वडोदरा: पाकिस्तानी अधिकारियों द्वारा रिहा किए गए करीब 200 भारतीय मछुआरे पंजाब से एक विशेष ट्रेन से सोमवार को गुजरात के वडोदरा पहुंचे. एक अधिकारी ने यह जानकारी दी. उन्होंने कहा कि मछुआरे जब तड़के वड़ोदरा रेलवे पहुंचे तो उनका स्वागत किया गया. पाकिस्तान समुद्री सुरक्षा एजेंसी ने इन मछुआरों को 2019 और 2022 के बीच अरब सागर में गुजरात तट से अंतरराष्ट्रीय समुद्री सीमा रेखा (आईएमबीएल) से पकड़ा, यह दावा करते हुए कि वे पाकिस्तानी जल में प्रवेश कर गए थे.
पिछले हफ्ते पाकिस्तान ने 200 भारतीय मछुआरों को रिहा कर दिया, जिन्हें अमृतसर (पंजाब) में अटारी-वाघा सीमा पर संयुक्त चेक पोस्ट पर सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) के अधिकारियों को सौंप दिया गया था, एक अधिकारी ने पहले कहा था. गुजरात मत्स्य विभाग के एक अधिकारी ने कहा कि 200 मछुआरों में से 171 गुजरात के हैं और अन्य दीव, महाराष्ट्र, उत्तर प्रदेश और बिहार के हैं. उन्होंने कहा कि गुजरात मत्स्य विभाग के अधिकारियों की एक टीम ने अमृतसर में वाघा सीमा पर 200 मछुआरों को रिसीव किया और उन्हें ट्रेन से वडोदरा लाया.
वडोदरा से उन्हें उनके मूल स्थानों पर भेजा जा रहा था, एक सरकारी बयान में कहा गया है. केंद्र सरकार के कूटनीतिक प्रयासों और गुजरात सरकार के प्रयासों से मछुआरों की रिहाई सुनिश्चित की गई. विज्ञप्ति में कहा गया है कि पाकिस्तान द्वारा पकड़े गए 200 से अधिक मछुआरे एक विशेष ट्रेन से वडोदरा पहुंचे. वडोदरा रेलवे स्टेशन पर उनका स्वागत किया गया. मुक्त कराए गए मछुआरों में 171 गुजरात के हैं, जिनमें 129 गिर सोमनाथ जिले के, 31 देवभूमि द्वारका के, दो जूनागढ़ के, पांच नवसारी के और चार राज्य के पोरबंदर जिले के हैं.
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सरकार ने कहा कि इसके अलावा बिहार के तीन, दीव के 15, महाराष्ट्र के छह और उत्तर प्रदेश के पांच मछुआरों को भी रिहा किया गया है. इसमें कहा गया है कि मछुआरों का चिकित्सकीय परीक्षण किया गया और राज्य मत्स्य विभाग और पुलिस की एक टीम भी उन्हें लेने वाघा सीमा गई. पाकिस्तान ने पिछले हफ्ते 200 भारतीय मछुआरों और तीन नागरिक कैदियों को मानवीय भाव के रूप में रिहा करने की घोषणा की थी. इससे पहले पिछले महीने पाकिस्तानी अधिकारियों ने गुजरात के 184 मछुआरों को रिहा किया था.
(पीटीआई)