आगरा: बीते आठ नवम्बर को जिले के जीआईसी मैदान में हुए 101 जोड़ों के सर्व धर्म विवाह सम्मेलन में नाबालिगों की शादी कराए जाने का मामला अब तूल पकड़ता जा रहा है. बाल आयोग और महिला आयोग में की गई शिकायत के बाद अब जिलाधिकारी ने मामले की जांच के आदेश दिए हैं. वहीं इस प्रकरण के बाद प्रशासन ने साफ कर दिया है, कि भविष्य में कोई भी संस्था अगर ऐसा आयोजन कराएगी, तो उसे जोड़ों की जन्मतिथि सम्बंधित कागज पहले प्रशासन को जमा कराने होंगे.
जानिए क्या है पूरा मामला
जिले में आठ नवम्बर को देवोत्थान एकादशी के दिन विश्व चैरिटेबल संस्था द्वारा जीआईसी ग्राउंड में अलग-अलग धर्मों के 101 जोड़ों का सर्वधर्म सामूहिक विवाह करवाया था. आयोजन के मुख्य अतिथि के रूप में डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्या का नाम पूरे शहर को बताया गया था और इसकी आड़ में चंदा लेने का आरोप संस्था पर लगा था. शाम तक किसी व्यक्ति द्वारा चाइल्डलाइन के हेल्पलाइन नम्बर पर यहां नाबालिगों के विवाह की शिकायत की गई थी, जहां टीम की जांच में आठ जोड़े कम उम्र के पाए गए थे. जिसके बाद चाइल्ड एक्टिविस्ट नरेश पारस द्वारा बाल आयोग और महिला आयोग को शिकायत की गई थी. दोनों जगह से जिलाधिकारी आगरा को जांच कर गंभीर धाराओं में मुकदमा दर्ज करने के लिए पत्र भेजे गए थे.
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एडीएम सिटी प्रभाकांत अवस्थी ने बताया कि
जिलाधिकारी के आदेश पर जांच शुरू कर दी गई है और भविष्य में किसी भी संस्था द्वारा सामूहिक विवाह कराने पर जोड़ों की जन्मतिथि संबंधित दस्तावेज जमा करवाने को अनिवार्य कर दिया गया है.