बरेली: मंडल कमिश्नर रणवीर प्रसाद महाभारत कालीन पांचाली का मायका और राजा द्रुपद के देश अहिच्छत्र को देखने पहुंचे थे. जहां उन्होंने इस ऐतिहासिक संरक्षण के बारे में जानकारी प्राप्त की. वहीं ईटीवी भारत से बातचीत करते हुए उन्होंने बताया कि इस संरक्षण को बचाने की पहल पहले भी की गई थी लेकिन अब इसको गम्भीरता से लिया गया लेकिन अब मैंने एसडीएम को खत लिखा है कि जो संरक्षण की भूमि है उसे अतिक्रमण से मुक्त किया जाए.
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कमिश्नर ने लिया अहिच्छत्र क्षेत्र का जायजा
बरेली मंडल के कमिश्नर रणवीर प्रसाद ने बताया कि ऐतिहासिक खंडहर, भीम गदा और टीलों का भी निरीक्षण किया. सभी को संरक्षित करने के लिए शासन को एक लेटर लिखा गया है.
पांचाल की राजधानी थी अहिच्छत्र
उन्होंने बताया कि इतिहास के पन्नों को पलटते हुए बताया कि अहिच्छत्र पांचाल की राजधानी थी. ऐसा इसलिए किया जा रहा है जिससे इसकी समृद्धि का इतिहास सबके सामने आ सके.
कई संस्कृति का रहा समावेश अहिच्छत्र
कमिश्नर रणवीर प्रसाद ने ईटीवी भारत को बताया कि अहिच्छत्र में कई संस्कृतियों का समावेश रहा है. यहां राजा द्रुपद का किला भी था और अज्ञातवास के समय पांडव आंवला के जंगलों में भी रहे थे. इसके पास में लिलौर झील है, जिसके किनारे पांडवों से यक्ष प्रश्न किये गए थे.