प्रयागराज: जिले में एसआरएन हॉस्पिटल में कोरोना संक्रमित मरीज की मौत के बाद उसके शव को लेकर परिजन फाफामऊ घाट पहुंचे. जहां पर पहुंचने के बाद एंबुलेंस के ड्राइवर ने 4 हजार रुपये किराये की मांग की, जिसके बाद परिजनों ने प्रशासन द्वारा तय किये गये किराये से ज्यादा देने से मना किया, तो दोनों पक्षों के बीच विवाद होने लगा. इस दौरान एंबुलेंस के चालक ने परिजनों को धमकाने का प्रयास किया, जिसके बाद परिजनों ने मिलकर श्मशान घाट में ही एंबुलेंस चालक की पिटाई शुरू कर दी. इस दौरान वहां मौजूद लोगों ने इस घटना का वीडियो बनाकर वायरल कर दिया.
यह भी पढे़ं: इलाहाबाद हाईकोर्ट के न्यायमूर्ति वी के श्रीवास्तव का कोरोना संक्रमण से निधन
प्रशासन ने तय किया है किराया
जिले में कोरोना से मरने वालों के शवों को श्मशान घाट तक ले जाने के बदले मनमाने किराये की वसूली की शिकायतें लगातार प्रशासन के पास आ रही थी, जिसके बाद एडीएम नजूल गंगा राम गुप्ता ने एंबुलेंस से श्मशान घाट तक शव ले जाने का किराया तय कर दिया था. एसआरएन हॉस्पिटल से फाफामऊ श्मशान घाट तक शव ले जाने के लिये एसी एंबुलेंस का किराया 2 हजार रुपये, जबकि बगैर एसी एंबुलेंस का किराया 15 सौ रुपये तय किया गया है. बावजूद इसके जब चालक ने परिजनों से 4 हजार रुपये की मांग की तो मृतक के परिजन आक्रोशित हो गये और विवाद शुरू हो गया.
श्मशान घाट पर शव लाने वाले एंबुलेंस ड्राइवर ले रहे कमीशन
प्रयागराज में कोरोना संक्रमितों के शव का अंतिम संस्कार करने वाले लोग एंबुलेंस ड्राइवरों को कमीशन दे रहे हैं. जिसके बदले एंबुलेंस के ड्राइवर अंतिम संस्कार कराने के लिए शवों को उसी व्यक्ति के पास लेकर जा रहे हैं. शवों के अंतिम संस्कार के बदले चालक को 3 से 4 सौ रुपये कमीशन मिल जाता है. कमीशन के लालच में एक ही व्यक्ति के पास शव ले जाने की वजह से अंतिम संस्कार के लिये लोगों को काफी इंतजार करना पड़ रहा था. वहीं अंतिम संस्कार में देर होने पर लोगों ने हल्ला मचाया तो घाट पर मौजूद किसी व्यक्ति ने बताया कि घाट पर एक और व्यक्ति भी अंतिम संस्कार करा रहा है, लेकिन कमीशन के लालच में एंबुलेंस ड्राइवर शव को उसके पास नहीं ले जाते हैं.
मौत के बाद भी कालाबाजारी
पिछले दिनों इसी घाट पर अंतिम संस्कार के बदले 22 हजार रुपये मांगने पर विवाद हुआ था. जिसके बाद उस विवाद का वीडियो वायरल होने पर जिला प्रशासन ने कोरोना संक्रमितों के अंतिम संस्कार का रेट 4 हजार रुपये तय कर दिया है. इसके साथ ही घाट पर अंतिम संस्कार करने के लिये एक और व्यक्ति को तैनात कर दिया गया है. प्रशासन द्वारा रेट फिक्स होने के बाद अंतिम संस्कार कराने वालों ने एंबुलेंस ड्राइवरों को कमीशन देना शुरू कर दिया. यही नहीं ये लोग एंबुलेंस चालकों को दिये जाने वाले कमीशन की रकम की वसूली मृतकों के परिजनों से किसी न किसी बहाने कर लेते हैं.