अलीगढ़: उटवारा गांव के निवासी रंगम चौधरी कमांडो के पद पर नोएडा में सीआईएसएफ में तैनात थे. वह दो दिन पहले ही छुट्टी लेकर अपने गांव पहुंचे थे. बीती रात कमांडो रंगम चौधरी ने फांसी लगाकर जान दे दी. सूचना पाकर मौके पर पहुंची पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के दौरान परिजनों को सौंप दिया है और मामले की जांच में जुट गई है.
क्या है पूरा मामला
- थाना खैर क्षेत्र के उटवारा गांव निवासी रंगम चौधरी (27 वर्ष) सीआईएसएफ में साल 2010 में नियुक्त हए थे.
- साल 2011 में शादी के होने के बाद से ही उनके परिवार में कलह होने लगी थी.
- एक साल बाद ही उनकी पत्नी अपने मायके चली गई. इसके बाद उसने पति व ससुरालीजनों पर दहेज उत्पीड़न का मुकदमा दर्ज करा दिया था.
- इन सबकी वजह से कमांडो रंगम चौधरी तनाव में रहने लगा था.
- दो दिन पूर्व ही छुट्टी लेकर गांव पहुंचे कमांडो रंगम चौधरी अपने माता- पिता के साथ बातचीत करता रहा.
- इसके बाद वह दूसरी मंजिल पर सोने चला गया. सुबह रंगम चौधरी उठकर नहीं आया तो उसकी मां कमरे में पहुंची.
- वहां रंगम चौधरी दुपट्टे के सहारे गाटर के कुंदे से लटका हुआ मिला, जिसे देखते ही मां बेहोश होकर गिर गई.
- चीख-पुकार सुनकर पिता और पड़ोस के लोग मौके पर पहुंच गए.
- सूचना पर पहुंची पुलिस ने शव का पंचनामा कर पोस्टमार्टम के लिए भिजवाया.
एक एनएसजी कमांडो जो सीआरपीएफ में तैनात थे, उनके द्वारा आत्महत्या कर ली गई है. उसकी छह-सात साल से पत्नी से पारिवारिक कलह और वाद विवाद चल रहा था. पुलिस द्वारा मामला पंजीकृत कर लिया गया है और आगे की विधिक कार्रवाई की जा रही है.
मणिलाल पाटीदार, पुलिस अधीक्षक, ग्रामीण
बता दें साल 2016 में मृतक कमांडो रंगम चौधरी काफी समय तक तत्कालीन मुख्यमंत्री अखिलेश यादव व उनकी पत्नी डिंपल यादव की स्पेशल सुरक्षा में भी तैनात रहे थे. कमांडो की कार्यकुशलता को देख पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने कमांडो को सम्मानित किया भी था.