देहरादून: उत्तराखंड की राजधानी देहरादून स्थित ओएनजीसी के डायरेक्टर जनरल मैनेजर (डीजीएम) खेमलाल आर्य द्वारा संदिग्ध परिस्थितियों में जहर खाने और हाथ काट लेने की घटना सामने आई है. इसकी जानकारी मिलते ही डीजीएम खेमलाल आर्य को ओएनजीसी अस्पताल भर्ती कराया गया, जहां उनकी हालत बिगड़ती देख उन्हें सिनर्जी अस्पताल में भर्ती कराया गया है.
डॉक्टरों के मुताबिक, खेमलाल आर्य की हालत चिंताजनक बनी हुई है, उन्हें वेंटिलेटर सपोर्ट पर रखा गया है.
पुलिस थाना कैंट प्रभारी इंस्पेक्टर विद्या भूषण नेगी ने बताया कि ओएनजीसी में इलेक्ट्रिक एंड टेलीकॉम यूनिट पर कार्यरत डीजीएम खेमलाल आर्य रोजाना की तरह गुरुवार (10 सितंबर) को भी दफ्तर आए थे. ओएनजीसी से मिली सूचना के मुताबिक, दोपहर के समय उनके दफ्तर के कमरे में उनकी हालत खराब देखी गई. तत्काल ओएनजीसी में कार्यरत उनके बेटे को इसकी सूचना दी गई, जिसके बाद आनन-फानन में उन्हें ओएनजीसी अस्पताल में एडमिट कराया गया. यहां डॉक्टरों ने उनकी हालत गंभीर देखते हुए उन्हें निजी अस्पताल में रेफर करने की सलाह दी.
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इस मामले में ओएनजीसी द्वारा शिकायत के आधार पर डीजीएम के बेटे से पूछताछ करने पर पता चला कि उनके पिताजी काफी दिनों से मानसिक तनाव में चल रहे थे, जिसके चलते ऐसी आशंका जताई जा रही है कि उन्होंने यह कदम उठाया हो. हालांकि, पुलिस अभी सभी पहलुओं की जांच पड़ताल में जुटी है.
जानकारी के मुताबिक, डीजीएम की पत्नी का एक साल पहले देहांत हो चुका है. उनकी शादीशुदा बेटी बेंगलुरु में रहती है, जबकि शादीशुदा बेटा ओएनजीसी में ही कार्यरत है.