श्रीगंगानगर. गाजर मंडी को साधुवाली के पास लिंक नहर की भूमि पर बनाने की मांग के साथ गाजर उत्पादक किसानों ने बुधवार को गाजर मंडी बंद रखी. गाजर सीजन के दौरान किसानों की ओर से साधुवाली में गंगनहर के पास अस्थाई गाजर मंडी चलाई जा रही है.
किसानों ने मांग की है कि गाजर मंडी नहर के पास खाली पड़ी लिंक नहर में स्थाई रूप से शुरू की जाए. ताकि किसानों को किसी प्रकार की दिक्कतों का सामना नहीं करना पड़े और किसान की गाजर का सही दाम मिले. गाजर मंडी स्थाई रूप से बनने के बाद गाजर उत्पादक किसान और व्यापारियों का एक स्थाई ठिकाना भी बन जाएगा जिसके चलते दूसरे राज्यों में गाजर सप्लाई करने में दिक्कत नहीं रहेगी.
वर्षों पुरानी गाजर मंडी की मांग पूरी नहीं होने को लेकर किसान अब आक्रोशित नजर आने लगे हैं. पिछले दिनों सादुलशहर विधायक गाजर मंडी को साधुवाली गांव के बीचो-बीच सरकारी स्कूल की खाली भूमि पर बनाने को लेकर सरकार से वार्ता करने की बात कही थी जिसके बाद गाजर उत्पादक किसान इस बात से संतुष्ट नजर नहीं आए.
किसानों की इच्छा है कि ये मंडी साधुवाली से लेकर कालूवाला के निकट फ्लाईओवर तक बंद हो चुकी पुरानी नहर की जगह पर बने. इस जगह पर गाजर मंडी बनाने के पीछे तर्क भी मजबूत प्रतीत हो रहे हैं. बुधवार को बजट से पहले किसानों को उम्मीद थी कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत बजट में गाजर मंडी को लेकर घोषणा करेंगे. लेकिन गाजर मंडी की घोषणा नहीं होने से गाजर उत्पादक समिति ने सरकार के प्रति नाराजगी जाहिर करते हुए कामकाज बंद रखा.
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अब किसानों का कहना है कि गाजर मंडी नहर के पास ही बनाने के लिए आंदोलन शुरू किया जाएगा. किसान संघर्ष समिति के सचिव अमर सिंह विश्नोई ने बताया कि राजस्थान की सबसे बड़ी गाजर मंडी किसानों की मांग के अनुसार बनाने की मांग किसानों की ओर से काफी समय से की जा रही है. लेकिन स्थानीय जनप्रतिनिधि अपने स्वार्थ को लेकर मण्डी दूसरी जगह बनवाना चाह रहे है.