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बलरामपुर: पटाखा व्यवसायियों पर सख्त जिला प्रशासन, कर रहा छापेमार कार्रवाई

उत्तर प्रदेश के बलरामपुर में जिला प्रशासन सख्त मोड में नजर आ रहा है. गदुरहवा इलाके में हुए विस्फोट के बाद प्रशासन लगातार पटाखा व्यवसायियों के यहां छापा मार रही है.

strict action against cracker businessmen in balrampur
पटाखा व्यवसायियों पर सख्त बलरामपुर जिला प्रशासन.
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Published : Sep 12, 2020, 12:35 PM IST

बलरामपुर: जिले में कोतवाली नगर क्षेत्र के गदुरहवा मोहल्ले के एक घर में 07 सितम्बर को हुए बारूदी विस्फोट के बाद जिला प्रशासन सुपर एक्शन मोड में है. जिला प्रशासन के आला अधिकारियों ने लाइसेंस धारक पटाखा व्यापारियों पर शिकंजा कसना शुरू कर दिया है. बारूदी विस्फोट में एक किशोर की मौत हुई थी. जबकि दो महिलाएं बुरी तरह घायल हुई थी. मामले को लेकर एसपी ने बैठक कर जिले के कुल 21 पटाखा व्यापारियों को नियम के अनुसार ही व्यापार करने की चेतावनी दी है, जिसके बाद जिले के सभी 13 थाना क्षेत्रों में पटाखा व्यापारियों की दुकानों और घरों पर छापेमारी की कार्रवाई शुरू की गई.

पटाखा व्यवसायियों पर सख्त हुआ जिला प्रशासन.

जिले के तीनों तहसीलों के एसडीएम और सीओ के नेतृत्व में थानों की फोर्स पटाखा व्यापारियों के ठिकानों पर लगातार छापेमारी कर रही है. नियम के अनुसार पटाखा व्यापारी आबादी से दूर किसी स्थान पर निश्चित मात्रा में पटाखे का लाइसेंस लेकर कारोबार कर सकते हैं, लेकिन इससे ठीक उल्टा ये पटाखा व्यापारी दूसरे स्थान के नाम पर लाइसेंस लेकर अपने आवास पर ही बिना सुरक्षा मानकों के चोरी छिपे काम करते हैं. छापेमारी के दौरान यह भी जांच की जा रही है कि पटाखे का भंडारण कहां होता है. पटाखा व्यवसायी अपने पटाखों का भंडार आबादी से दूर करते हैं या नहीं.

जिले में करीब 100 से अधिक ऐसे व्यापारी भी हैं, जो बिना लाइसेंस के चोरी छिपे पटाखों का कारोबार करते हैं, जिनकी भी पड़ताल की जा रही है. सुरक्षा मानकों का प्रयोग न करने वाले व आबादी वाले क्षेत्रों में पटाखा भंडारित करने वाले व्यवसायियों के खिलाफ लगातार कार्रवाई की जा रही है. जिला प्रशासन उनके ऊपर जुर्माने से लेकर लाइसेंस के निरस्तीकरण तक की कार्रवाई कर रहा है.

ये भी पढ़ें: बलरामपुर: विस्फोट के बाद जागा जिला प्रशासन, पटाखा कारोबारियों के ठिकानों पर छापे

इससे पहले भी जिले का रहने वाला अबु यूसुफ नाम का आतंकी 21 अगस्त को दिल्ली में धमाके की योजना बनाते हुए गिरफ्तार हुआ था, जिसके बाद उतरौला के बढ़या भैंसाही स्थित घर की तलाशी के दौरान भारी मात्रा में विस्फोटक मिले थे, जो उसने स्थानीय पटाखा व्यापारियों से ही खरीदे थे. एटीएस और दिल्ली पुलिस की पूछताछ में उसने यह बात कबूल भी की थी.

बलरामपुर शहर में हुई घटना के बाद जिला प्रशासन के निर्णय पर पटाखा व्यवसायियों के यहां छापेमारी करके कार्रवाई की जा रही है. इसमें उनका स्टॉक और बिक्री रजिस्टर देखा जा रहा है. उनके यहां पर अग्निशमन की व्यवस्था देखी जा रही है. भंडारण की स्थिति को भी जांचा जा रहा है.

