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आगरा : 15 दिन से अगवा परचून व्यापारी और उसके बेटे को पुलिस ने किया बरामद

जिले में 15 दिनों पहले अपहृत परचून व्यापारी और उसके बेटे को पुलिस ने बरामद कर लिया है. अपहरणकर्ताओं ने इनके परिवार से 60 लाख रुपये फिरौती की मांग की थी. सोमवार को जगह बदलते समय दोनों पुलिस को देखकर कार से कूद गए और पुलिस के पास पहुंच गए.

पुलिस को देख कार से कूदकर भागे पिता-पुत्र
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Published : May 7, 2019, 5:16 AM IST

आगरा : जिले की पुलिस ने राजस्थान और एमपी पुलिस की मदद से अगवा पिता-पुत्र को सकुशल मुक्त करा लिया है. 15 दिन पहले आगरा से अगवा किए गए बाप-बेटे को कभी राजस्थान के धौलपुर तो कभी मध्य प्रदेश के मुरैना में छुपा कर रखा जा रहा था. साथ ही अपहरणकर्ताओं ने परिवार से 60 लाख की फिरौती की मांग की थी.

पुलिस को देख कार से कूदकर भागे पिता-पुत्र

क्या है पूरा मामला?

  • 20 अप्रैल रात 8 बजे परचून व्यापारी और उसके बेटे का अपहरण किया गया.
  • आंख पर पट्टी बांधकर दोनों को बीहड़ों में छिपाते रहे.
  • परिवार से पहले 60 लाख फिर 40 लाख रुपये फिरौती की मांग की गई.
  • रूपए न देने पर दोनों को जान से मार देने की धमकी दी गई.
  • बेटे की आंखों पर पट्टी बांधकर पिता की पिटाई करते थे.
  • पुलिस की दबिश बढ़ने पर खौफ में आए अपराधी.
  • सोमवार को जगह बदलते समय पुलिस को देख कार से भागे पिता-पुत्र.
  • राजस्थान और मध्य-प्रदेश की पुलिस के सहयोग से सफल हुआ ऑपरेशन.


व्यापारी और उसके बेटे ने जो विवरण दिया है, उसके आधार पर लोगों और जगहों को चिन्हित किया जा रहा है. हम अपहरणकर्ताओं की मदद करने वाले एक-एक शख्स को पकड़ने का प्रयास कर रहे हैं. आगे उचित कार्रवाई की जाएगी.
- अमित पाठक, एसएसपी

आगरा : जिले की पुलिस ने राजस्थान और एमपी पुलिस की मदद से अगवा पिता-पुत्र को सकुशल मुक्त करा लिया है. 15 दिन पहले आगरा से अगवा किए गए बाप-बेटे को कभी राजस्थान के धौलपुर तो कभी मध्य प्रदेश के मुरैना में छुपा कर रखा जा रहा था. साथ ही अपहरणकर्ताओं ने परिवार से 60 लाख की फिरौती की मांग की थी.

पुलिस को देख कार से कूदकर भागे पिता-पुत्र

क्या है पूरा मामला?

  • 20 अप्रैल रात 8 बजे परचून व्यापारी और उसके बेटे का अपहरण किया गया.
  • आंख पर पट्टी बांधकर दोनों को बीहड़ों में छिपाते रहे.
  • परिवार से पहले 60 लाख फिर 40 लाख रुपये फिरौती की मांग की गई.
  • रूपए न देने पर दोनों को जान से मार देने की धमकी दी गई.
  • बेटे की आंखों पर पट्टी बांधकर पिता की पिटाई करते थे.
  • पुलिस की दबिश बढ़ने पर खौफ में आए अपराधी.
  • सोमवार को जगह बदलते समय पुलिस को देख कार से भागे पिता-पुत्र.
  • राजस्थान और मध्य-प्रदेश की पुलिस के सहयोग से सफल हुआ ऑपरेशन.


व्यापारी और उसके बेटे ने जो विवरण दिया है, उसके आधार पर लोगों और जगहों को चिन्हित किया जा रहा है. हम अपहरणकर्ताओं की मदद करने वाले एक-एक शख्स को पकड़ने का प्रयास कर रहे हैं. आगे उचित कार्रवाई की जाएगी.
- अमित पाठक, एसएसपी

Intro:आगरा.
आगरा पुलिस ने राजस्थान और एमपी पुलिस की मदद से अगवा पिता-पुत्र को सकुशल मुक्त करा लिया. 15 दिन पहले दुकान से लौटते समय कार सवार बदमाशों ने टक्कर मारकर पिता-पुत्र का अपहरण किया था. और दोनों को कभी राजस्थान के धौलपुर तो कभी मध्य प्रदेश के मुरैना में चंबल के बीहड़ों के छुपा कर रख रहे थे. आगरा पुलिस ने धौलपुर और मुरैना पुलिस की मदद से अपहरणकर्ताओं पर दबाव और काबिंग शुरू की तो इसका नतीजा है. अपहरणकर्ताओं ने व्यापारी के परिवार से पहले 60 लाख की फिरौती मांगी और अब 40 लाख की डिमांड कर रहे थे. परिवार को धमकी दी थी कि आज रुपए नहीं मिले तो पिता पुत्र की हत्या कर देंगे. इससे पुलिस भी घबराई हुई थी और हर कदम को फूंक फूंक कर रख रही थी. सोमवार सुबह अपहरणकर्ता कार से पिता पुत्र को स्थान बदलकर लेकर जा रहे थे, तभी पुलिस टीम को देख कर व्यापारी पिता पुत्र कार से कूदे और दौड़ कर पुलिस के पास आ गए.


