बस्ती: जिले में सरयू नदी का जलस्तर जितनी तेजी से घट रहा है, कटान भी उतनी ही तेजी से हो रही है. जिले के दुबौलिया ब्लॉक के माझा कला, दिलाशपुर, टकटकवा सहित कई अन्य गांव अभी भी जलमग्न हैं. वहीं कटान के कारण विक्रमजोत ब्लॉक के भरथापुर, कल्यानपुर, सहजौरा, संदलपुर, चांदपुर व पड़ाव गांव के अस्तित्व पर संकट आ गया है. जिला प्रशासन की ओर से विक्रमजोत में बाढ़ बचाव कार्य किया जा रहा है.
केंद्रीय जल आयोग अयोध्या के अनुसार सरयू नदी खतरे के निशान 92.73 मीटर से 32 सेमी ऊपर मीटर ऊपर बह रही है. वहीं मैरुंड गांव सुविका बाबू, टेढवा, विशुनदासपुर का पुरवा, अशोकपुर के पुरवों से बाढ़ का पानी तेजी से कम हो रहा है, जिससे बाढ़ प्रभावितों ने राहत की सांस ली है.
खलवा गांव के निकट बने स्पर का अगला हिस्सा पानी के कारण धंस गया है. इस इलाके के दर्जनों गांव में कटान तेज हो रही है. माझा कला गांव सरयू के पानी से घिरा हुआ है. ग्रामीणों का कहना है कि सरकार की ओर से गांव में कोई मदद नहीं पहुंच रही है. जलस्तर कम होने से पीड़ितों को राहत जरूर मिल रही है, लेकिन कटान में तेजी होने के कारण ग्रामीणों की परेशानियां बढ़ गई हैं.
स्थानीय लोगों का कहना है कि अगर कटान रोकने के लिए कोई प्रभावशाली कदम नहीं उठाया गया, तो कई गांव कटान के कई गांवों को भारी नुकसान उठाना पड़ेगा. वहीं बाढ़ विभाग के अधिकारियों ने बताया कि जलस्तर कम होने से कटान तेज हो रहा है, जिसकी लगातार निगरानी की जा रही है और किसी तटबंध को कोई खतरा नहीं है. अधिकारियों ने बताया कि लगातार कटान रोधी और राहत कार्य जारी है.