लखनऊ: लखनऊ विश्वविद्यालय ने कर्मयोगी योजना की तरह ही कर्मोदय योजना की शुरुआत की है. कर्मयोगी योजना के तहत छात्र इंटर्नशिप कर सकते हैं. इसके लिए उन्हें हर दिन का 300 रुपये मिलेंगे. विश्वविद्यालय के छात्र पढ़ाई के अलावा दो घंटे इंटर्नशिप भी कर रहे हैं. उनको पढ़ाई के साथ काम सीखने का मौका मिल रहा है.
उन्होंने कहा कि ये योजनायें शुरू करने वाला लखनऊ यूनिवर्सिटी पहला संस्थान है. इससे अब छात्रों को आर्थिक स्थिति के चलते बीच में पढ़ाई नहीं छोड़नी होगी. इनमें चुने गए स्टूडेंट्स को वित्तीय सहायता मिलेगी. कर्मयोगी योजना पढ़ाई के साथ कौशल आधारित काम करके कमाने के अवसर देती है. इससे स्टूडेंट्स को अपनी प्रतिभा निखारने का भी मौका मिलता है. इसके लिए बाकायदा सर्टिफिकेट भी दिया जाता है. वहीं कर्मोदय योजना में स्टूडेंट्स को कोई इंसेंटिव नहीं मिलेगा.
प्रो. पूनम टंडन ने कहा कि कर्मोदय योजना का मकसद ऐसा वातावरण तैयार करना है, जो कार्य में सक्रिय भागीदारी के माध्यम से सीखकर छात्रों की क्षमताओं को विकसित करें. यह एक अवैतनिक योजना है. इसमें छात्रों का कौशल विकसित किया जाता है. विश्वविद्यालय छात्रों को वास्तविक कार्य स्थलों का अनुभव कराने, उनकी जानकारी और कौशल में गुणात्मक बढ़ोतरी करने के लिए कैंपस में इन हाउस इंटर्नशिप को प्रोत्साहित कर रहा है. इससे छात्रों को सकारात्मक और सार्थक कार्यों में लगा कर उनकी युवा मोर्चा को एक दिशा में भी सहयोग मिलेगा.
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डीन ने बताया कि यह इंटर्नशिप अधिकतम एक सेमेस्टर के लिए होगी. विश्वविद्यालय में स्नातक या पाठ्यक्रमों के अंतिम वर्ष या अंतिम वर्ष के पहले के छात्र आवेदन कर सकते हैं. विश्वविद्यालय के नियमित या स्ववित्तपोषित कार्यक्रम के विद्यार्थी आवेदन कर सकते हैं. इसके लिए पिछली परीक्षा में न्यूनतम 60 फीसदी अंकों के साथ उत्तीर्ण होना चाहिए. साथ ही पिछले शैक्षणिक सेमेस्टर और वर्ष में कम से कम 75 फीसदी उपस्थिति होनी जरूरी है.
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