर्पण की भावना एक-एक व्यक्ति के अंदर कूट-कूट कर भरी है. हम सभी को वीर शहीद विजय मौर्य की शहादत से प्रेरणा लेनी चाहिए.

देश की रक्षा के लिए प्राणों की आहुति दी

जयनाथ कुशवाहा उर्फ गुड्डन ने शहीद विजय मौर्य के बलिदान को याद किया. उन्होंने कहा कि उनकी शहादत और त्याग इस क्षेत्र के लिए गौरव है. उन्होंने देश की रक्षा के लिए अपने प्राणों की आहुति दी. यह हम सब के लिए प्रेरणादायी है.

देवरिया: पुलवामा हमले में 14 फरवरी 2019 को शहीद हुए ग्राम छपिया जयदेव के लाल विजय मौर्य की शहादत दिवस पर रविवार को जनपद के प्रभारी एवं उद्यान राज्यमंत्री राम चौहान, जिलाधिकारी अमित किशोर और पुलिस अधीक्षक डॉ. श्रीपति मिश्र ने उनकी प्रतिमा पर श्रद्धासुमन अर्पित किए. इस दौरान प्रभारी मंत्री ने शहीद के गांव में एक करोड़ 70 लाख रुपये की चार कार्य परियोजनाओं की स्वीकृति दी.

'देश के रोम-रोम में बसता है राष्ट्र प्रेम'

प्रभारी मंत्री श्रीराम चौहान ने कहा कि पुलवामा की घटना एक कायराना और घृणित कृत्य थी. इससे बड़ा कोई अन्य जघन्य अपराध नहीं हो सकता. मत्री ने कहा कि यह कार्य जैश-ए-मोहम्मद आतंकी संगठन द्वारा पाकिस्तान के इशारे पर किया गया था. उन्होंने कहा कि इस देश के रोम-रोम में राष्ट्र प्रेम और राष्ट्र भक्ति बसती है. भारत ऐसे नेतृत्व के हाथ में है कि ऐसी किसी भी घटना का मुंहतोड़ जवाब देने में सक्षम है. प्रधानमंत्री और हमारे देश की सेना ने शहीदों की तेरहवीं पूर्ण होने के पूर्व ही बदला लिया, जिससे भारत की कमजोर छवि दूर हुई.

भारत की बढ़ती ताकत से चीन भी हिला

मंत्री ने कहा कि हमारे वीर सैनिकों ने जहां आतंकी ठिकानों को जहां ध्वस्त किया, वहीं सफलतापूर्वक वापस भी आए. किसी के शरीर पर एक खरोच तक नहीं आई. आज भारत की बढ़ती ताकत से चीन भी हिला है. चीन की सेनाएं सीमाओं से वापस जा रही हैं. मंत्री ने कहा कि भारत अब कमजोर राष्ट्र नहीं रहा. तीनों सेनाओं को सबल करने का व्यापक कार्य किया गया है. उन्होंने कहा कि यह धरती शहीद रामचंद्र विद्यार्थी और सोना सोनार की शहीद माताओं की है, जिन्होंने देश की आजादी के लिए अपने प्राणों की आहुति दी है. उसी परंपरा को आगे बढ़ाते हुए विजय मौर्य ने भी अपने प्राणों की आहुति दी है. इस वीर शहीद के शहादत दिवस पर श्रद्धासुमन अर्पित किए गए.

कार्य परियोजना की दी स्वीकृति

मंत्री ने शहीद के सम्मान एवं स्थानीय लोगों की डिमांड पर एक कार्य परियोजना की स्वीकृति दी. साथ ही शहीद विजय मौर्य के घर से 200 मीटर खड़ंजा और सीसी रोड का निर्माण, उनके घर से ही राम अवतार मौर्य के घर तक 400 मीटर सड़क निर्माण, शहीद के पार्क में सीसी रोड का निर्माण और हाई मास्ट लाइट लगाए जाने की परिजना का आंकलन तैयार कर प्रस्तुत किए जाने को कहा. उन्होंने कहा कि इसके अलावा अन्य जो भी कार्य होंगे वह भी कराए जाएंगे. स्कूल का नाम शहीद के नाम से कराया जाएगा. उन्होंने कहा कि शहीदों का बलिदान परिवार के लिए असहनीय और कष्टकारी होता है, लेकिन वह देश समाज के लिए प्रेरणादायक होता है. इससे राष्ट्रभाव भी विकसित होता है. हम सभी को ऐसे बलिदानों और शहीदों के त्याग, समर्पण से प्रेरणा लेनी चाहिए.

शहीद के परिजनों की समस्याएं दूर होंगी

जिलाधिकारी अमित किशोर ने कहा कि पुलवामा में शहीद विजय कुमार मौर्य की शहादत और सम्मान में यह समारोह आयोजित किया गया है. उन्होंने कहा कि उनके परिवार की जो भी समस्याएं हैं, उसके निराकरण के लिए हम सभी प्रयासरत हैं. स्कूल का नामकरण शहीद विजय मौर्य के नाम से किया जाएगा. शासन से जैसे ही बजट प्राप्त होगा, विद्यालय का नाम उनके नाम से कर दिया जाएगा. उन्होंने कहा कि शहीद का बलिदान हम लोगों के लिए प्रेरणा स्रोत है.

40 जवान और अधिकारी शहीद हुए थे

पुलिस अधीक्षक डॉ. श्रीपति मिश्र ने कहा कि 14 फरवरी 2019 को पुलवामा की घटना में 40 जवान और अधिकारी शहीद हुए थे. पूरा राष्ट्र स्तब्ध रह गया. प्रधानमंत्री ने उसी दिन घोषणा की कि एक-एक खून के कतरे का बदला लेंगे. तेरहवीं पूर्ण होने के पहले ही बदला लिया. यह धरती बहादुरों और स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों की है. स्वतंत्रता संग्राम का बिगुल 1857 में बगल के जनपद बलिया के मंगल पांडेय द्वारा बजाया गया. ग्राम पैना की 86 महिलाओं ने एक साथ इस संग्राम में अपना जौहर व्रत दिया. शहीद रामचंद्र विद्यार्थी और सोना सोनार की शहादत भी इसी जनपद से है. उन्होंने कहा कि इस माटी में समर्पण की भावना एक-एक व्यक्ति के अंदर कूट-कूट कर भरी है. हम सभी को वीर शहीद विजय मौर्य की शहादत से प्रेरणा लेनी चाहिए.

देश की रक्षा के लिए प्राणों की आहुति दी

जयनाथ कुशवाहा उर्फ गुड्डन ने शहीद विजय मौर्य के बलिदान को याद किया. उन्होंने कहा कि उनकी शहादत और त्याग इस क्षेत्र के लिए गौरव है. उन्होंने देश की रक्षा के लिए अपने प्राणों की आहुति दी. यह हम सब के लिए प्रेरणादायी है.

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