अलीगढ़ : अगर आपने अपना कीमती सामान और नगदी बैंक के लॉकर में बैंककर्मियों की सुरक्षा के भरोसे छोड़ रखा है. तो उस सामान को चेक करते रहिए. बैंक के लाकर में रखा सामान कोई चोर या अपराधी नहीं, बल्कि दीमक चट कर खत्म कर सकती है. बैंक द्वारा लाकर की देखरेख और रखरखाव में घोर लापरवाही बरती गई. इसके बावजूद बैेक प्रबंधन ने मामले से किनारा कर लिया है.
मामला अलीगढ़ की सेन्ट्रल बैंक की बारहद्वारी की मुख्य शाखा का है. मथुरा नगर निवासी रुक्मणि शर्मा ( 70 वर्ष) पत्नी स्व आरपी सिंह निवासी पीसी कंप्यूटर, अलीगढ़ ने बैंक में लाकर ले रखा था. रुक्मणि शर्मा के अनुसार जब वे शुक्रवार 12 मई को उक्त बैंक में अपने लॉकर को खोलने गईं. तो उनकी गाढ़ी जमा पूंजी से संकलित करीब डेढ़ लाख रुपयों के पांच सौ और अन्य प्रकार के नोट, अन्य कीमती सामान तथा जेवरात के डब्बे दीमक खत्म कर चुकी है.
रुक्मणि शर्मा का आरोप है कि बैंक की लापरवाही और ठीक से रख रखाव न करने की वजह से उनका नुकसान हुआ है. जिसकी सुरक्षा की ऐवज में बैंक उनसे रकम वसूलती है. अपने बेटे प्रभात शर्मा के साथ पीड़ित रुक्मणि शर्मा ने बैंक मैनेजर को उक्त आशय की शिकायत कर पूर्ण मुआवजे की मांग की है. इसके अलावा आरबीआई में उक्त आशय की शिकायत दर्ज कराने की बात कही है. वहीं बैंक की लापरवाही पर जब खाता धारक रुक्मणि शर्मा ने शिकायत की तो बैंक मैनेजर ने टरका दिया है. मानव उपकार संस्था के चेयरमैन पंकज धीरज ने इस प्रकरण में गहरा असंतोष जताया है. उन्होंने आरबीआई से इसका संज्ञान लेकर लापरवाह बैंक अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई करने और बैंक उपभोक्ता के नुकसान की भरपाई करने की मांग की है.
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