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बलिया गोलीकांड के आरोपी का कोई आपराधिक इतिहास नहीं: श्रीकांत तिवारी

यूपी के बलिया में हुए गोलीकांड के मुख्य आरोपी धीरेंद्र प्रताप सिंह को आज सोमवार को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है. इस मामले में रिटायर्ड सर्विसमैन संगठन मुरली छपरा ब्लॉक के अध्यक्ष श्रीकांत तिवारी ने कहा कि धीरेंद्र प्रताप सिंह का कोई आपराधिक इतिहास नहीं है, मीडिया उन्हें अपराधी न बताए.

श्रीकांत तिवारी.
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Published : Oct 19, 2020, 1:32 PM IST

बलिया: जिले में हुए गोलीकांड के मुख्य आरोपी धीरेंद्र सिंह को बीते 18 अक्टूबर को एसटीएफ टीम ने लखनऊ से गिरफ्तार कर लिया था. वहीं आरोपी को आज सोमवार को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया गया है. आरोपी के गिरफ्तार होने के बाद रिटायर्ड सर्विसमैन संगठन मुरली छपरा ब्लॉक के अध्यक्ष श्रीकांत तिवारी ने दुर्जनपुर हत्याकांड में आरोपित पूर्व फौजी धीरेंद्र प्रताप सिंह के गिरफ्तारी के बाद मीडिया के समक्ष प्रेस नोट जारी किया. उन्होंने कहा कि धीरेंद्र प्रताप सिंह लगभग 20 साल देश की सेवा करने के बाद अपने पैतृक गांव दुर्जनपुर बलिया आए थे, लेकिन मुझे अफसोस है कि स्थानीय मीडिया उन्हें अपराधी बता रही है.

रिटायर्ड सर्विसमैन संगठन मुरली छपरा ब्लॉक के अध्यक्ष श्रीकांत तिवारी ने कहा कि हमारा संगठन मीडिया बंधुओं को बताना चाहता है कि धीरेंद्र प्रताप सिंह का कोई आपराधिक इतिहास नहीं रहा है. वह साधारण परिवार के नवयुवक थे. सेना से सेवानिवृत्त होने के बाद वह गांव के विकास के लिए पिछले 5 वर्षों से प्रयासरत थे. दुर्जनपुर गोलीकांड किन परिस्थितियों में हुआ यह तो जांच का विषय है, लेकिन जब तक जांच चले तब तक हमारे पूर्व फौजी भाई को अपराधी न बताया जाए.

निष्पक्ष जांच की मांग
अध्यक्ष श्रीकांत तिवारी ने कहा कि हमारा संगठन यह मांग करता है कि मामले में राज्य स्तरीय निष्पक्ष जांच की जाय, ताकि दूध का दूध और पानी का पानी हो सके. धीरेंद्र प्रताप सिंह के घर की महिलाओं और पड़ोसियों को जो चोटें आई हैं, उसके लिए जो भी व्यक्ति दोषी हो, उस पर भी प्राथमिकी दर्ज कर जांच की जाए.

उन्होंने कहा कि धीरेंद्र प्रताप सिंह ने अगर गोली चलाई है, तो किन परिस्थितियों में और यदि नहीं चलाई है, तो इन्हें बरी किया जाए. पूर्व फौजी का परिवार पूर्णता बिखर चुका है, इसलिए मुख्यमंत्री जी से निवेदन है कि इन सभी बिंदुओं पर ध्यान देते हुए जांच करवाएं, ताकि समाज में एक निष्पक्ष न्याय होने की बात जाए.

