शारदीय नवरात्रि शक्ति, भक्ति और अग्नि की महान उपासना का पर्व है. संपूर्ण नवरात्रि काल में इस बात का विशेष ध्यान (Precaution during Navratri fast) रखा जाना चाहिए कि रेसिपी का निर्माण करते समय रसोई पूरी तरह से साफ सुथरी और निर्मल होनी चाहिए. उपयोग में लाए जाने वाले बर्तन पूरी तरह से साफ स्वच्छ और निर्मल होने चाहिए. व्रत/उपवास को तोड़ने के पहले अनिवार्य रूप से देवी माता को भोग अर्पित किया जाना चाहिए. यह भोग चौकी में देवी को शुद्ध मन से आस्था के साथ समर्पित किया जाना चाहिए. Navratri vrat recipes . Shardiya Navratri 2022 . Precaution during fast Navratri
नवरात्रि के बचे हुए दिनों में मां दुर्गा को किस भोज्य पदार्थ का भोग लगाना चाहिए आइए जानते हैं. नवरात्र के तीसरे दिन माता चंद्रघंटा को दूध से बने पदार्थ जैसे मखाने की खीर, चावल की खीर, तिल की खीर, सफेद तिल की खीर बनाई जाती है. व्रत या उपवासधारी मट्ठा, दूध दही का भी उपयोग करते हैं. आज के दिन खीरे से बने हुए रायता का भी उपयोग करते हैं. Navratri day 5 , navratri 5th day , day 5 navratri .
Navratri Special: स्वीट डिश रोशबोड़ा से इस दुर्गोत्सव को बनाएं शानदार
नवरात्र के चौथे दिन माता के कुष्मांडा रूप की पूजा होती है. आज के दिन कद्दू से बनाए हुए सात्विक भोज और लौकी का हलवा, लौकी की सब्जी और लौकी जूस पीने से व्रत धारकों को निश्चित लाभ मिलता है. सभी गुणों से युक्त साबूदाना की खिचड़ी भी शरीर के लिए लाभदायक होती है. नवरात्र के पांचवे दिन स्कंदमाता को उत्तम गुणवत्ता वाले केले का भोग लगाया जाता है. आज के दिन कच्चे केले की टिकिया, कच्चे केले की चटपटी पूड़ी, कच्चे केले की खिचड़ी साथ ही पके केले का जूस, पके केले का फ्रूट सलाद और दूध केले का मिश्रण ग्रहण करना व्रत धारियों के लिए शुभ माना गया है. फ्रूट सलाद भी व्रतधारी ले सकते हैं. (Navratri day 4 , navratri 4th day , day 4 navratri )
नवरात्र के छठवें दिन माता के कात्यायनी रुप की पूजा होती है. कात्यायनी माता को शहद और गुड़ का भोग लगाया जाता है. आज के दिन गुड़ की खीर, गुड़ से बनी हुई मिठाइयां, गुड़ के लड्डू, गुड़ के पेड़े, तिल और गुड़ का सेवन व्रतधारियों को करना चाहिए. नवरात्र के सातवें दिन कालरात्रि माता की पूजा निशा काल में की जाती है. गुड़ और नारियल का भोग लगाया जाता है. नारियल की बर्फी, नारियल के लड्डू, नारियल से बने पकवान, नारियल की चटनी सात्विक रूप से व्रतधारियों को ग्रहण करना चाहिए. (Navratri day 6 , navratri 6th day , day 6 navratri , navratri day 7 , navratri 7th day , day 7 navratri)
नवरात्र के आठवें दिन महागौरी रूप में माता की पूजा की जाती है. महा अष्टमी, दुर्गा अष्टमी के रूप में मनाया जाता है. यह अभिष्ट सिद्धियों का पर्व है. अष्टमी के दिन हवन के माध्यम से ऊर्जा प्राप्त होती है और बल मिलता है. अष्टमी के शुभ दिन नारियल की मिठाइयां, नारियल के भोग, फल फूल के साथ व्रतधारियों को ग्रहण करना चाहिए. नवरात्रि के नवमें दिन सिद्धिदात्री रूप में माता की पूजा की जाती है. इस दिन तिल और नारियल से पूजा किए जाने का दिन है. आज के दिन तिल के लड्डू, तिल की मिठाइयां और नारियल से बने पदार्थों को ग्रहण करने का दिन है. इसके साथ ही केला, सेव, नाशपाती, अनानास को भी संतुलित मात्रा में ग्रहण करना चाहिए. (Navratri day 8 , navratri 8th day , day 8 navratri , navratri day 9 , navratri 9th day , day 9 navratri)
नवरात्रि के पावन पर्व में इस बात का विशेष ध्यान रखा जाना चाहिए कि व्रतधारी उपवास पूर्ण होने के बाद अधिक मात्रा में चीजें ग्रहण ना करें और ना ही कम मात्रा में चीजें ग्रहण करें. एक साथ बहुत सारी मीठी चीजों को भी ग्रहण नहीं करना चाहिए. अधिक देर तक भूखे रहने से भी बचने का प्रयास करना चाहिए. नवरात्रि की साधना शरीर को तपाने की ही साधना है. इसके माध्यम से शरीर में नई ऊर्जा, नया बल, नई शक्तियों का संचार होता है. इसलिए खान पान संतुलित और आदर्श होने के साथ ही समय चक्र को ध्यान में रखकर करना चाहिए.
कैसा हो व्रत का आहार: पोषण तथा आहार विशेषज्ञ डॉ दिव्या शर्मा (Dr Divya Sharma, Nutritionist and dietician) बताती हैं अलग-अलग स्थानों पर व्रत के दौरान फलाहार के रूप में कुट्टू, राजगिरा, सिंघाड़े का आटा, मोरधन की खिचड़ी आदि का सेवन किया जाता है. विशेषतौर पर फलाहार में लोग इनसे बनी पकौड़ी, चीला या पराठों का सेवन करते हैं. लेकिन व्रत के दौरान ज्यादा मक्खन या घी-तेल में बने आहार के सेवन से बचना चाहिए. पकोड़ों के स्थान पर कम तेल या घी में बना चीला या परांठा खाना ज्यादा फायदेमंद रहता है. इसके अलावा मोरधन कि खिचड़ी या साबूदाना में आलू के स्थान पर अन्य सब्जियों का इस्तेमाल भी सेहत के लिए ज्यादा फायदेमंद रहता है.
Dr Divya Sharma बताती हैं जो लोग व्रत में दिन में एक बार अन्न ग्रहण करते हैं उन्हे भी रात के बजाय थोड़ा जल्दी भोजन करना चाहिए. दिन भर कुछ नहीं खाने के बाद जब व्यक्ति देर शाम या रात में भोजन करते हैं तो भोजन को पचाने में समस्या हो सकती है. इसके अलावा व्रत में हल्का तथा पोषण से भरपूर आहार करना ज्यादा बेहतर रहता है.
Navratri Special : साबूदाना खिचड़ी से नवरात्रि व्रत में अपनी एनर्जी को रखें बरकरार