उन्नाव: बहुचर्चित माखी रेप कांड आज एक बार फिर सुर्खियों में आ गया है.15 साल पहले रेप के आरोपी भाजपा विधायक के भाई अतुल सिंह सेंगर के साथ हुई एक मारपीट के मामले में मंगलवार को अदालत ने महेश सिंह को दोषी मानते हुए 10 साल की सजा और 5 हजार जुर्माने की सजा सुनाई है.
रेप पीड़िता के पिता की हत्या के आरोप में जेल में बंद आरोपी भाजपा विधायक कुलदीप सिंह सेंगर के भाई अतुल सिंग सेंगर और रेप पीड़िता के चाचा महेश सिंह के बीच 15 साल पहले हुई एक मारपीट के मामले आज कोर्ट ने अपना फैसला सुनाया. कोर्ट ने महेश सिंह को दोषी मानते हुए 10 साल की सजा और 5 हजार रुपये का जुर्माना लगाया.
क्या है पूरा मामला:15 साल पहले प्रधानी चुनाव के दौरान भाजपा विधायक कुलदीप सिंह सेंगर के भाई अतुल सेंगर ने रेप पीड़िता के पिता और उनके दोनों भाई पर मारपीट का मुकदमा दर्ज कराया था. इसके बाद मामले की सुनवाई के दौरान अदालत ने आरोप बेबुनियाद पाते हुए सभी आरोपियों को बरी कर दिया गया था.
मौके पर महेश सिंह के पेश न होने से आरोपमुक्त नहीं हो सके. वहीं माखी रेप कांड के बाद उस पुराने मुकदमे में पुलिस ने फौरन महेश को गिरफ्तार कर लिया था. इसके बाद मंगलवार को अदालत ने महेश को दोषी करार दिया है.
फैसले पर आरोपी पक्ष के वकील का सवाल:
इस पूरे मामले में महेश सिंह के वकील महेंद्र सिंह ने भी कोर्ट के फैसले पर सवाल उठाते हुए हाईकोर्ट जाने के बात कही है. महेंद्र सिंह ने कोर्ट पर आरोप लगाते हुए कहा कि जिस मामले में पहले न्यायालय ने महेश सिंह के दोनों भाइयों को दोष मुक्त कर चुकी है उसी मामले में महेश सिंह को 10 साल की सजा किसी दबाव की ओर इशारा कर रहा है.
महेश सिंह ने कहा कि माखी रेप कांड को प्रभावित करने के लिए उनके खिलाफ ये षणयंत्र रचा गया. वहीं अदालत के फैसले पर महेश सिंह की पत्नी ने भी सवाल खड़े किए और कई गंभीर आरोप लगाए.