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बुलंदशहर: बेपरवाह और स्कूल से गुल शिक्षकों की हो रही निगरानी, यहां बना है कंट्रोल रूम - बेसिक शिक्षा विभाग

यूपी के बुलंदशहर में शिक्षा व्यवस्था में सुधार के लिए बेसिक शिक्षा विभाग के दफ्तर में कंट्रोल रूम की स्थापना की गई है. यहां फोन से अध्यापकों और छात्रों से बात कर विद्यालय से संबंधित सभी जानकारी ली जा रही है.

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बेसिक शिक्षा विभाग ने अपनाया अनोखा प्रयोग
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Published : Dec 11, 2019, 6:31 PM IST

Updated : Sep 17, 2020, 4:28 PM IST

बुलंदशहर: शिक्षा व्यवस्था में सुधार के लिए जिले के बेसिक शिक्षा विभाग के दफ्तर में कंट्रोल रूम की स्थापना की गई है. इसका मकसद जिले के सभी 2399 प्राथमिक, उच्च प्राथमिक और कस्तूरबा गांधी विद्यालयों की शिक्षा की गुणवत्ता और शिक्षकों की उपस्थिति की मॉनिटरिंग की जा सके हैं.

बेसिक शिक्षा विभाग ने अपनाया अनोखा प्रयोग

सभी स्कूलों का पूरा डेटा कंट्रोल रूम में है. मॉनिटरिंग में यह जानने की कोशिश की जा रही है कि विद्यालय में पूरा स्टाफ मौजूद है या नहीं. विद्यालय में कितने छात्र-छात्रा की उपस्थिति, उनकी शिक्षा का स्तर कैसा है. मिड-डे मील ठीक से मिल रहा है या नहीं. साथ ही छात्रों से भी कॉल करके संवाद स्थापित किया जा रहा है. जिससे बच्चों के माध्यम से यह पता लगाया जा सके कि विद्यालय में तमाम व्यवस्थाएं कैसी हैं.

अगर इस दौरान किसी भी प्रकार की कोई कमी पाई जाती है. तो उसे लेकर कार्रवाई की जा रही है. बेसिक शिक्षा विभाग के इस प्रयोग से कामचोर और अपने कर्तव्य के प्रति लापरवाह की मुसीबत बढ़ना लाजमी है.

यह भी पढ़ें: उन्नाव: ...जब अंधेरे में पढ़ेंगे मासूम तो कैसे रोशन होगा भविष्य

बेसिक शिक्षा विभाग के 2399 स्कूल और 16 कस्तूरबा गांधी विद्यालय हैं. अकेले खंड शिक्षा अधिकारी और बेसिक शिक्षा अधिकारी इसकी निगरानी नहीं कर सकते थे. इस वजह से कंट्रोल रूम स्थापित किया गया है. कंट्रोल रूम से पूरे दिन कॉलिंग की जाती है. जिसमें अध्यापकों, छात्रों और विद्यालय से संबंधित सभी जानकारी ली जाती हैं.

-अखंड प्रताप सिंह, बेसिक शिक्षा अधिकारी

बुलंदशहर: शिक्षा व्यवस्था में सुधार के लिए जिले के बेसिक शिक्षा विभाग के दफ्तर में कंट्रोल रूम की स्थापना की गई है. इसका मकसद जिले के सभी 2399 प्राथमिक, उच्च प्राथमिक और कस्तूरबा गांधी विद्यालयों की शिक्षा की गुणवत्ता और शिक्षकों की उपस्थिति की मॉनिटरिंग की जा सके हैं.

बेसिक शिक्षा विभाग ने अपनाया अनोखा प्रयोग

सभी स्कूलों का पूरा डेटा कंट्रोल रूम में है. मॉनिटरिंग में यह जानने की कोशिश की जा रही है कि विद्यालय में पूरा स्टाफ मौजूद है या नहीं. विद्यालय में कितने छात्र-छात्रा की उपस्थिति, उनकी शिक्षा का स्तर कैसा है. मिड-डे मील ठीक से मिल रहा है या नहीं. साथ ही छात्रों से भी कॉल करके संवाद स्थापित किया जा रहा है. जिससे बच्चों के माध्यम से यह पता लगाया जा सके कि विद्यालय में तमाम व्यवस्थाएं कैसी हैं.

अगर इस दौरान किसी भी प्रकार की कोई कमी पाई जाती है. तो उसे लेकर कार्रवाई की जा रही है. बेसिक शिक्षा विभाग के इस प्रयोग से कामचोर और अपने कर्तव्य के प्रति लापरवाह की मुसीबत बढ़ना लाजमी है.

