बस्ती : निकाय चुनाव को लेकर सोमवार को सपा, बसपा और कांग्रेस के उम्मीदवारों ने पर्चा दाखिल किया. इस बार कई नेताओं ने टिकट के लिए पार्टी ही बदल ली. बस्ती नगर पालिका और हर्रैया नगर पंचायत में भी ऐसा देखने को मिला. 20 साल से कांग्रेस के साथ रहे एक नेता ने सपा का दामन थाम लिया. वहीं 15 साल के पुराने सपाई हाथी पर सवार हो गए.
बस्ती नगर पालिका सीट पर 2017 के नगर पालिका के चुनाव में कांग्रेस के 19 साल पुराने नेता अंकुर वर्मा की पत्नी नेहा वर्मा महज 2029 वोट से बीजेपी की रूपम मिश्रा से हार गईं थीं. इस बार वह कांग्रेस का दामन छोड़कर वह समाजवादी पार्टी में शामिल हो गईं हैं. सपा के सिंबल पर चुनाव मैदान में ताल ठोंक रहीं हैं. वहीं समाजवादी पार्टी के चुनाव प्रभारी राम प्रसाद चौधरी का कहना है कि पिछले 2 कार्यकाल से बीजेपी का नगरपालिका पर कब्जा रहा है, मगर उन्होंने कोई काम नहीं किया. पूरे शहर को कूड़ा कर दिया.
नगर पंचायत हर्रैया में पिछले 15 साल से समाजवादी पार्टी के नेता राजेंद्र प्रसाद गुप्ता टिकट कटने पर हाथी पर सवार हो गए हैं. उन्होंने अपना पर्चा दाखिल करते हुए दावा किया कि पिछले 15 साल से नगर पंचायत का विकास किया है. व्यक्तिगत तौर पर जनता उन्हें पसंद भी करती है. जनता उनके काम पर वोट करेगी. वहीं चुनाव में उतरे प्रत्याशियों ने नामांकन के बाद जनता के बीच जाकर इलाके के विकास को लेकर वादे करने शुरू कर दिए हैं.
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