Body:यह था मामला
कछपुरा पुसैता निवासी दिनेश कुशवाह की इरादतनगर में परचून की दुकान है. दिनेश और उसका आठ वर्षीय बेटा कृष्णा बाइक से दुकान से 20 अप्रैल 2019 की रात करीब 8 बजे गांव लौट रहे थे. एसएसपी अमित पाठक ने बताया कि, तभी रास्ते में कार सवार बदमाश आए और गांव छक्कन गढ़ी के पास कार से बाइक में टक्कर मारी और दिनेश व कृष्णा का अपहरण कर ले गए.

पापा को पीटते थे, आंख पर बांध रखी थी पट्टी
मासूम कृष्णा ने बताया कि, कार से बाइक गिराकर कार सवार बदमाशों ने पापा की पिटाई की. और दोनों को कार में डाल लिया. इसके बाद उन्हें बीहड़ में ले गए. जहां पर हाथ-पैर बांध देते थे और आंख पर पट्टी बांधते थे. खाने में रोटी, सब्जी और रायता देते थे . बात बात पर यही कहते थे कि, रुपए नहीं आए तो इन्हें मार देंगे. किसी को बेच देंगे. मुझे डर लगता था. घर की याद भी आती थी.

ट्यूब पर कराया चंबल पार, हत्या की देते थे धमकी
व्यापारी दिनेश ने बताया कि, बदमाश मुझे बहुत पीटते थे. अपहरण वाली रात बदमाशों ने खूब पिटाई की. वह बैहोश हो गया था. जब होश आया तो पता चला कि गाड़ी किसी उबड़- खाबड़ रास्ते पर चल रही है. गाड़ी का चालक बार-बार रास्ता पूछ रहा था. देर रात में सरसों के खेत में ले जाकर दोनों को बांधकर डाल दिया. उनकी निगरानी में 5-6 लोग मुंह बांधकर करते थे. 28 अप्रैल 2019 को बदमाशों ने दोनों के हाथ-पैर और आंखों पर पट्टी बांध दी, पिर ट्यूब से चंबल नदी पार कराया. बीहड़ में लगातार जगह-जगह बदल कर रखते थे. दिनेश ने बताया कि अपहरण करने के दो दिन बाद बदमाशों ने उससे उसके भाई का नंबर लिया और उसे फोन किया. बदमाश दिन में दोनों को बीहड़ में पेड़ों के नीचे रखते थे. और रात होने पर टीले पर ले जाते थे. बार-बार जगह का परिवर्तन करते थे. बदमाशों ने जब मेरी भाई से बात कराई तो मैंने भाई से कहा था मुझे छुड़ा लो. भैया ने कहा था यह पैसे बहुत मांग रहे हैं. मैं कहां से पैसे का इंतजाम करूं.

राजस्थान-एमपी पुलिस की मदद से मिली सफलता
एसएसपी अमित पाठक ने बताया कि अभी तक की पूछताछ में परचून व्यापारी दिनेश और उसके मासूम बेटे कृष्णा ने यह बताया है कि बदमाशों की संख्या 5-6 थी. जिस तरह से इनको खाना ला करके दिया जाता था. कोई बाहर से खाना देने जाता था. इनको इधर उधर शिफ्ट कर रहे थे. क्योंकि राजस्थान और मध्य प्रदेश पुलिस की मदद से हम लगातार बदमाशों के ऊपर दबाव बना रहे थे. जिससे वह घबरा गए थे. इसी का नतीजा है कि सोमवार को राजस्थान पुलिस और आगरा के समन्वय से आपरेशन सफल हुआ. जिन जिन स्थानों पर अगवा पिता पुत्र को अपहरणकर्ताओं ने रखा था. उन सभी स्थानों को चिन्हित करने का प्रयास कर रहे हैं. तथा जिन भी लोगों ने अपहरणकर्ताओं की मदद की उन सभी को भी रडार पर लिया जा रहा है. किसी को भी छोड़ा नहीं जाएगा. क्योंकि, सोमवार को जब बदमाश पिता-पुत्र को साथ लेकर के स्थान परिवर्तन करने जा रहे थे. तभी रास्ते में जब पुलिस की टीम को पहली बार पिता-पुत्र को दिखी तो बच्चा और बाप गाड़ी से कूदकर पुलिस के पास दौड़कर आ गए. इस ऑपरेशन को सफल बनाने में काम करने वाले सभी पुलिस अधिकारी और पुलिसकर्मियों को पुरस्कृत किया जाएगा.


Conclusion:पहली बाइट अपहरण से मुक्त कराए मासूम कृष्णा की, दूसरी बाइट परचून व्यापारी दिनेश की. तीसरी बाइट एसएसपी आगरा अमित पाठक की है.
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