अयोध्या: भाजपा के प्रदेश उपाध्यक्ष और विधान परिषद सदस्य विजय बहादुर पाठक ने भगवान राम को काल्पनिक बताने पर सपा को आड़े हाथों लिया है. उन्होंने कहा कि अयोध्या में भगवान राम के भव्य मंदिर निर्माण का मार्ग प्रशस्त होने के बाद ऐसे बयान से सपा का चरित्र स्पष्ट हो जाता है. भाजपा का राम जन्मभूमि पर मंदिर निर्माण का भी राजनीतिक रूप से मुद्दा नहीं रहा. इसके बावजूद लगातार इस पर राजनीति की जाती रही है. जब राम मंदिर निर्माण का मार्ग प्रशस्त हुआ है तो भगवान राम पर इस तरह बयान देना सपा और उनके नेता की दिवालियापन की स्थिति को प्रकट करता है.
राम नगरी पहुंचे बीजेपी प्रदेश उपाध्यक्ष और विधान परिषद सदस्य विजय बहादुर पाठक ने रामलला और हनुमानगढ़ी मंदिर में दर्शन पूजन किया. पत्रकारों से बातचीत के दौरान बीजेपी प्रदेश उपाध्यक्ष ने समाजवादी पार्टी और कांग्रेस के चरित्र पर प्रश्नचिह्न खड़ा किया. भगवान राम को काल्पनिक बताने पर उन्होंने कहा कि भाजपा का राम जन्मभूमि पर मंदिर निर्माण कभी राजनीतिक मुद्दा नहीं रहा. रामलला के जन्म स्थान पर मंदिर निर्माण हमारी आस्था का विषय है. भव्य राम मंदिर निर्माण का मार्ग प्रशस्त होने पर भगवान राम को काल्पनिक बताना समाजवादी पार्टी और उनके नेताओं के दिवालियापन को प्रदर्शित करता है.
बीजेपी प्रदेश उपाध्यक्ष ने विपक्ष के ब्राह्मणवाद के आरोप पर भी प्रतिक्रिया दी. उन्होंने कहा कि मजहब में बैठकर राजनीति करने से किसी का भला होने वाला नहीं है. बीजेपी प्रदेश उपाध्यक्ष ने कांग्रेस पर भी निशाना साधा. उन्होंने कहा कि कांग्रेस दोहरे चरित्र पर जी रही है. आंदोलनों के बहाने वह विभागों से पैसा वसूलने का काम करती है. जम्मू कश्मीर से 35A और 370 हटाने पर कांग्रेस में स्थानीय लोगों के साथ मिलकर एक्ट की वापसी की योजना बनाई थी. कांग्रेस नैतिकता का पालन नहीं कर रही है. उत्तर प्रदेश में जाति और मजहब के नाम पर लोगों को बांटने का काम किया जा रहा है.
उन्होंने उत्तर प्रदेश में अपराध नियंत्रण को लेकर बीजेपी पर लग रहे आरोपों का विजय बहादुर पाठक ने जवाब दिया. उन्होंने कहा कि क्राइम की हर सूचना पर प्रशासन और शासन त्वरित कार्रवाई सुनिश्चित करा रहा है. अपराध और अपराध पर होने वाली कार्रवाई दोनों का आकलन करने पर स्थिति स्पष्ट हो जाएगी. सरकार अपराध पर प्रोएक्टिव होकर काम कर रही है.
दोहरे चरित्र के सहारे जी रही कांग्रेस
योगी सरकार कांग्रेस पर प्रश्नचिह्न खड़ा करने वाली प्रियंका गांधी स्वयं कटघरे में हैं. वह धरना प्रदर्शन करने के बहाने वसूली करती हैं. आगरा में कांग्रेस के इस दोहरा चरित्र इसका प्रत्यक्ष प्रमाण मिला है. जहां बिजली कंपनी का विरोध कर रहे कांग्रेसी कार्यकर्ताओं ने विरोध को समाप्त करने के बदले पैसों की मांग की.