लखनऊ : कोरोना फिर से रफ्तार पकड़ने लगा है. वहीं रेलवे ने यात्रियों को ट्रेनों में जनरल टिकट की छूट दे दी है. ट्रेनों में जमकर भीड़ हो रही है. इसके साथ ही कोरोना गाइडलाइन की धज्जियां उड़ रही हैं. बिना मास्क लगाए कोच के अंदर बैठकर यात्री सफर कर रहे हैं. इससे कोरोना के फैलने का खतरा और ज्यादा बढ़ गया है. स्टेशन पर भी कोरोना को लेकर जिम्मेदार गंभीर नहीं दिख रहे हैं. 'ईटीवी भारत' ने ट्रेन के अंदर और रेलवे स्टेशन के प्लेटफार्म पर रियलिटी चेक किया तो सामने आया कि कोविड को लेकर यात्री पूरी तरह लापरवाही बरत रहे हैं, वहीं अधिकारी भी बेपरवाह हैं.
राजधानी का चारबाग रेलवे स्टेशन हो या फिर पूर्वोत्तर रेलवे का लखनऊ जंक्शन. सैकड़ों की संख्या में यात्रियों का आवागमन हो रहा है. 100 यात्रियों में इक्का-दुक्का यात्री ही फेस मास्क का इस्तेमाल करते हुए दिख रहे हैं. एक जुलाई से जनरल टिकट शुरू होने के बाद कोच में सोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियां उड़ रही हैं. जब 'ईटीवी भारत' ने ट्रेन के अंदर यात्रियों से मास्क न लगाने को लेकर पूछा तो यात्री बगले झांकने लगे. गलती भी मानी कि अभी कोरोना का फिर से ग्राफ बढ़ने लगा है, मास्क लगाना चाहिए, लेकिन लगाए नहीं हैं यह गलती है. जब 'ईटीवी भारत' का कैमरा ट्रेन के अंदर यात्रियों की तरफ घूमा तो महिलाएं अपनी साड़ी के पल्लू से, लड़कियां दुपट्टे से और बुजुर्ग गमछा से चेहरा ढकने लगे.
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जांच करने वाले ही नहीं लगाए मास्क : लखनऊ के चारबाग रेलवे स्टेशन पर यात्रियों की कोविड जांच के लिए हेल्पडेस्क बनी हुई है. इस पर कोई भी यात्री कोरोना की जांच करा सकता है, लेकिन हेल्पडेस्क पर बैठे लोग ही मास्क नहीं लगा रहे हैं.
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