क्या है मामला
जिले के रेवती थाना अंतर्गत ग्राम सभा दुर्जनपुर में दिनांक बीते 15 अक्टूबर को ग्राम सभा दुर्जनपुर में कोटे की दुकान का चुनाव कराया जा रहा था, जिसमें धीरेंद्र सिंह द्वारा गांव के ही जय प्रकाश पाल की गोली मारकर हत्या कर दी गई. इसके बाद धीरेंद्र सिंह फरार चल रहे थे, जिन्हें बीते 18 अक्टूबर को एसटीएफ की टीम ने लखनऊ से गिरफ्तार किया. वहीं आरोपी को आज सोमवार को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया गया है.

बलिया: जिले में हुए गोलीकांड के मुख्य आरोपी धीरेंद्र सिंह को बीते 18 अक्टूबर को एसटीएफ टीम ने लखनऊ से गिरफ्तार कर लिया था. वहीं आरोपी को आज सोमवार को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया गया है. आरोपी के गिरफ्तार होने के बाद रिटायर्ड सर्विसमैन संगठन मुरली छपरा ब्लॉक के अध्यक्ष श्रीकांत तिवारी ने दुर्जनपुर हत्याकांड में आरोपित पूर्व फौजी धीरेंद्र प्रताप सिंह के गिरफ्तारी के बाद मीडिया के समक्ष प्रेस नोट जारी किया. उन्होंने कहा कि धीरेंद्र प्रताप सिंह लगभग 20 साल देश की सेवा करने के बाद अपने पैतृक गांव दुर्जनपुर बलिया आए थे, लेकिन मुझे अफसोस है कि स्थानीय मीडिया उन्हें अपराधी बता रही है.

रिटायर्ड सर्विसमैन संगठन मुरली छपरा ब्लॉक के अध्यक्ष श्रीकांत तिवारी ने कहा कि हमारा संगठन मीडिया बंधुओं को बताना चाहता है कि धीरेंद्र प्रताप सिंह का कोई आपराधिक इतिहास नहीं रहा है. वह साधारण परिवार के नवयुवक थे. सेना से सेवानिवृत्त होने के बाद वह गांव के विकास के लिए पिछले 5 वर्षों से प्रयासरत थे. दुर्जनपुर गोलीकांड किन परिस्थितियों में हुआ यह तो जांच का विषय है, लेकिन जब तक जांच चले तब तक हमारे पूर्व फौजी भाई को अपराधी न बताया जाए.

निष्पक्ष जांच की मांग
अध्यक्ष श्रीकांत तिवारी ने कहा कि हमारा संगठन यह मांग करता है कि मामले में राज्य स्तरीय निष्पक्ष जांच की जाय, ताकि दूध का दूध और पानी का पानी हो सके. धीरेंद्र प्रताप सिंह के घर की महिलाओं और पड़ोसियों को जो चोटें आई हैं, उसके लिए जो भी व्यक्ति दोषी हो, उस पर भी प्राथमिकी दर्ज कर जांच की जाए.

उन्होंने कहा कि धीरेंद्र प्रताप सिंह ने अगर गोली चलाई है, तो किन परिस्थितियों में और यदि नहीं चलाई है, तो इन्हें बरी किया जाए. पूर्व फौजी का परिवार पूर्णता बिखर चुका है, इसलिए मुख्यमंत्री जी से निवेदन है कि इन सभी बिंदुओं पर ध्यान देते हुए जांच करवाएं, ताकि समाज में एक निष्पक्ष न्याय होने की बात जाए.

क्या है मामला
जिले के रेवती थाना अंतर्गत ग्राम सभा दुर्जनपुर में दिनांक बीते 15 अक्टूबर को ग्राम सभा दुर्जनपुर में कोटे की दुकान का चुनाव कराया जा रहा था, जिसमें धीरेंद्र सिंह द्वारा गांव के ही जय प्रकाश पाल की गोली मारकर हत्या कर दी गई. इसके बाद धीरेंद्र सिंह फरार चल रहे थे, जिन्हें बीते 18 अक्टूबर को एसटीएफ की टीम ने लखनऊ से गिरफ्तार किया. वहीं आरोपी को आज सोमवार को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया गया है.

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