आगरा: पुलिस, सर्विलांस और एंटी नारकोटिक्स टास्क फोर्स (एएनटीएफ) की टीमें को चकमा देकर नशीली दवाओं की फैक्ट्री चलाने का मास्टरमाइंड विजय गोयल कोर्ट में सरेंडर करके जेल चला गया. जब पुलिस को इसकी जानकारी हुई तो पुलिस महकमे में खलबली मच गई. विजय गोयल ने आगरा में रहकर ही पुलिस और एएनटीएफ को चमका दिया. जैसे ही मामला शांत हुआ तो बीते शुक्रवार को गुपचुप तरीके से प्रयागराज के अधिवक्ता की मदद से न्यायालय में सरेंडर कर दिया. पुलिस अब विजय गोयल को रिमांड पर लेने की तैयारी में लग गई है.
बता दें कि आठ जुलाई 2023 को पुलिस और एएनटीएफ ने बिचपुरी और सिकंदरा में नकली दवाओं की फैक्ट्रियाें पर छापा मारा था. इन फैक्ट्रियों और वहां बरामद माल एवं मशीनों का मूल्य करीब पांच करोड़ रुपये बताया गया था. बिचपुरी की फैक्ट्री में प्रतिदिन ढाई लाख नशे की गोलियां बनाकर बाजार में खपाई जा रही थीं. सिकंदरा की फैक्ट्री में कोडिन युक्त सीरप बनाए जा रहे थे. दोनों फैक्ट्रियां विजय गोयल चला रहा था. सिकंदरा और जगदीशपुरा थाने में मुकदमे दर्ज किए गए. पुलिस ने तब सात लोगों को जेल भेज दिया था. मास्टरमाइंड बिहार और नेपाल के रास्ते बांग्लादेश और पाकिस्तान में नकली और नशीली दवाएं भेजता था.
किराए पर ली थी फैक्ट्री
पुलिस और एएनटीएफ की छानबीन में खुलासा हुआ था कि नकली और अवैध दवा की फैक्ट्री चलाने का मास्टरमाइंड विजय गोयल है. उसने पत्नी रेखा और साझीदार नरेंद्र शर्मा के साथ सिकंदरा में फैक्ट्री खोली. यह फैक्ट्री अजीत पारशर की जमीन पर किराए पर चल रही थी. इस पर पुलिस ने रेखा गोयल, नरेंद्र शर्मा, अजीत पाराशर, रोहित कुशवाह, दीवान सिंह, मुकेश कुमार और सनी को जेल भेजा था. विजय गोयल की तलाश में कई टीमें लगी थीं.
अब रिमांड पर लेने की तैयारी
नकली और नशीली दवाओं की अवैध फैक्ट्री संचालक विजय गोयल की तलाश में आगरा पुलिस के साथ ही एएनटीएफ लगी थी. उसकी तलाश में यूपी के आसपास के जिलों में टीमें भेजी गईं. पुलिस और एएनटीएफ की हर गतिविधि की जानकारी उसे मिल रही थी. आरोपी विजय गोयल शुक्रवार दोपहर अपने अधिवक्ताओं के साथ दीवानी परिसर पहुंचा. समर्पण करके जेल चला गया. इसकी जानकारी पुलिस को शनिवार को हुई. इस बारे में एंटी नारकोटिक्स टास्क फोर्स के सीओ इरफान नासिर खान ने बताया कि आरोपी को पुलिस रिमांड पर लेगी. उससे पूछताछ में एएनटीएफ की टीम भी रहेगी.
पुलिस की घेराबंदी देख बदल दिया था इरादा
सूत्रों की मानें तो आगरा पुलिस और एएनटीएफ की दूसरे राज्यों में जारी छापेमारी को लेकर सरगना विजय गोयल ने आगरा में एक परिचित कारोबारी के यहां पर रहकर ही अपने सरेंडर की तैयारी की. उसने सभी फोन बंद कर लिए. किसी को शक न हो. इसके लिए अलग नंबर से वाट्सएप काॅल करता था. उसे संदेह था कि सरेंडर में आगरा के अधिवक्ता लिए तो वो पकड़ा जाएगा. इसलिए प्रयागराज से अधिवक्ता किया. सोमवार को समर्पण की तैयारी की. लेकिन, गैंगस्टर आलोक के सरेंडर करने की वजह से वहां पर फोर्स थी. इसलिए, अपना इरादा बदल दिया.
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