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मानद उपाधि मिलना मेरे लिए गर्व की बात: डॉ. टेसी थॉमस

अग्नि-5 मिसाइल के सफल परीक्षण में योगदान देने वाली अग्निपुत्री डॉ. टेसी को आईआईटी कानपुर ने मानद उपाधि से सम्मानित किया. वहीं ईटीवी भारत से बात करते हुए डॉ. टेसी ने कहा कि मानद उपाधि मिलना मेरे लिए गर्व की बात है.

मिसाइल वुमैन डॉ टेसी थॉमस
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Published : Jun 28, 2019, 7:06 PM IST

कानपुर: देश में अग्नि-5 मिसाइल के सफल परीक्षण के बाद चर्चाओं में आई अग्निपुत्री डॉ. टेसी को आईआईटी कानपुर ने गुरुवार को मानद उपाधि से सम्मानित किया गया. वहीं इसी दौरान ईटीवी भारत ने डॉ. टेसी थॉमस से बातचीत की. जहां उन्होंने कहा कि आईआईटी कानपुर ने मुझे मानद उपाधि से सम्मानित किया है ये मेरे लिए सम्मान की बात है.

संवाददाता ने की डॉ. टेसी थॉमस से बातचीत.

जानिए कौन हैं डॉ. टेसी थॉमस और क्यों हैं चर्चा में:

  • डॉ. टेसी थॉमस रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन में अग्नि चतुर्थ की परियोजना निदेशक और एरोनाटिकल सिस्टम्स की महानिदेशक हैं.
  • भारत में प्रक्षेपास्त्र परियोजना का प्रबन्धन करने वाली डॉ. टेसी थॉमस पहली महिला हैं.
  • डॉ. टेसी थॉमस को 'भारत की 'प्रक्षेपास्त्रांगना' कहा जाता है.
  • महिला वैज्ञानिक टेसी थॉमस को 1988 से अग्नि प्रक्षेपास्त्र कार्यक्रम से जुड़ने के बाद से ही अग्निपुत्री टेसी थॉमस के नाम से भी जाना जाता है.
  • डॉ. टेसी की अनेक उपलब्धियों में अग्नि-2, अग्नि-3 और अग्नि-4 प्रक्षेपास्त्र की मुख्य टीम का हिस्सा बनना और सफल परीक्षण शामिल हैं.
  • पूर्व राष्ट्रपति अब्दुल कलाम को डॉ. टेसी अपना प्रेरणा स्रोत मानती हैं.

कानपुर: देश में अग्नि-5 मिसाइल के सफल परीक्षण के बाद चर्चाओं में आई अग्निपुत्री डॉ. टेसी को आईआईटी कानपुर ने गुरुवार को मानद उपाधि से सम्मानित किया गया. वहीं इसी दौरान ईटीवी भारत ने डॉ. टेसी थॉमस से बातचीत की. जहां उन्होंने कहा कि आईआईटी कानपुर ने मुझे मानद उपाधि से सम्मानित किया है ये मेरे लिए सम्मान की बात है.

संवाददाता ने की डॉ. टेसी थॉमस से बातचीत.

जानिए कौन हैं डॉ. टेसी थॉमस और क्यों हैं चर्चा में:

  • डॉ. टेसी थॉमस रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन में अग्नि चतुर्थ की परियोजना निदेशक और एरोनाटिकल सिस्टम्स की महानिदेशक हैं.
  • भारत में प्रक्षेपास्त्र परियोजना का प्रबन्धन करने वाली डॉ. टेसी थॉमस पहली महिला हैं.
  • डॉ. टेसी थॉमस को 'भारत की 'प्रक्षेपास्त्रांगना' कहा जाता है.
  • महिला वैज्ञानिक टेसी थॉमस को 1988 से अग्नि प्रक्षेपास्त्र कार्यक्रम से जुड़ने के बाद से ही अग्निपुत्री टेसी थॉमस के नाम से भी जाना जाता है.
  • डॉ. टेसी की अनेक उपलब्धियों में अग्नि-2, अग्नि-3 और अग्नि-4 प्रक्षेपास्त्र की मुख्य टीम का हिस्सा बनना और सफल परीक्षण शामिल हैं.
  • पूर्व राष्ट्रपति अब्दुल कलाम को डॉ. टेसी अपना प्रेरणा स्रोत मानती हैं.
Intro:कानपुर:-ईटीवी भारत पर मिलिए इंडिया की मिसाइल वुमैंन डॉ टेस्सी थॉमस से
अग्नि-5 के सफल परीक्षण के बाद चर्चाओं में आई अग्निपुत्री डॉ टेसी थॉमस को आईआईटी कानपुर ने मानद उपाधि से आज सम्मानित किया गया। ईटीवी भारत से बातचीत कर मिसाइल वुमैन ने एक ओर जहां खुशी जाहिर की तो वही रक्षा के क्षेत्र में भारत के बढ़ते कदम पर भी विस्तार से बातचीत की।


Body:वो रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन में अग्नि चतुर्थ की परियोजना निदेशक एवं एरोनाटिकल सिस्टम्स की महानिदेशक थीं। भारत में प्रक्षेपास्त्र परियोजना का प्रबन्धन करने वाली वे पहली महिला हैं। उन्हें 'भारत की प्रक्षेपास्त्रांगना' कहा जाता है। 48 वर्षीय भारतीय महिला वैज्ञानिक टेसी थॉमस को 1988 से अग्नि प्रक्षेपास्त्र कार्यक्रम से जुड़ने के बाद से ही अग्निपुत्री टेसी थॉमस के नाम से भी जाना जाता है। उनकी अनेक उपलब्धियों में अग्नि-2, अग्नि-3 और अग्नि-4 प्रक्षेपास्त्र की मुख्य टीम का हिस्सा बनना और सफल प्रशीक्षण है। उन्होंने पूर्व राष्ट्रपति अब्दुल कलाम को अपना प्रेरणा स्रोत माना।

बाईट:- डॉ टेस्सी थॉमस..... मिसाइल वुमैन


Conclusion:देश-विदेश के लिए स्मार्ट टेक्नोक्रेट तैयार करने वाले आईआईटी कानपुर का 52वां दीक्षांत समारोह शुक्रवार को आयोजित हुआ। तीन अलग-अलग चरणों में होने वाले इस समारोह में कुल 1626 छात्र-छात्राओं को उपाधि दी गई।
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