अयोध्याः भगवान श्रीराम की अचल मूर्ति के लिए पत्थरों का तलाश अभी भी चल ही रही है. रामलला के भव्य मंदिर में उनके 5 फुट के बाल्यवस्था की मूर्ति लगाई जानी है. बीते दिनों मां जानकी की जन्म स्थली नेपाल से दो विशालकाय देव शिला राम नगरी लाई गई थी. इसके बाद कर्नाटक के मैसूर से दो शिलाएं अयोध्या लाई गई और अब राजस्थान से 3 शिलाएं अयोध्या पहुंची हैं. इनका सैंपल मूर्तिकला के विशेषज्ञों ने लिया है. भगवान की मूर्ति के निर्माण के पत्थरों पर रिसर्च किया जा रहा है. रामलला के बाल्यकाल की मूर्ति के लिए सबसे उच्च गुणवत्ता वाले पत्थर की तलाश है. जिससे की मूर्ति की खूबसूरती और मजबूती मंदिर की आयु के अनुरूप बनी रहे.
दक्षिण भारत से भी आ रही है शिलाः ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने बताया कि दक्षिण भारत से भी एक शिला भगवान रामलला के अचल मूर्ति के लिए मंगाई जा रही है. इनमें सबसे उच्च गुणवत्ता वाली शिलाखंड को भगवान राम के अचल मूर्ति के लिए मूर्तिकला विशेषज्ञ चयनित करेंगे. सोमवार को राजस्थान से लायी गई शिला खंड से मूर्तिकला के विशेषज्ञों ने सैंपल लिया है. अब तक आयी सभी जगहों की शिलाओं पर रिसर्च किया जा रहा है.
श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने बताया कि की बैठक में लोगों को जानकारी दी गई कि बीते दिनों नेपाल के बाद कर्नाटक से दो विशालकाय पत्थर आए थे और आज राजस्थान में भी तीन पत्थर आए हैं. उन्होंने कहा कि आने वाले 2 दिनों में एक विशालकाय शिलाखंड राजस्थान से और आ जाएगा. इसके अलावा दक्षिण भारत से भी एक शिला भगवान रामलला के अचल मूर्ति के लिए आएगा. इन सब में उच्च गुणवत्ता वाले पत्थर से भगवान राम लला के अचल मूर्ति का निर्माण किया जाएगा.
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