बाराबंकी: जनपद में मूली मांगने के विवाद में करीब 9 वर्ष पूर्व एक युवक की लाठी,डंडों और बांके से हत्या करने के प्रयास के एक मामले में बाराबंकी की एक अदालत ने 3 सगे भाइयों को आजीवन कारावास और प्रत्येक को 40-40 हजार रुपयों के अर्थदण्ड की सजा सुनाई है. ये फैसला विशेष न्यायाधीश ईसी ऐक्ट उमेश चन्द्र पाण्डेय द्वितीय ने सुनाया है.
आभियोजन अधिकारी रामजस सिंह ने बताया कि बड़डूपुर थाना क्षेत्र के मानिकपुर मजरे बसन्तपुर गांव के रहने वाले वादी बरातीलाल पुत्र जीत बहादुर ने 20 सितंबर 2013 को बड़डूपुर थाने में तहरीर दी थी. वादी के मुताबिक 20 सितंबर 2013 की शाम को में अपने घर मे खाना खा रहा था. मेरी बहू और पोती नंदिनी देवी घर पर थी. मेरा लड़का कमलेश उर्फ कल्लू घर आया और अपनी पत्नी से खाना मांगा तो पत्नी ने खाना दिया. फिर कमलेश ने अपनी पत्नी से मूली मांगी. पत्नी ने कहा मूली आकर ले जाओ. ये बात पड़ोस की दीपक की औरत ने सुनी और उसने अपने पति दीपक से कहा कि कमलेश हमसे मूली मांग रहे हैं. इस पर करीब साढ़े सात बजे गुस्साया दीपक बांका लेकर आ गया. कमलेश उर्फ कल्लू को मारने लगा. मैंने और कल्लू की पत्नी ने बचाओ बचाओ का शोर किया. उसी वक्त दीपक के भाई अमरनाथ ,रमेश और अमरनाथ का लड़का लाठी,डंडा और बांका लेकर आ गए. सभी जान से मारने की नीयत से कमलेश को मारने लगे. उसी बीच गांव के कई लोग आ गए. ये सभी हमलावर गाली गलौज और जान से मारने की धमकी देते हुए भाग गए.
बरातीलाल ने बताया कि मेरे लड़के कल्लू और मुझे गम्भीर चोटें आ गई. पुलिस ने इस मामले में अमरनाथ उर्फ अमर सिंह,दीपक कुमार,रमेश पुत्रगण जसकरन और अभयराज पुत्र अमरनाथ के खिलाफ धारा 307,324,504 और 506 आईपीसी के तहत मुकदमा दर्ज कर तफ्तीश शुरू की. तत्कालीन विवेचक ने वैज्ञानिक विधि से साक्ष्य संकलन करते हुए तीनों भाइयों अभियुक्त अमरनाथ,दीपक और रमेश के खिलाफ चार्जशीट फाइल की. जबकि अमरनाथ के पुत्र अभयराज के खिलाफ साक्ष्य न मिलने से उसका नाम निकाल दिया. मामले में अभियोजन पक्ष ने ठोस गवाह पेश किये. अभियोजन और बचाव पक्ष के अधिवक्ताओं की बहस सुनने के बाद विशेष न्यायाधीश ईसी ऐक्ट उमेश चन्द्र पाण्डेय-द्वितीय ने तीनों भाइयों को दोषी करार देते हुए आजीवन कारावास और 40-40 हजार रुपये जुर्माना की सजा सुनाई.
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