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बेसिक शिक्षा विभाग के 2399 स्कूल और 16 कस्तूरबा गांधी विद्यालय हैं. अकेले खंड शिक्षा अधिकारी और बेसिक शिक्षा अधिकारी इसकी निगरानी नहीं कर सकते थे. इस वजह से कंट्रोल रूम स्थापित किया गया है. कंट्रोल रूम से पूरे दिन कॉलिंग की जाती है. जिसमें अध्यापकों, छात्रों और विद्यालय से संबंधित सभी जानकारी ली जाती हैं.

-अखंड प्रताप सिंह, बेसिक शिक्षा अधिकारी

Intro:बुलंदशहर में बेसिक शिक्षा विभाग के अंतर्गत 2399 प्राथमिक और उच्च प्राथमिक विद्यालय हैं तो वहीं कस्तूरबा गांधी विद्यालय भी अलग से है जिनकी निगरानी के लिए एक विशेष कंट्रोल रूम की स्थापना यहां की गई है मकसद यही है कि शिक्षा व्यवस्था की गुणवत्ता में सुधार हो और तमाम तरह से मॉनिटरिंग भी इनकी एक ही जगह से की जा सके इसी बारे में ईटीवी भारत ने इस कंट्रोल रूम का रियलिटी चेक किया पेश है बुलंदशहर से यह विशेष खबर


Body:प्राथमिक ,उच्च प्राथमिक और कस्तूरबा गांधी विद्यालयों की शिक्षा की गुणवत्ता और शिक्षकों की उपस्थिति को समझने ,के उद्देश्य से बुलंदशहर में पिछले दिनों एक कंट्रोल रूम की स्थापना बेसिक शिक्षा विभाग के दफ्तर में की गई ,जिससे शैक्षिक कार्य और शिक्षकों की उपस्थिति की मॉनिटरिंग भी की जाएगी ,तो वहीं कंट्रोल रूम में बैठकर फोन के द्वारा किसी भी समय कॉल करके यह भी जानने की कोशिश की जाती है कि विद्यालय में पूरा स्टाफ मौजूद है या नहीं ,तो वहीं साथ ही यह भी जानकारी हासिल की जाती है कि विद्यालय की उस दिन की छात्रों की कितनी उपस्थिति है, मिड डे मील ठीक से मिल रहा है या नहीं, और इसके अलावा छात्रों से भी कंट्रोल रूम से कॉल करके इन दिनों ये संवाद स्थापित किया जा रहा है कि विद्यालय में तमाम व्यवस्थाएं कैसी है, तो वहीं सभी सभी स्कूलों का पुरा डेटा भी कंट्रोल रूम में है,अपने तरह के अनोखे प्रयोग से यहां कामचोर और अपने कर्तव्य के प्रति जो लोग सजग नहीं थे ,उनके लिए मुसीबत बढ़ना भी लाजमी है। हालांकि इस बारे में बेसिक शिक्षा अधिकारी अखंड प्रताप सिंह का कहना है कि अभी उन्हें एक ही महीना बुलंदशहर में स्थानांतरित होकर आए हुआ है और उन्होंने यहां यह महसूस किया कि 2399 बेसिक शिक्षा विभाग के स्कूलों औरजिले के 16 कस्तूरबा गांधी विद्यालय हैं लेकिन अकेले खंड शिक्षा अधिकारी और बेसिक शिक्षा अधिकारी के द्वारा निगरानी करना असंभव है , जिसकी वजह से यह कंट्रोल रूम स्थापित किया गया है और कंट्रोल रूम में बैठकर पूरे दिन कॉलिंग की जाती है ,साथ ही यह भी जाना जाता है कि कितने स्टूडेंट्स उपस्थित हैं और आज मिड डे मील में क्या मिला, तो वहीं जांच करने के लिए सभी अध्यापकों से भी अलग-अलग बात की जाती है । one to one with....नीरा चौधरी, अनुदेशक ,कंट्रोल रूम। लवली ,अनुदेशक,कंट्रोल रूम। अखंड प्रताप सिंह,बेसिक शिक्षा अधिकारी,बुलन्दशहर, पीटीसी.... श्रीपाल तेवतिया,


Conclusion:श्रीपाल तेवतिया, बुलन्दशहर, 9213400888.
Last Updated : Sep 17, 2020, 4:28 PM IST
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