-डॉ. नागेंद्र नाथ यादव, उपजिलाधिकारी, सदर

जिले में कुल 21 रजिस्टर्ड पटाखा व्यवसायी हैं, जिनके यहां छापेमारी की कार्रवाई की जा रही है. इसके बाद यह तस्दीक की जाएगी कि कौन-कौन अवैध रूप से पटाखों और बारूद का भण्डारण करता है. गलत पाए जाने पर उनके लाइसेंस के निरस्तीकरण की प्रक्रिया भी एक साथ ही की जा रही है.

-देव रंजन वर्मा, पुलिस अधीक्षक

बलरामपुर: जिले में कोतवाली नगर क्षेत्र के गदुरहवा मोहल्ले के एक घर में 07 सितम्बर को हुए बारूदी विस्फोट के बाद जिला प्रशासन सुपर एक्शन मोड में है. जिला प्रशासन के आला अधिकारियों ने लाइसेंस धारक पटाखा व्यापारियों पर शिकंजा कसना शुरू कर दिया है. बारूदी विस्फोट में एक किशोर की मौत हुई थी. जबकि दो महिलाएं बुरी तरह घायल हुई थी. मामले को लेकर एसपी ने बैठक कर जिले के कुल 21 पटाखा व्यापारियों को नियम के अनुसार ही व्यापार करने की चेतावनी दी है, जिसके बाद जिले के सभी 13 थाना क्षेत्रों में पटाखा व्यापारियों की दुकानों और घरों पर छापेमारी की कार्रवाई शुरू की गई.

पटाखा व्यवसायियों पर सख्त हुआ जिला प्रशासन.

जिले के तीनों तहसीलों के एसडीएम और सीओ के नेतृत्व में थानों की फोर्स पटाखा व्यापारियों के ठिकानों पर लगातार छापेमारी कर रही है. नियम के अनुसार पटाखा व्यापारी आबादी से दूर किसी स्थान पर निश्चित मात्रा में पटाखे का लाइसेंस लेकर कारोबार कर सकते हैं, लेकिन इससे ठीक उल्टा ये पटाखा व्यापारी दूसरे स्थान के नाम पर लाइसेंस लेकर अपने आवास पर ही बिना सुरक्षा मानकों के चोरी छिपे काम करते हैं. छापेमारी के दौरान यह भी जांच की जा रही है कि पटाखे का भंडारण कहां होता है. पटाखा व्यवसायी अपने पटाखों का भंडार आबादी से दूर करते हैं या नहीं.

जिले में करीब 100 से अधिक ऐसे व्यापारी भी हैं, जो बिना लाइसेंस के चोरी छिपे पटाखों का कारोबार करते हैं, जिनकी भी पड़ताल की जा रही है. सुरक्षा मानकों का प्रयोग न करने वाले व आबादी वाले क्षेत्रों में पटाखा भंडारित करने वाले व्यवसायियों के खिलाफ लगातार कार्रवाई की जा रही है. जिला प्रशासन उनके ऊपर जुर्माने से लेकर लाइसेंस के निरस्तीकरण तक की कार्रवाई कर रहा है.

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इससे पहले भी जिले का रहने वाला अबु यूसुफ नाम का आतंकी 21 अगस्त को दिल्ली में धमाके की योजना बनाते हुए गिरफ्तार हुआ था, जिसके बाद उतरौला के बढ़या भैंसाही स्थित घर की तलाशी के दौरान भारी मात्रा में विस्फोटक मिले थे, जो उसने स्थानीय पटाखा व्यापारियों से ही खरीदे थे. एटीएस और दिल्ली पुलिस की पूछताछ में उसने यह बात कबूल भी की थी.

बलरामपुर शहर में हुई घटना के बाद जिला प्रशासन के निर्णय पर पटाखा व्यवसायियों के यहां छापेमारी करके कार्रवाई की जा रही है. इसमें उनका स्टॉक और बिक्री रजिस्टर देखा जा रहा है. उनके यहां पर अग्निशमन की व्यवस्था देखी जा रही है. भंडारण की स्थिति को भी जांचा जा रहा है.

-डॉ. नागेंद्र नाथ यादव, उपजिलाधिकारी, सदर

जिले में कुल 21 रजिस्टर्ड पटाखा व्यवसायी हैं, जिनके यहां छापेमारी की कार्रवाई की जा रही है. इसके बाद यह तस्दीक की जाएगी कि कौन-कौन अवैध रूप से पटाखों और बारूद का भण्डारण करता है. गलत पाए जाने पर उनके लाइसेंस के निरस्तीकरण की प्रक्रिया भी एक साथ ही की जा रही है.

-देव रंजन वर्मा, पुलिस अधीक्षक

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