कानपुर: कानपुर की कराची खाना शाखा स्थित सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया एक बार फिर से चर्चा में है. इस बार बैंक से लॉकर में रखा सामान ही नहीं बल्कि चोरों ने पूरा का पूरा लॉकर ही गायब कर दिया है. इस काम को अंजाम देने वाले 6 आरोपियों के खिलाफ पुलिस प्रशासन ने गैंगस्टर करते हुए उनकी संपत्ति को सीज करने का फैसला किया है. आरोपियों ने बैंक के 11 लॉकर से सवा चार करोड़ रुपये के जेवर पार कर दिए थे.
सीता नाम की एक महिला का सेंट्रल बैंक में लॉकर था. जब महिला बैक के लॉकर में रखे जेवर निकालने पहुंची तो उसने देखा की उसका लॉकर खाली पड़ा हुआ है. इस उसने बैंक के विभागीय अधिकारियों और पुलिस प्रशासन से जांच करने की गुहार लगाई. कई महीनों तक बैंक अधिकारियों और पुलिस दफ्तर के चक्कर काटने के बाद अप्रैल में फीलखाना थाने में 6 आरोपियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज हुआ. इस दौरान और मामले सामने आए. जिनके लॉकर में रखे जेवर गायब हो चुके थे. पीड़ित लोगों ने बैंक के ऊपर 4 करोड़ रुपये के जेवर चोरी होने का दावा किया. बाद में यह सामने आया कि बैंक के लॉकर इंचार्ज शुभम मालवीय ने बैंक प्रबंधक रामप्रसाद, लॉकर टेक्नीशियन चंद्रप्रकाश प्राईवेट, मिस्त्री करण, राज, राकेश्वर और रमेश की मदद से बैंक के लॉकर काटे थे. फिर इन लॉकर में रखे जेवर को चोरी कर लिया. पुलिस ने इन आरोपियों को जेल भेज दिया है. वहीं, पूरे देश भर में चर्चित मामले में सेंट्रल बैंक को अपनी लाज बचाने के लिए पीड़ितों को मुआवजा देना पड़ा था.
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डीसीपी पूर्वी प्रमोद कुमार का कहना है कि पुलिस ने जिन छह आरोपियों को गिरफ्तार किया था. उनके ऊपर गैंगस्टर एक्ट के साथ धारा 14 ए के तहत उनकी सभी संपत्तियों को भी जो अवैध तरीके से कमाई गई हैं उन्हें कुर्क किया जाएगा. आरोपियों की पहले की संपत्ति का विवरण जुटाया जाएगा.