बागपत: मुन्ना बजरंगी हत्याकांड का केस गाजियाबाद सीबीआई को ट्रांसफर कर दिया गया है. माफिया डॉन मुन्ना बजरंगी का केस बागपत के जिला एवं सत्र न्यायालय में विचाराधीन था. बता दें, इलाहाबाद हाईकोर्ट के आदेश पर सीबीआई को यह केस ट्रांसफर हुआ था. 9 जुलाई 2018 को बागपत जिला कारागार में मुन्ना बजरंगी की हत्या की गई थी. मुन्ना बजरंगी की हत्या का आरोप कुख्यात सुनील राठी पर लगा था. सुनील राठी वर्तमान में दिल्ली की तिहाड़ जेल में बंद है.
आपको बता दें कि 9 जुलाई 2018 को झांसी जेल से मुन्ना बजरंगी को बागपत लाया गया था. मुन्ना बजरंगी पर बड़ौत विधानसभा क्षेत्र से बीएसपी के पूर्व विधायक लोकेश दीक्षित को फोन पर धमकाने और रुपए मांगने का आरोप था. जिस संबंध में शहर कोतवाली में मुन्ना बजरंगी के विरुद्ध मुकदमा दर्ज कराया गया था. मुन्ना बजरंगी की कोर्ट में पेशी होनी थी, लेकिन 9 जुलाई की सुबह जिला जेल में मुन्ना बजरंगी की गोली मारकर हत्या कर दी गयी और हत्या की वारदात के बाद मुन्ना बजरंगी की फोटो जेल से ही सोशल मीडिया पर वायरल हो गए थे.
मुन्ना बजरंगी की हत्या का आरोप बागपत जनपद के कुख्यात बदमाश सुनील राठी पर लगा था और जेल में तलाशी के दौरान गटर से पुलिस ने पिस्टल को भी बरामद कर लिया था. इस घटना से जेलर समेत पुलिस कर्मियों पर भी गाज गिरी थी. इस घटना के बाद मुन्ना बजरंगी की पत्नी सीमा सिंह ने हाई कोर्ट की शरण ली और केस सीबीआई को ट्रांसफर करने की अपील भी की. जिसके चलते बागपत कोर्ट से मुन्ना बजरंगी हत्या कांड पत्रावली अब सीबीआई गाजियाबाद को ट्रांसफर की गई है.