नई दिल्ली : रविवार 20 नवंबर 2022 को मेजबान कतर और इक्वेडोर के बीच शुरू होने वाले मुकाबले से फुटबॉल के विश्व विजेता बनने का बिगुल फूंक दिया जाएगा. इसके बाद अगले महीने 18 दिसंबर 2022 को इसका पता चलेगा कि फुटबॉल का अगला बेताज बादशाह कौन बनेगा. फीफा विश्व कप शुरू होने से एक दिन पहले, 32 सर्वश्रेष्ठ फुटबॉल देश अपनी अंतिम तैयारियों में लगे हुए हैं, जबकि उनके देशवासी प्रतिष्ठित ट्रॉफी उठाने के लिए अपनी टीमों के लिए प्रार्थना कर रहे हैं.
इससे पहले हम बता रहें हैं फीफा वर्ल्ड कप इतिहास के अब तक के चर्चित लम्हे, डालिए एक नजर-
1. डिएगो माराडोना का गोल (हैंड ऑफ गॉड), 1986 के विश्व कप में
फुटबॉल जगत का सबसे चर्चित गोल, हैंड ऑफ गॉड. अर्जेंटीना के महान फुटबॉलर डियागो मैराडोना ने 1986 वर्ल्डकप में इंग्लैंड के खिलाफ क्वार्टर फाइनल मैच में यह गोल किया था. 22 जून को इंग्लैंड-अर्जेंटीना के बीच 1986 वर्ल्ड कप का क्वार्टर फाइनल मुकाबला खेला जा रहा था. माराडोना ने उछलकर गेंद को गोल पोस्ट में डालने की कोशिश की. वे गेंद को अपने सिर से मारना चाहते थे, लेकिन बॉल उनके सिर की बजाय हाथ से लगी और गोलकीपर पीटर शिल्टन को छकाते हुए नेट में जा लगी. इस हैंड बॉल को रेफरी नासेर देख नहीं पाए और गोल करार दिया. इस तरह अर्जेंटीना को मैच में 1-0 की बढ़त मिल गई. अर्जेंटीना ने मैच 2-1 से जीता और सेमीफाइनल में जगह बनाई.
2. जब दक्षिण कोरिया ने सेमीफाइनल खेल कर रचा था इतिहास
2002 का साल एशियाई फुटबॉल के लिए यादगार है. इसके दो कारण हैं. पहला यह कि फीफा वर्ल्ड कप पहली बार एशिया में आयोजित हुआ. जापान और दक्षिण कोरिया ने संयुक्त रूप से इसकी मेजबानी की. दूसरी बात यह कि विश्वकप फुटबॉल में पहली बार किसी एशियाई देश ने सेमीफाइनल में जगह बनाई थी. यह रिकॉर्ड दक्षिण कोरिया ने बनाया था. 2002 के विश्वकप में उसने पोलैंड, पुर्तगाल, स्पेन के अलावा विश्वविजेता रही इटली को हरा कर इतिहास रच दिया था. यह न केवल दक्षिण कोरिया के लिए बल्कि पूरे एशिया के लिए गौरव की बात थी. विश्व रैंकिंग में हालांकि ईरान (20) दक्षिण कोरिया (28) से आगे है लेकिन एशिया की फुटबॉल महाशक्ति दक्षिण कोरिया ही है. उसने एशिया से रिकॉर्ड 11 बार विश्वकप खेला है. दूसरे स्थान पर जापान है जिसने 7 विश्वकप खेले हैं। जब कि जापान की वर्ल्ड रैंकिंग 24 है. दुनिया की 20वें नम्बर की टीम ईरान ने 6 विश्वकप ही खेला है.
3. वो एक शब्द, जिसे सुनकर गुस्से से पागल हो गए थे जिनेदिन जिदान
फीफा वर्ल्ड कप की बात हो और 2006 एडिशन की चर्चा न हो ऐसा कैसे हो सकता है. टूर्नामेंट का खिताकी मुकाबला इटली और फ्रांस के बीच खेला जा रहा था. फ्रांस को विनर माना जा रहा था, लेकिन एक ऐसी घटना घटी, जिसने न केवल फ्रांस को खिताब से दूर कर दिया, बल्कि हीरो जिनेदिन जिदान को विलेन बना दिया. फीफा वर्ल्ड कप इतिहास की सबसे खतरनाक घटनाओं में से एक है जिदान का मार्को मातेराजी को सिर मारना. 2006 के खिताबी मुकाबले में मार्को ने जिदान की मां और बहन के लिए कुछ ऐसा कहा था, जिसके बाद गुस्से से पगलाए फ्रांसिसी खिलाड़ी ने अपने सिर से मारकर मैदान में गिरा दिया था.
4. 2006 फीफा विश्व कप में पुर्तगाल और नीदरलैंड के बीच मैच
दुनिया भर में फुटबॉल को लेकर इतना जुनून है जो कई बार मैदान में लड़ाई की शक्ल ले लेता है. ऐसा ही कुछ देखने को मिला फीफा वर्ल्ड कप 2006 (Fifa World Cup 2006) में जिसमें पुर्तगाल (Purtgal) और नीदरलैंड्स (Netherlands) के बीच खेला गया मुकाबला इस टूर्नामेंट के सबसे हिंसक मैचों में शुमार हो गया. इस मैच को 'मैसकर ऑफ नुरेमबर्ग' (Massacre Of Nuremberg) कहा जाता है. इस मैच में कुल 16 येलौ कार्ड और चार रेड कार्ड दिखाए गए जो कि एक मैच में सबसे ज्यादा मिलने वाले कार्ड का रिकॉर्ड है.
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