बुलंदशहर: प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि के लिए रोजाना सैकड़ों किसान दफ्तरों के चक्कर काटते देखे जा सकते हैं. अब इससे किसानों को निजात मिलेगी, क्योंकि कृषि विभाग ने अब एक ऐसा किसान सम्मान एप बना लिया है जो विभाग के सिरदर्द को तो कम करेगा ही बल्कि किसानों का डाटा इसमें फीड कर दिया जाएगा. इसके बाद किसानों को बेवजह परेशान नहीं होना पड़ेगा.
फिलहाल सिर्फ और सिर्फ विभाग अपने काम में ही इस एप को लेगा और आवश्यकता पड़ने पर अन्य सरकारी योजनाओं के लिए भी इस एप का इस्तेमाल किया जा सकता है. इतना ही नहीं, ये एप किसी को प्ले स्टोर पर भी नहीं मिल पायेगा.
प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि के लिए अन्नदाता अक्सर कृषि विभाग के जिम्मेदार अधिकारियों के पास चक्कर लगाते देखे जाते हैं. ऐसा इसलिए क्योंकि किसानों के जो दस्तावेज वहां जमा हैं उनमें कोई भी कम है या कोई जानकारी गलत या अधूरी है तो किसान को बार-बार उसे सही कराने के लिए अफसरों की चौखटों पर देखा जा सकता है.
सबसे पहले इस एप में एक लाख 85 हजार ऐसे किसानों का डाटा फीड किया जाएगा, जिन्हें योजना का लाभ नहीं मिल रहा है. इसके बाद जनपद के सभी किसानों का ब्यौरा इसमें संरक्षित रखा जाएगा. अल्फाबेट प्रणाली से किसानों का ब्यौरा इसमें होगा. एक क्लिक पर निधि का स्टेटस विभाग देख पाएगा और किसान के बारे में पूरी जानकारी भी उसके पास संरक्षित रहेगी.
इस बारे में जिला कृषि अधिकारी अश्विनी कुमार सिंह ने बताया कि जिलाधिकारी की पहल पर इस एप को डिजाइन कराया गया है. लेखपाल और कृषि पर्यवेक्षकों द्वारा डाटा एकत्र करते समय अगर कहीं मामूली त्रुटि हो जाती है तो फिल्टर के दौरान किसान का फॉर्म रिजेक्ट कर दिया जाता था अब ऐसा नहीं हो पाएगा. इस एप में तहसील और ब्लॉक की मदद से सभी जानकारी जुटाकर संरक्षित की जाएगी और इसमें डाटा सुरक्षित भी रहेगा.
कृषि अधिकारी एके सिंह का कहना है कि जब भी किसानों को किसान सम्मान निधि या अन्य किसी योजना से जोड़कर उसके पात्रों की खोज करनी होगी तो इस एप से आसानी से उनको देख लिया जाएगा और चिन्हित किया जाएगा. इसके बाद जनपद के सभी किसानों का ब्यौरा इस एप में संरक्षित रहेगा और किसानों का एक क्लिक पर किसान सम्मान निधि का स्टेटस और किसान के बारे में जानकारी ली जा सकेगी.