सवाई माधोपुर. रणथंभौर से सटे खंडार क्षेत्र के गांवों में इन दिनों लगातार आबादी क्षेत्र में भालुओं की आवाजाही देखी जा रही है. भालुओं के आबादी क्षेत्र में बढ़ते मूवमेंट को लेकर ग्रामीणों में दहशत है. हाल ही में खंडार क्षेत्र के बानीपुरा गांव स्थित बालाजी मंदिर में एक भालू उस वक्त घुस आया जब परिसर में कुछ ग्रामीण भजन कीर्तन कर रहे थे. गांव के हनुमान मंदिर में भजन कीर्तन के दौरान 'जामवंत' का प्रवेश देखकर ग्रामीण दहशत में आ गए. भालू देखकर ग्रामीण भजन कीर्तन छोड़कर बाहर आ गए और मन्दिर के हॉल का दरवाजा बंद कर दिया.
इस दौरान भालू मन्दिर परिसर में ही चहलकदमी करता रहा. भालू कभी मन्दिर की खिड़की पर चढ़ता तो कभी दूसरी जगह. काफी देर बाद जब एक ग्रामीण ने हिम्मत कर मन्दिर के हॉल का दरवाजा खोला तो भालू मन्दिर से निकलकर जंगल की ओर चला गया, तब जाकर ग्रामीणों ने राहत की सांस ली. आबादी क्षेत्र में भालु के आने का यह कोई पहला मामला नहीं है.
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खंडार क्षेत्र के रणथंभौर से सटे गांवों में इन दिनों लगातार भालुओं का आबादी क्षेत्र में आने का सिलसिला जारी है. ग्रामीणों की माने तो इन दिनों खंडार क्षेत्र के रणथंभौर के जंगलों में पानी की किल्लत है जिसकी वजह से भालू पानी की तलाश में आये दिन आबादी क्षेत्र में आते हैं. कुछ दिन पूर्व भी एक भालू एक मकान में घुस आया था. भालुओं के लगातार आबादी क्षेत्र में आने से क्षेत्र के गांवों के ग्रामीणों में दहशत का माहौल है. वहीं भालुओं के आबादी क्षेत्र में बढ़ते मूवमेंट को लेकर वन विभाग की ओर से एहतिहात के तौर पर कोई ठोस कदम नहीं उठाये जा रहे हैं.
भालुओं के आबादी क्षेत्र में बढ़ते मूवमेंट से किसी दिन कोई बड़ी दुर्घटना का अंदेशा होने का खतरा ग्रामीणों में बना हुआ है. रणथंभौर में बाघों के साथ ही भालुओं की संख्या में भी बढ़ोतरी हुई है. ऐसे में भालू आये दिन पानी की तलाश में आबादी क्षेत्र का रुख कर रहे हैं जो ग्रामीणों के लिए सही नहीं है. आबादी क्षेत्र में बढ़ते भालुओं के मूवमेंट से ग्रामीणों में दहशत का माहौल है.